Fact Check : वियतनाम के वीडियो को भारत का बताकर किया जा रहा वायरल

विश्‍वास न्‍यूज ने अपनी जांच में वायरल दावे को भ्रामक पाया। वायरल वीडियो का नेपाल या भारत से कोई संबंध नहीं है। असल में यह वीडियो साल 2024 में वियतनाम में आए टाइफून यागी का है, जिसे अब भारत से जोड़कर गलत दावे से शेयर किया जा रहा है।

नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया के विभिन्न प्‍लेटफॉर्म पर एक वीडियो काफी वायरल हो रहा है, जिसमें नदी में नाव और क्रेन को पुल से टकराते हुए देखा जा सकता है। वीडियो में कुछ लोग वीडियो बनाते हुए नजर आ रहे हैं। अब कुछ यूजर्स इस वीडियो को भारत का बताकर शेयर कर रहे हैं। दावा किया जा रहा है कि यह नेपाल के जहाज का वीडियो है।

विश्वास न्यूज ने अपनी जांच में वायरल दावे को भ्रामक पाया। वायरल वीडियो का भारत से कोई संबंध नहीं है। असल में यह वीडियो सितंबर 2024 में वियतनाम में टाइफून यागी के कारण हुई तबाही का है, जिसे कुछ यूजर्स अब नेपाल जहाज का बताकर गलत दावे से शेयर कर रहे हैं। वीडियो का भारत या नेपाल से कोई संबंध नहीं है।

क्या है वायरल वायरल पोस्ट में?

फेसबुक यूजर Mohammad Shahabuddin ने 2 अक्टूबर 2024 को वायरल वीडियो को शेयर करते हुए लिखा है, “नेपाल से आया बिहार टर्ता हुआ जहाज फिर जो हुआ हे भगवान“

वायरल पोस्ट के आर्काइव लिंक को यहां देखा जा सकता है।

पड़ताल

वायरल दावे की सच्चाई जानने के लिए हमने वीडियो के कई कीफ्रेम निकाले और उन्हें गूगल रिवर्स इमेज के जरिए सर्च किया। हमें दावे से जुड़ी पोस्ट Traffic Safety Daily के वेरिफाइड एक्स हैंडल पर मिली। 10 सितंबर 2024 को शेयर किए गए पोस्ट में इस वीडियो को वियतनाम का बताया गया है।

पड़ताल के दौरान हमें वायरल वीडियो से जुड़ी रिपोर्ट nld.com.vn की वेबसाइट पर मिली। 10 सितंबर 2024 को प्रकाशित खबर में रेत ड्रेजरों के पुल से टकराने के इस घटना को येन बाई प्रांत के ल्यूक येन जिले में माउ ब्रिज का बताया गया है।

हमें वीडियो से जुड़ी रिपोर्ट KENH14 NEWS के आधिकारिक यूट्यूब चैनल पर मिली। 10 सितंबर 2024 को अपलोड वीडियो रिपोर्ट में इसे वियतनाम के माउ ब्रिज का बताया गया है।

सर्च के दौरान हमें वीडियो से जुड़ी कई अन्य खबरें मिली। जिन्हें यहां पढ़ा जा सकता है।

हमने वीडियो को नेपाल की फैक्‍ट चेकिंग वेबसाइट नेपाल चेक के संपादक दीपक अधिकारी के साथ शेयर किया। उन्होंने बताया कि वीडियो नेपाल का नहीं है।

अंत में हमने वीडियो को शेयर करने वाले यूजर को स्कैन किया। पता चला कि यूजर को 5 हजार से ज्यादा लोग फॉलो करते हैं। यूजर ने स्वयं को दिल्ली का  रहने वाला बताया है।

निष्कर्ष: विश्‍वास न्‍यूज ने अपनी जांच में वायरल दावे को भ्रामक पाया। वायरल वीडियो का नेपाल या भारत से कोई संबंध नहीं है। असल में यह वीडियो साल 2024 में वियतनाम में आए टाइफून यागी का है, जिसे अब भारत से जोड़कर गलत दावे से शेयर किया जा रहा है।

Misleading
Symbols that define nature of fake news
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