Fact Check : वायरल पोस्‍ट में अस्‍सी घाट के नाम पर यूज हो रही है क्षेमेश्‍वर घाट की तस्‍वीर

नई दिल्‍ली(विश्‍वास टीम)। सोशल मीडिया में एक पोस्‍ट वायरल हो रही है। इसमें दो तस्‍वीरों का यूज करते हुए दावा किया जा रहा है कि वाराणसी स्थित अस्‍सी घाट कितना बदल गया है। चेंज को दिखाने के लिए दो तस्‍वीरों को Then और Now के माध्‍यम से दिखाया गया है। विश्‍वास टीम की पड़ताल में इस बात का खुलासा हुआ है कि पहली फोटो अस्‍सी घाट की नहीं, बल्कि क्षेमेश्‍वर घाट की है। अस्‍सी घाट साफ-सुथरा है।

क्‍या है वायरल पोस्‍ट में

Vishakha (@Vishakha_JI) ने 17 जनवरी को रात 09:24 बजे एक ट्वीट किया है। इसमें दो तस्‍वीरों के साथ Then & Now की तर्ज पर दो तस्‍वीरों को मिलाकर एक क्रिएटिव बनाया गया है। पहली तस्‍वीर में घाट पर गंदगी पसरी हुई है तो दूसरी फोटो में एक सफाईकर्मी घाट पर झाडू लगाते हुए दिख रहा है। ट्वीट में लिखा गया है – हमारी संस्कृति और आस्था के प्रतीकों को पुनः उनका गौरव वापस लौटने की मुहिम… #5YearChallenge

दावा किया जा रहा है कि दोनों तस्‍वीर बनारस के अस्‍सी घाट की है। Twitter की तरह फेसबुक पर भी यह पोस्‍ट वायरल हो रहा है।

फेसबुक पर वायरल पोस्‍ट।

पड़ताल

वायरल पोस्‍ट की सच्‍चाई जानने के लिए हमे सबसे पहले ये जानना था कि दोनों तस्‍वीर अस्‍सी घाट की है क्‍या? दोनों तस्‍वीरों को अलग-अलग क्रॉप करके हमने गूगल रिवर्स इमेज की हेल्‍प ली। Now वाली तस्‍वीर अस्‍सी घाट की ही निकली। यह Livemint.com की तस्‍वीर है।

वायरल पोस्‍ट में अस्‍सी घाट की इसी तस्‍वीर का प्रयोग किया गया।

इसके बाद Then वाली तस्‍वीर की सच्‍चाई जाननी थी। इसके लिए हमने पहले Youtube पर मौजूद बनारस के घाटों के वीडियो देखे। अस्‍सी से लेकर मानसरावेर के बीच हमें वैसा ही घाट दिखा, जैसा तस्‍वीर में दिख रहा था। वीडियो के अनुसार, इस घाट का नाम क्षेमेश्‍वर घाट है।

अब बारी थी गूगल में क्षेमेश्‍वर घाट की तस्‍वीर सर्च करने की। गूगल में हमने क्षेमेश्‍वर घाट टाइप करके सर्च किया तो हमें एक ऐसी तस्‍वीर मिली, जो वायरल पोस्‍ट से मिलती हुई थी। तस्‍वीर में पीले मंदिर के अलावा वैसा ही पेड़ भी दिखा, जो वायरल पोस्‍ट की पहली तस्‍वीर में है।

इंटरनेट पर मौजूद क्षेमेश्‍वर घाट की तस्‍वीर। (Photo Courtesy : superbindiatours.com)

इसके बाद हमने गूगल अर्थ की मदद से भी दोनों घाटों को सर्च किया। अस्‍सी से लेकर क्षेमेश्‍वर घाट के बीच में 25 से ज्‍यादा घाट हैं। यहां भी वायरल पोस्‍ट में जिस पहली तस्‍वीर को अस्‍सी घाट की बताया गया है, वह क्षेमेश्‍वर घाट की ही निकली।

गूगल अर्थ में अस्‍सी घाट और क्षेमेश्‍वर घाट की लोकेशन।

गूगल अर्थ से हमने क्षेमेश्‍वर घाट को जूम करके देखा तो वायरल फोटो और यहां मौजूद संरचना एक जैसी ही दिखी।

इसके बाद Vishvas.News ने वाराणसी में मौजूद अपने फोटोग्राफर से अस्‍सी घाट की उसी एंगेल से तस्‍वीर मंगवाई, जो वायरल हो रही थी। नीचे आप वायरल और विश्‍वास न्‍यूज के फोटोग्राफर की तस्‍वीर देख सकते हैं। दोनों तस्‍वीर में आप देख सकते हैं कि अस्‍सी घाट साफ-सुथरा है। हर दिन यहां सफाई होती है।

अंत में हमने फेक वायरल पोस्‍ट करने वाले Vishakha (@Vishakha_JI) Twitter अकाउंट की सोशल स्‍कैनिंग की। follor.me से हमें पता चला कि यह अकाउंट फर्जी है।
प्रोफाइल इमेज में गुजरे जमाने की हीरोइन नलिनी जयवंत की तस्‍वीर लगाई है। इस अकाउंट को जनवरी 2019 को ही बनाया गया है। अब तक 967 Tweets इस अकाउंट से हो चुके हैं। इसे फॉलो करने वालों की संख्‍या 539 है। यह एक खास विचारधारा को प्रमोट करने के लिए बनाया गया है।

निष्‍कर्ष : विश्‍वास टीम की पड़ताल में पता चला कि वायरल पोस्‍ट की पहली तस्‍वीर अस्‍सी घाट की नहीं है। यह तस्‍वीर क्षेमेश्‍वर घाट की है।

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False
Symbols that define nature of fake news
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