Fact Check: 1686 रुपए के फ्री मोबाइल रिचार्ज के नाम से वायरल हो रहे इस लिंक से रहें सतर्क, हो सकती है धोखाधड़ी

विश्वास न्यूज ने वायरल पोस्ट की जांच में पाया कि 1686 रुपए के रिचार्ज का दावा करता यह लिंक फर्जी है। एक्सपर्ट्स के अनुसार, इस लिंक पर क्लिक करने से आपका डेटा चोरी हो सकता है और हैकर्स आपका अकाउंट भी खाली कर सकते हैं। इसलिए भूलकर भी ऐसे लिंक पर क्लिक नहीं करना चाहिए।

Fact Check: 1686 रुपए के फ्री मोबाइल रिचार्ज के नाम से वायरल हो रहे इस लिंक से रहें सतर्क, हो सकती है धोखाधड़ी

नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया पर फ्री मोबाइल रिचार्ज के नाम पर अक्सर ही कुछ न कुछ वायरल होता रहता है, जिसको यूजर सच समझते हुए शेयर करते हैं। इसी कड़ी में एक लिंक वायरल हो रहा है और इसको शेयर करते हुए दावा किया जा रहा है कि इस यूआरएल पर क्लिक करने से आपके मोबाइल पर फ्री में 1686 रुपए का रिचार्ज हो जाएगा। और इस रिचार्ज का फायदा 2 करोड़ लोग उठा चुके हैं।

 विश्वास न्यूज ने वायरल पोस्ट की जांच में पाया कि 1686 रुपए के रिचार्ज का दावा करता यह लिंक फर्जी है। एक्सपर्ट्स के अनुसार, इस लिंक पर क्लिक करने से आपका डेटा  चोरी हो सकता है और हैकर्स आपका अकाउंट भी खाली कर सकते हैं। इसलिए भूलकर भी ऐसे लिंक पर क्लिक नहीं करना चाहिए।

क्या है वायरल पोस्ट में?

फेसबुक यूजर ने वायरल लिंक को शेयर करते हुए लिखा,”2 करोड़ लोगो ने इनाम पाया है आप भी इनाम के हक़दार बने।”

पड़ताल

वायरल पोस्ट की पड़ताल के लिए हमने सबसे पहले मैसेज के साथ दिए गए लिंक को ध्यान से देखा। इसका यूआरएल लिखा है, dhamakafest.xyz. यूआरएल देखने में ही संदेहास्पद लगा।

लिंक पर क्लिक किये जाने पर हम एक पेज पर लैंड हुए, जिसमें लिखा था ,”आपने जीता है फ्री कैशबैक रुपए 1999/- तक का अभी स्क्रैच करके अपने खाते में जीती हुई राशि भेजे।” इस पूरे पेज पर कहीं भी क्लिक का करने का ऑप्शन नजर नहीं आया।

Source: Viral Link

इससे पहले भी हम इस तरीके के कई फर्जी लिंक का फैक्ट चेक कर चुके हैं। ऐसे लिंक्स पर साइबर सिक्योरिटी एक्सपर्ट एवं राजस्थान सरकार की पब्लिक ग्रीवांस कमेटी के पूर्व आईटी सलाहकार आयुष भारद्वाज का कहना है, ऐसे लिंक क्लिकबेट होते हैं और इन लिंक के जरिये मोबाइल में मैलवेयर पहुंचा कर  उसका कंट्रोल भी हासिल किया जा सकता है। निजी सूचनाएं चोरी कर डीप वेब पर बेची जा सकती हैं। ई-वॉलेट हैक कर आपको वित्तीय नुकसान भी पहुंचाया जा सकता है।

आयुष ने हमें यह भी बताया कि ऐसी वेबसाइटों को बनाने का मूल उद्देश्य यूजर्स के मोबाइल और लैपटॉप में मैलवेयर डालना होता है। उसके बाद कीलॉगिंग के माध्यम से यूजर द्वारा टाइप की गई गुप्त सूचना जैसे कि नेटबैंकिंग आईडी सोशल मीडिया एकाउंट्स की लॉगइन इन्फॉर्मेशन , ईमेल अकाउंट का पासवर्ड चुराया जाता है। यह कीलॉगर साइबर अपराधी को हर कुछ घंटे में यूजर की डिटेल टेक्स्ट फाइल में भेजते हैं। जिससे ओटीपी जैसी जानकारी अपने आप हैकरों तक पहुंच जाती है।

विश्वास न्यूज पहले भी इस तरह के फिशिंग लिंक वाले मैसेज का फैक्ट चेक कर चुका है। उन फैक्ट चेक को यहां पढ़ा जा सकता है।

फेसबुक पेज ‘Reward club’ की सोशल स्कैनिंग में हमने पाया कि यूजर को 400 से ज्यादा लोग फॉलो करते हैं।  

निष्कर्ष: विश्वास न्यूज ने वायरल पोस्ट की जांच में पाया कि 1686 रुपए के रिचार्ज का दावा करता यह लिंक फर्जी है। एक्सपर्ट्स के अनुसार, इस लिंक पर क्लिक करने से आपका डेटा चोरी हो सकता है और हैकर्स आपका अकाउंट भी खाली कर सकते हैं। इसलिए भूलकर भी ऐसे लिंक पर क्लिक नहीं करना चाहिए।

False
Symbols that define nature of fake news
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