विश्वास न्यूज की जांच में वायरल दावा गलत निकला। तस्वीर में फोटोग्राफर रामलला की मूर्ति देखकर नहीं रो रहा। असल में यह फोटो इराक के एक जर्नलिस्ट मोहम्मद अल-अज़्वी की है,जो एशियाई कप 2019 में अपने देश की फुटबॉल टीम के हारने पर रो पड़े थे। तस्वीर को अब अयोध्या राम मंदिर से जोड़कर गलत दावे से शेयर किया जा रहा है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। अयोध्या राम मंदिर की प्राण-प्रतिष्ठा पूरी हो चुकी है। इसको लेकर सोशल मीडिया पर कई पोस्ट वायरल हो रहे हैं। इसी बीच सोशल मीडिया पर एक फोटोग्राफर की तस्वीर शेयर की जा रही है। फोटो को हालिया बताते हुए दावा किया जा रहा है कि रामलला की मूर्ति देखते ही एक फोटोग्राफर रोने लगा।
विश्वास न्यूज़ की पड़ताल में वायरल दावा गलत निकला। वायरल तस्वीर इराकी फोटोग्राफर मोहम्मद अल-अज़्वी की है, जो फुटबॉल एशिया कप के 16वें राउंड में अपने देश की टीम के हारने पर रो पड़े थे। तस्वीर को अब गलत दावे के साथ शेयर किया जा रहा है।
फेसबुक पेज ‘मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी’ ने वायरल पोस्ट शेयर करते हुए कैप्शन में लिखा है, “जैसे ही फोटोग्राफर तस्वीर ले रहा था, रामराया गायब हो गए… फिर उन्हें एहसास हुआ… उनकी आंखें आंसुओं से भरी हुई थीं… तो उन्होंने आंसू बहते हुए अपना चेहरा ऊपर उठाया… उसी वक्त किसी ने उन्हें अपने कैमरे में कैद कर लिया। ..
जीवन कृतार्थ हो गया…
किसी को और क्या चाहिए…
उस पल उसे कुछ अच्छा महसूस हुआ होगा
ख़ुशी ख़ुशी सिर्फ खुशी
बस् रंग एक हो गया
रंगो मे रंग हो गया प्रभू श्रीराम
जय जय श्रीराम”
पोस्ट का लिंक यहाँ देखा जा सकता है।
विश्वास न्यूज ने वायरल तस्वीर की सच्चाई जानने के लिए सबसे पहले गूगल लेंस टूल का इस्तेमाल किया। सर्च करने पर असली तस्वीर हमें ‘AFC Asian Cup’ के वेरिफाइड फेसबुक पेज पर मिली। 24 जनवरी 2019 को अपलोड तस्वीर के कैप्शन के अनुसार,”यह तस्वीर एशिया कप 2019 के फुटबॉल मैच के दौरान एक इराकी फोटोग्राफर की है।” एएफसी एशियाई कप ने अपने वेरिफाइड इंस्टाग्राम अकाउंट से भी इस तस्वीर को शेयर किया था और इसे एशियाई कप का बताया था।
सर्च में हमें वायरल तस्वीर ‘फुटबॉल ट्वीट’ नाम के एक्स हैंडल पर भी मिली। 28 जनवरी 2019 को शेयर तस्वीर के साथ दी गई जानकारी के मुताबिक, यह एक इराकी फोटोग्राफर की तस्वीर है।
इसी फोटोग्राफर की तस्वीर हमें Tribesmith नाम के एक्स यूजर के अकाउंट पर मिली, जिसे 30 जनवरी 2019 को शेयर किया गया है।
तस्वीर से जुड़ी खबर को यहां पढ़ा जा सकता है। पहले भी ये तस्वीर अलग-अलग दावों के साथ सोशल मीडिया पर वायरल हो चुकी है। जिनकी जांच विश्वास न्यूज ने की थी। आप फैक्ट चेक रिपोर्ट को यहां पढ़ सकते हैं।
अधिक जानकारी के लिए हमने स्पोर्ट्स जर्नलिस्ट सैयद हुसैन से संपर्क किया। उन्होंने हमें बताया, “यह साल 2019 की है। इस तस्वीर को कई बार वायरल किया जा चुका है। तस्वीर का हाल-फिलहाल से कोई संबंध नहीं है।”
अंत में हमने वायरल पोस्ट शेयर करने वाले पेज की सोशल स्कैनिंग की। पता चला कि इस पेज को एक लाख 40 हजार से ज्यादा लोग फॉलो करते हैं।
निष्कर्ष: विश्वास न्यूज की जांच में वायरल दावा गलत निकला। तस्वीर में फोटोग्राफर रामलला की मूर्ति देखकर नहीं रो रहा। असल में यह फोटो इराक के एक जर्नलिस्ट मोहम्मद अल-अज़्वी की है,जो एशियाई कप 2019 में अपने देश की फुटबॉल टीम के हारने पर रो पड़े थे। तस्वीर को अब अयोध्या राम मंदिर से जोड़कर गलत दावे से शेयर किया जा रहा है।
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