सड़क पर सब इंस्पेक्टर को पीटते हुए ले जाने का वीडियो करीब पांच साल पुराना है। यह घटना मध्य प्रदेश के खरगोन जिले में हुई थी, जबकि तीन नए आपराधिक कानून 1 जुलाई 2024 से लागू हुए हैं। वायरल वीडियो का नए कानून से कोई संबंध नहीं है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। 1 जुलाई से देश में आईपीसी, सीआरपीसी और इंडियन एविडेंस एक्ट 1872 की जगह तीन नए आपराधिक कानून – भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस), भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) और भारत साक्ष्य अधिनियम 2023 ने ले ली है। नए कानून लागू होने के बाद सोशल मीडिया पर एक वीडियो शेयर किया जा रहा है। इसमें एक महिला पुलिसकर्मी को सड़क पर पीटते हुए ले जा रही है। इस दौरान उसके साथ कुछ और लोग भी मौजूद हैं, जिनमें से एक शख्स घटना का वीडियो बना रहा है। कुछ यूजर्स इस वीडियो को नए कानून लागू होने के बाद का बता रहे हैं।
विश्वास न्यूज ने अपनी जांच में पाया कि वायरल वीडियो मध्य प्रदेश के खरगोन जिले के महेश्वर का है और करीब पांच साल पुराना है, जबकि तीनों नए आपराधिक कानून 1 जुलाई 2024 को लागू हुए हैं।
एक्स यूजर @kalamkeechot ने 23 जुलाई को वीडियो को पोस्ट (आर्काइव लिंक) करते हुए लिखा,
“साइड इफ़ेक्ट ऑफ न्यू लॉ,
घटना स्थल पर वीडियो बनाने का परिणाम
ये वीडियो कहां का है अगर किसी को जानकारी हो तो साझा करें
@Uppolice कृपया पुष्टि करते हुए अवगत कराए”
फेसबुक यूजर Man Singh Meena ने भी वायरल वीडियो को तीनों नए कानून से जोड़ते हुए शेयर (आर्काइव लिंक) किया है।
वायरल वीडियो का कीफ्रेम निकालकर उसे गूगल लेंस से सर्च करने पर हमें 13 सितंबर 2019 को एनडीटीवी के एक्स हैंडल पर पोस्ट की गई इससे संबंधित जानकारी मिली। इसके अनुसार, मामला मध्य प्रदेश का है। इससे यह भी पता चलता है कि मामला करीब पांच साल पुराना है।
एनडीटीवी की वेबसाइट पर 14 सितंबर 2019 को इससे संबंधित खबर में वीडियो न्यूज भी अपलोड है। इसमें वायरल वीडियो के हिस्से को भी देखा जा सकता है। खबर के अनुसार, मामला मध्य प्रदेश के खरगोन जिले के महेश्वर नगर का है। वहां अवैध शराब की सूचना पर छापा मारने पहुंची आबकारी विभाग की टीम के सब इंस्पेक्टर की महिला ने पिटाई कर दी। महिला उसको पीटते हुए थाने तक ले गई। महिला ने आरोप लगाया कि अधिकारी ने उसकी बेटी से छेड़छाड़ की थी। बाद में महिला समेत सात लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया था।
आजतक की वेबसाइट पर भी इससे संबंधित वीडियो को देखा जा सकता है। इसे 13 सितंबर 2019 को अपलोड किया गया था।
इससे पहले इस वीडियो को सूरत हाईवे पर पुलिसकर्मियों की अवैध वसूली का बताकर वायरल किया गया था। उस समय विश्वास न्यूज की टीम ने खरगोन के तत्कालीन एसपी सुनील कुमार पांडेय से बात की थी। उन्होंने कहा था कि मामला 12 सितंबर का था। महेश्वर में कार्रवाई के दौरान महिलाओं ने आबकारी सब इंस्पेक्टर पर हमला कर दिया था। वायरल वीडियो उसी घटना का है।
प्रेस इन्फॉर्मेशन ब्यूरो की वेबसाइट पर 1 जुलाई को अपलोड प्रेस रिलीज में लिखा है कि तीन नए आपराधिक कानून आज से देश में लागू हो गए हैं। गृहमंत्री अमित शाह ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इसकी जानकारी दी। नए कानून के तहत, सात साल या उससे अधिक की सजा वाले अपराध में फोरेंसिक जांच अनिवार्य है।
पुराने वीडियो को शेयर करने वाले एक्स यूजर की प्रोफाइल को हमने स्कैन किया। यूजर के 14 हजार फॉलोअर्स हैं।
निष्कर्ष: सड़क पर सब इंस्पेक्टर को पीटते हुए ले जाने का वीडियो करीब पांच साल पुराना है। यह घटना मध्य प्रदेश के खरगोन जिले में हुई थी, जबकि तीन नए आपराधिक कानून 1 जुलाई 2024 से लागू हुए हैं। वायरल वीडियो का नए कानून से कोई संबंध नहीं है।
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