Fact Check: हाथी द्वारा सूंड पर शेर के बच्चे को ले जाने की यह तस्वीर अप्रैल फूल का मजाक था

विश्वास टीम ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल हो रही तस्वीर फ़र्ज़ी है और 1 अप्रैल 2018 को यह अप्रैल फूल मज़ाक के तौर पर शेयर की गई थी।

नई दिल्ली (विश्वास टीम)। सोशल मीडिया पर एक तस्वीर वायरल हो रही है, जिसमें एक हाथी की सूंड पर शेर के बच्चे को बैठा देखा जा सकता है। तस्वीर में एक शेरनी भी चलती नज़र आ रही है। इस तस्वीर के साथ दावा किया जा रहा है कि जानवर एक-दूसरे की मदद करते हैं और यह मानव जाति के लिए एक महान सबक है। विश्वास टीम ने जब इस तस्वीर की पड़ताल की तो पाया कि यह तस्वीर एडिटेड है। यह तस्वीर अप्रैल फूल के मज़ाक के तौर पर 1 अप्रैल 2018 को शेयर की गई थी।

क्या हो रहा है वायरल?

14 फरवरी, 2022 को अपलोड किये गए एक यूट्यूब चैनल ‘विचित्र दुनिया’ (Archive)पर 1 मिनट 13 सेकंड के एक वीडियो में इस तस्वीर को इस्तेमाल किया गया और दावा किया गया, “हाथी ने शेर के बच्चे की मदद की|| हाथी और शेरनी बने दोस्त  ”

पड़ताल

पड़ताल की शुरुआत करते हुए हमने सबसे पहले इस तस्वीर को गूगल रिवर्स इमेज टूल में सर्च किया। हमें मुंबई मिरर का एक आर्टिकल मिला, जिसका शीर्षक था: क्रूगर नेशनल पार्क: एक हाथी, एक शेरनी, एक शावक और एक अप्रैल फूल का मजाक। आर्टिकल के अनुसार, तस्वीर को क्रूगर नेशनल पार्क ट्विटर हैंडल द्वारा अप्रैल फूल मजाक के रूप में साझा किया गया था।

विश्वास न्यूज को क्रूगर नेशनल पार्क, क्रूगर साइटिंग्स, @LatestKruger के आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर भी यह तस्वीर मिली।

इस खबर में वायरल तस्वीर की सच्चाई बताई गई थी। इस खबर के अनुसार, “Kruger Sightings” नाम के ट्विटर हैंडल से 1 अप्रैल 2018 को यह तस्वीर अप्रैल फूल के मज़ाक के तौर पर शेयर की गई थी पर लोगों ने इसे असली समझ शेयर करना शुरू कर दिया था। यह तस्वीर 20 मिलियन से भी ज़्यादा लोगों ने शेयर की थी।

“Kruger Sightings” ट्विटर हैंडल द्वारा 1 अप्रैल 2018 को शेयर किया गया ट्वीट आप नीचे देख सकते हो।

ट्वीट में लिखा था, “अनुवादित: हम एक शेरनी का पीछा कर रहे थे, जो उसके शावक को ले जा रही थी और वह काफी थक रही थी। एक हाथी शेरनी की मदद करना चाहता था। हाथी ने अपनी सूंड नीचे रख दी, शावक ऊपर कूद गया और हाथी ने शेर के शावक को उठा लिया !!

S28, S प्रवेश द्वार से 3 किमी दूर। Sloof Lirpa . द्वारा टिंगेड”

यह तस्वीर 1 अप्रैल 2018 को शेयर की गई थी।

यदि कोई पोस्ट के अंतिम दो शब्दों को पीछे से पढ़ता है, तो ‘Sloof Lirpa’ बन जाता है  ‘अप्रैल फूल’।

हमें इसी ट्वीट पर भारतीय IFS, परवीन कस्वां का एक कमेंट भी मिला, जिसमें उन्होंने बताया कि कोलाज कैसे बनाया गया होगा।

विश्वास न्यूज को नदव ओसेनड्राइवर का भी एक ट्वीट मिला, जो क्रूगर साइटिंग्स के सीईओ हैं और @LatestKruger पेज को चलाते है। उन्होंने लिखा: कल मैंने एक अप्रैल फूल का जोक शेयर किया, जो काफी वायरल हो गया। यह कुल 6 मिलियन लोगों तक पहुँच चुका है।”

अब हमने आधिकारिक पुष्टि के लिए “Nadav Ossendryver” से ट्विटर के जरिए संपर्क किया। नडाव ने बताया “यह तस्वीर एडिटेड है और मैंने ही शेयर की थी।”

अंत में विश्वास टीम ने इस तस्वीर को शेयर करने वाले यूज़र की सोशल स्कैनिंग करने का फैसला किया। हमने पाया कि इस पेज को किसी ने सब्सक्राइब नहीं कर रखा है।

निष्कर्ष: विश्वास टीम ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल हो रही तस्वीर फ़र्ज़ी है और 1 अप्रैल 2018 को यह अप्रैल फूल मज़ाक के तौर पर शेयर की गई थी।

False
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