Fact Check : बालाकोट की 2005 के भूकंप की तस्‍वीरें हो रही हैं वायरल

नई दिल्‍ली (विश्‍वास टीम)। भारत की ओर से पाकिस्‍तान में की गई एयर स्‍ट्राइक के बाद सोशल मीडिया में कुछ ऐसी तस्‍वीरें वायरल हो रही हैं, जिनके बारे में दावा किया जा रहा है कि ये फोटो हवाई हमले के बाद की है। विश्‍वास टीम की पड़ताल में यह दावा फर्जी साबित हुआ।

क्‍या है वायरल पोस्‍ट में?

Care नाम के फेसबुक पेज पर तीन तस्‍वीरों को पोस्‍ट करते हुए लिखा गया है कि पाकिस्तान विनाश और बर्बादी का जखीरा देख ले। ये तेरे पाक की तस्वीर है जो आज हुआ। हिन्दुस्तान जिंदाबाद !!

ये पोस्‍ट 26 फरवरी को देर रात की गई है। इसे अब तक छह सौ से ज्‍यादा बार शेयर किया जा चुका है। जबकि 170 लोग इस पर कमेंट कर चुके हैं।

पड़ताल

सबसे पहले हमने वायरल हो रही तीनों तस्‍वीरों को ध्‍यान से देखा। जिस तस्‍वीर में शव दिख रहे हैं, उस फोटो के ऊपर हमें G लिखा हुआ देखा। यह गेट्टी इमेज का वाटरमार्क था। इसी तरह दूसरी तस्‍वीर, जिसमें चारों ओर मलब फैला हुआ था, वहां तस्‍वीर के नीचे हमें 28960 लिखा हुआ देखा। ऐस नंबर गेट्टी तस्‍वीरों के नीचे होते हैं।

इसके बाद विश्‍वास टीम ने तीनों तस्‍वीरों को अलग-अलग गूगल रिवर्स इमेज में सर्च किया। सबसे पहले बात करते उस तस्‍वीर की, जिसमें मलबे के अलावा कई गाड़ियां भी दिख रही हैं। इसमें जब ने गूगल रिवर्स इमेज में सर्च किया तो हमारे सामने गेट्टी की एक तस्‍वीर खुल गई। इसके कैप्‍शन से पता चला कि ओरिजनल तस्‍वीर पाकिस्‍तान के बालाकोट में 2005 को आए भूकंप की है। इसमें 30 हजार से लेकर 40 हजार के बीच लोगों की मौत हुई थी।

इसके बाद हमने वायरल हो रही दूसरी तस्‍वीर को गूगल रिवर्स इमेज में सर्च किया। यहां भी हमें गेट्टी का एक लिंक मिला, जिसमें ओरिजनल तस्‍वीर मौजूद थी। ओरिजनल तस्‍वीर का कुछ हिस्‍सा क्रॉप करके वायरल किया जा रहा है। ओरिजनल तस्‍वीर में भी आप 28960 लिखा हुआ देख सकते हैं। यही नंबर वायरल हो रही तस्‍वीर में भी मौजूद है।

अब बारी थी तीसरी तस्‍वीर को चेक करने की। इसे भी हमने गूगल रिवर्स इमेज में सर्च किया तो सच्‍चाई सामने आ गई। असली तस्‍वीर गेट्टी इमेज की ही निकली। इसे क्रॉप करके वायरल किया जा रहा है। यह तस्‍वीर भूकंप के बाद 15 अक्‍टूबर 2005 को बालाकोट में क्लिक की गई थी।

हमारी पड़ताल में यह भी पता चला कि एयर स्‍ट्राइक की कोई भी तस्‍वीर या वीडियो भारत सरकार की ओर से रिलीज नहीं किया गया है। पाकिस्‍तान सेना के मेजर जनरल आसिफ गफूर
ने जरूर 26 फरवरी की सुबह चार तस्‍वीरों को ट्वीट किया था। इन तस्‍वीरों पर भारत की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है।

अंत में हमने फेक तस्‍वीरों को फैलाने वाले फेसबुक पेज Care का सोशल स्‍कैन किया। इस पेज को 17 लाख से ज्‍यादा लोगों ने लाइक किया हुआ है,जबकि इसे 25 लाख से अधिक लोग फॉलो करते हैं। इस पेज को स्‍कैन करने के लिए हमने stalkscan.com का प्रयोग किया।

निष्‍कर्ष : विश्‍वास टीम की पड़ताल में पता चला कि जिन तस्‍वीरों को वायरल किया जा रहा है, वह 8 नवंबर 2005 में पाकिस्‍तान के बालाकोट में आए भूकंप की है। इन तस्‍वीरों का एयर स्‍ट्राइक से कोई संबंध नहीं है।

पूरा सच जानें…

सब को बताएं सच जानना आपका अधिकार है। अगर आपको ऐसी किसी भी खबर पर संदेह है जिसका असर आप, समाज और देश पर हो सकता है तो हमें बताएं। हमें यहां जानकारी भेज सकते हैं। हमें contact@vishvasnews.com पर ईमेल कर सकते हैं। इसके साथ ही वॅाट्सऐप (नंबर – 9205270923) के माध्‍यम से भी सूचना दे सकते हैं।

False
Symbols that define nature of fake news
Related Posts
नवीनतम पोस्ट