विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल वीडियो राम मंदिर का नहीं, बल्कि आंध्र प्रदेश के वासवी देवी का है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया पर भव्य मंदिर के एक वीडियो को शेयर कर दावा किया जा रहा है कि यह हाल ही में बने राम मंदिर का है। वीडियो में देखा जा सकता है कि कुछ लोग मंदिर के गेट को खोलते हैं और फिर सामने एक बड़ी सी मूर्ति नजर आती है।
विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल वीडियो को लेकर किया जा रहा दावा गलत है। वायरल वीडियो राम मंदिर का नहीं, बल्कि आंध्र प्रदेश के वासवी देवी मंदिर का है।
फेसबुक यूजर बादल पी07 हिन्दू ने वायरल वीडियो को शेयर करते हुए कैप्शन में लिखा है, “राम मंदिर का दरवाजा खुलते हुए।”
पोस्ट के आर्काइव लिंक को यहां पर देखें।
वायरल वीडियो की सच्चाई जानने के लिए हमने गूगल पर संबंधित कीवर्ड्स की मदद से सर्च करना शुरू किया। इस दौरान हमें वायरल वीडियो से मिलता-जुलता एक वीडियो (आर्काइव लिंक) ऑल इन ऑल सीरीज नामक एक यूट्यूब चैनल पर अपलोड मिला। वीडियो को 16 फरवरी 2019 को शेयर किया गया था। मौजूद जानकारी के मुताबिक, आंध्र प्रदेश के पेनुगोंडा में स्थित वासवी धाम मंदिर का है। वीडियो में वायरल वीडियो जैसे हूबहू गेट को देखा जा सकता है।
प्राप्त जानकारी के आधार पर हमने गूगल पर संबंधित कीवर्ड्स की मदद से सर्च करना शुरू किया। हमें दावे से जुड़ी वीडियो रिपोर्ट (आर्काइव लिंक) महा न्यूज नामक एक यूट्यूब चैनल पर मिली। वीडियो को 15 फरवरी 2019 को शेयर किया गया था। मौजूद जानकारी के मुताबिक, मंदिर के निर्माण कार्य के बाद उद्घाटन किया गया और आम लोगों के पूजा-अर्चना करने के लिए खोल दिया गया। वीडियो में हूबहू मूर्ति को देखा जा सकता है, जो कि वायरल वीडियो में गेट खुलने के बाद नजर आती है।
पड़ताल के दौरान हमें वायरल वीडियो से जुड़ी एक रिपोर्ट (आर्काइव लिंक) एएएनआई की आधिकारिक वेबसाइट पर 15 फरवरी 2019 को प्रकाशित मिली। रिपोर्ट के अनुसार, वासवी मंदिर के द्वार भक्तों के लिए खोल दिए गए। मंदिर में देवी वासवी की 90 फुट ऊंची मिश्र धातु की मूर्ति लगाई गई है। यह मूर्ति 65,000 किलोग्राम मिश्र धातु से बनी है। द्वार खुलने के बाद बड़ी संख्या में श्रद्धालु मंदिर में पूजा-अर्चना करने पहुंचे।
अधिक जानकारी के लिए हमने अयोध्या दैनिक जागरण के संपादकीय प्रभारी रमा शरण अवस्थी से संपर्क किया। उन्होंने हमें बताया कि वायरल दावा गलत है। यह वीडियो राम मंदिर का नहीं है।
अंत में हमने वीडियो को गलत दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर के अकाउंट को स्कैन करना शुरू किया। हमने पाया कि यूजर को एक लाख से ज्यादा लोग फॉलो करते हैं। यूजर ने प्रोफाइल पर खुद को हरियाणा का रहने वाला बताया हुआ है।
निष्कर्ष : विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल वीडियो राम मंदिर का नहीं, बल्कि आंध्र प्रदेश के वासवी देवी का है।
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