धर्म संसद में सनातन बोर्ड के गठन की मांग की गई थी, लेकिन केंद्र सरकार की तरफ से सनातन बोर्ड के गठन को लेकर कोई मंजूरी नहीं दी गई है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। दिल्ली में हाल में हुई धर्म संसद में सनातन बोर्ड की मांग उठने के बाद सोशल मीडिया पर एक पोस्ट वायरल हो रही है। इसमें दावा किया जा रहा है कि सनातन बोर्ड बनाने की मंजूरी मिल गई है। इससे ऐसा लग रहा है जैसे केंद्र सरकार ने सनातन बोर्ड को मंजूरी दे दी है।
विश्वास न्यूज ने जब इस दावे की जांच की तो पता चला कि केंद्र सरकार ने इस तरह के किसी बोर्ड के गठन को मंजूरी नहीं दी है। हालांकि, दिल्ली में आयोजित धर्मसंसद में सनातन बोर्ड बनाने की मांग की गई थी।
थ्रेड यूजर jitendrarajbhar9274 (आर्काइव लिंक) ने 19 नवंबर को लिखा,
“ब्रेकिंग न्यूज सनातन बोर्ड बनाने की मंंजूरी मिल गई है, जिसे खुशी है वही बोले
जय श्री राम“
वायरल दावे की जांच के लिए हमने सबसे पहले कीवर्ड से इस बारे में गूगल पर सर्च किया, लेकिन ऐसी कोई मीडिया रिपोर्ट नहीं मिली, जिससे वायरल दावे की पुष्टि हो सके।
सर्च में हमें दैनिक भास्कर की वेबसाइट पर 17 नवंबर को छपी खबर मिली। इसके अनुसार, दिल्ली में आयोजित तीसरी धर्म संसद में द्वारकापीठ के शंकराचार्य सदानंद सरस्वती समेत देश भर से 50-60 संत, साध्वी और कथावाचक शामिल हुए थे। इस कार्यक्रम में कथावाचक देवकीनंदन ने वक्फ बोर्ड की तरह सनातन बोर्ड बनाने की मांग की। देवकीनंदन ने ही इस धर्म संसद का आयोजन किया था।
दैनिक जागरण की वेबसाइट पर भी 16 नवंबर को इससे संबंधित खबर को देखा जा सकता है। इसमें भी धर्म संसद में सनातन बोर्ड गठन की मांग वाली बात लिखी हुई है।
19 नवंबर को अमृत विचार की वेबसाइट पर छपी खबर के मुताबिक, देवकीनंदन ठाकुर के बाद किन्नर कथावाचक हिमांगी सखी ने भी केंद्र सरकार से सनातन बोर्ड के गठन की मांग की है।
लाइव हिन्दुस्तान की वेबसाइट पर 19 नवंबर को छपी खबर में लिखा है कि अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष व मनसा देवी ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत रविंद्र पुरी ने महाकुंभ में सनातन बोर्ड का प्रस्ताव रखने का एलान किया। महाकुंभ में सनातन बोर्ड के गठन का प्रस्ताव पास कराकर केंद्र सरकार को भेजा जाएगा। यह बोर्ड देश भर के मठ और मंदिरों की सभी व्यवस्थाओं को देखेगा।
इस बारे में हमने दैनिक जागरण नेशनल ब्यूरो के विशेष संवाददाता नीलू रंजन से बात की। उनका कहना है कि धर्म संसद में सनातन बोर्ड के गठन की मांग की गई थी लेकिन केंद्र सरकार ने इसको लेकर अभी कोई मंजूरी नहीं दी है।
सनातन बोर्ड के गठन का गलत दावा पोस्ट करने वाले थ्रेड यूजर की प्रोफाइल को हमने स्कैन किया। एक विचारधारा से प्रभावित यूजर के एक हजार से अधिक फॉलोअर्स हैं।
इससे पहले श्रीरामचरित मानस को ‘राष्ट्रीय ग्रंथ’ बनाने का दावा किया गया था, जो हमारी जांच में गलत निकला था। फैक्ट चेक रिपोर्ट को यहां पढ़ा जा सकता है।
निष्कर्ष: धर्म संसद में सनातन बोर्ड के गठन की मांग की गई थी, लेकिन केंद्र सरकार की तरफ से सनातन बोर्ड के गठन को लेकर कोई मंजूरी नहीं दी गई है।
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