Fact Check: फर्जी है नेपाल के नोट पर गौतम बुद्ध की तस्‍वीर का दावा

दावा फर्जी साबित हुआ। नेपाल ने अपनी करंसी पर गौतम बुद्ध की तस्‍वीर का इस्‍तेमाल नहीं किया है। वायरल करंसी की तस्‍वीर एडिटेड है।

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। सोशल मीडिया के विभिन्‍न प्‍लेटफार्म पर नेपाल की करंसी नोट के नाम पर एक पोस्‍ट वायरल हो रही है। इसमें दावा किया जा रहा है कि नेपाल ने गौतम बुद्ध को सम्‍मान देते हुए अपनी मुद्राओं पर उनकी तस्‍वीर को शामिल किया है। विश्‍वास न्‍यूज ने वायरल पोस्‍ट की जांच की। दावा फर्जी साबित हुआ। नेपाल ने अपनी करंसी पर गौतम बुद्ध की तस्‍वीर का इस्‍तेमाल नहीं किया है। वायरल करंसी की तस्‍वीर एडिटेड है।

क्‍या हो रहा है वायरल

फेसबुक यूजर अरुण जाटव ने 15 फरवरी को नेपाल की करंसी के नाम पर दो तस्‍वीरों का एक कोलाज पोस्‍ट करते हुए लिखा, ‘मैं नेपाल देश का तहे – दिल से शुक्रिया अदा करता हूँ। जिन्होंने तथागत गौतम बुद्ध जी को अपनी मुद्राओं में शामिल किया। नमो बुद्धाय। जय भीम। अरुण जाटव बसपा।’

पोस्‍ट को सच मानकर दूसरे यूजर्स भी इसे वायरल कर रहे हैं। इसका आर्काइव वर्जन यहां देखा जा सकता है।

पड़ताल

विश्‍वास न्‍यूज ने ‘नेपाली की करंसी पर गौतम बुद्ध’ दावे की सच्‍चाई पता लगाने के लिए सबसे पहले गूगल ओपन सर्च किया। संबंधित कीवर्ड से खोजने पर हमें कई वेबसाइट पर एक पुरानी खबर मिली। 9 सितंबर 2013 को डीएनएइंडिया की वेबसाइट पर पब्लिश एक खबर में बताया गया कि नेपाल के सेंट्रल बैंक ने 100 रुपए का नया नोट जारी करने का फैसला किया। इसमें गौतम बुद्ध के जन्‍मस्‍थान लुंबिनी के बारे में लिखा जाएगा। इस खबर को यहां पढ़ा जा सकता है। गूगल सर्च में हमें ऐसी कोई खबर नहीं मिली, जिससे यह पुष्टि हो सके कि नेपाल अपनी करंसी पर गौतम बुद्ध की तस्‍वीर का इस्‍तेमाल कर रहा हो।

विश्‍वास न्‍यूज ने जांच को आगे बढ़ाते हुए नेपाल राष्‍ट्र बैंक की वेबसाइट को स्‍कैन करना शुरू किया। हमें नेपाल के नोट के बारे में जानकारी मिली। नेपाल में प्रचलित सौ, पांच सौ और एक हजार रुपए के नोट की तस्‍वीरों में कहीं भी गौतम बुद्ध की तस्‍वीर नजर नहीं आई। ये नोट आप नीचे देख सकते हैं।

विश्‍वास न्‍यूज ने जांच को आगे बढ़ाते हुए नेपाल राष्‍ट्र बैंक के उप प्रवक्‍ता और सूचना अधिकारी नारायण प्रसाद पोखरेल से संपर्क किया। उनके साथ वायरल नोट की तस्‍वीर को शेयर किया। उन्‍होंने इसे फेक बताया।

पड़ताल के अंत में फर्जी पोस्‍ट करने वाले यूजर की जांच की गई। फेसबुक यूजर अरुण जाटव हापुड में रहते हैं। इनके अकाउंट को 4.9 हजार लोग फॉलो करते हैं।

निष्‍कर्ष : विश्‍वास न्‍यूज की पड़ताल में पता चला कि नेपाल के नोट पर गौतम बुद्ध की तस्‍वीर का इस्‍तेमाल करने का दावा फर्जी साबित हुआ। वायरल नोट एडिटेड और फेक है।

False
Symbols that define nature of fake news
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