विश्वास न्यूज़ की जांच में वायरल दावा भ्रामक निकला। वायरल तस्वीर किसान आंदोलन की नहीं, बल्कि सर्वजाति किसान गरीब मंच द्वारा आयोजित खिलाड़ियों के सम्मान समारोह की पुरानी तस्वीर है। जिसे अब गलत दावे के साथ वायरल किया जा रहा है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। बर्मिंघम में हुए कॉमनवेल्थ गेम्स 2022 में भारत के खिलाड़ियों का अच्छा प्रदर्शन देखने को मिला। भारत ने कुल 61 मेडल्स जीते। रेसलिंग में भारत को स्वर्ण पदक जीताने वाले खिलाड़ियों में बजरंग पुनिया, दीपक पुनिया, रवि कुमार दहिया और नवीन का नाम शामिल है। इसी से जोड़कर सोशल मीडिया पर एक तस्वीर को शेयर कर दावा किया जा रहा है कि ये तस्वीर किसान आंदोलन की है। विश्वास न्यूज की पड़ताल में वायरल दावा भ्रामक साबित हुआ। वायरल तस्वीर 10 सितंबर, 2021 की है, जब हरियाणा के सोनीपत जिले में हुए कार्यक्रम में किसान नेता राकेश टिकैत ने खिलाड़ियों को सम्मानित किया था।
क्या है वायरल पोस्ट में?
फेसबुक यूजर यूसुफ राजपूत ने 15 अगस्त को वायरल तस्वीर को शेयर करते हुए लिखा है, “ये फोटो किसान आंदोलन की है. ये तीनों पहलवान अब सोना जीतकर आए हैं.! ”
इस पोस्ट के आर्काइव वर्जन को यहां क्लिक कर देखा जा सकता है। सोशल मीडिया के अलग-अलग प्लेटफॉर्म पर भी कई अन्य यूजर्स ने इसे समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।
पड़ताल
वायरल दावे की सच्चाई जानने के लिए हमने फोटो को गूगल रिवर्स इमेज के जरिए सर्च किया। इस दौरान हमें वायरल दावे से जुड़ी खबर अमर उजाला की वेबसाइट पर 11 सितंबर 2021 को प्रकाशित एक खबर में मिली। रिपोर्ट में दी गई जानकारी के अनुसार, किसान-मजदूर समाज के बैनर तले ओलंपिक पदक विजेता खिलाड़ियों के सम्मान में समारोह आयोजित किया गया। समारोह में संयुक्त मोर्चे के नेता राकेश टिकैत, जगजीत सिंह दल्लेवाल, लखविंद्र सिंह सिरसा सहित अन्य नेताओं द्वारा खिलाड़ियों को गदा व चांदी का रथ देकर सम्मानित किया गया।’
Etv Bharat की वेबसाइट पर भी 10 सितंबर 2021 को इस समारोह की कुछ तस्वीरें मिली। यहां दी गई जानकारी मुताबिक ,’ सर्वजाति किसान गरीब मंच ने सोनीपत के खरखौदा में एक सम्मान समारोह का आयोजन किया था। इस समारोह में किसान नेताओं ने टोक्यो ओलंपिक में मेडल विजेता पहलवान और खिलाड़ियों को सम्मानित किया था। जिनमें पहलवान रवि दहिया, बजरंग पूनिया, दीपक पूनिया, हॉकी खिलाड़ी सुमित कुमार, पैरा ओलंपियन अमित सरोहा शामिल थे।’
पड़ताल को आगे बढ़ाते हुए हमने संबंधित कीवर्ड से सर्च किया। हमें इस सम्मान समारोह से जुड़ा एक वीडियो PR khoj पर 10 सितम्बर 2021 को अपलोड मिला। वीडियो को गौर से देखने पर हमने पाया की मंच पर लगे एक पोस्टर में लिखा हुआ है, “ओलंपिक पदक विजेता व राष्ट्रपति अवार्डी खिलाड़ियों का सम्मान समारोह। ” वीडियो में इन तीन खिलाडियों के अलावा अन्य खिलाडियों को सम्मान देते हुए देखा जा सकता है। वीडियो को देखने के बाद यह साफ़ होता है कि यह किसान आंदोलन नहीं, बल्कि खिलाडियों के सम्मान समारोह का वीडियो है।
इससे जुड़ी अन्य खबरों को भी यहां क्लिक कर पढ़ा जा सकता है। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि किसान आंदोलन की शुरुआत अगस्त 2020 में हुई थी और किसान आंदोलन की समाप्ति दिसंबर 2021 को हुई थी।
वायरल तस्वीर के बारे में अधिक जानकारी के लिए हमने दैनिक जागरण के सोनीपत चीफ सब एडिटर (इनपुट हेड), नंदकिशोर भारद्वाज को संपर्क किया। उनके साथ वायरल पोस्ट के लिंक को भी शेयर किया। उन्होंने हमें बताया, ‘यह फोटो सोनीपत के खरखौदा की अनाज मंडी में आयोजित सम्मान समारोह का है। टोक्यो ओलिंपिक में पदक विजेता पहलवान दीपक पूनिया, रवि दहिया और बजरंग पूनिया को सम्मानित किया गया था। इसमें कई अन्य खिलाड़ियों को भी सम्मानित किया गया था। यह समारोह 10 सितंबर, 2021 को हुआ था। फोटो किसान आंदोलन की नहीं है।’ नंदकिशोर भारद्वाज ने हमारे साथ इस समारोह की कुछ तस्वीरें भी शेयर की।
पड़ताल के अंत में हमने तस्वीर को गलत दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर की जांच की। जांच में पता चला कि यूजर ने इस तस्वीर को फेसबुक पेज ‘भारतीय किसान आंदोलन से जुड़िए’ पर शेयर किया है। फेसबुक पर इस पेज के 122.4K मेंबर्स हैं।
निष्कर्ष: विश्वास न्यूज़ की जांच में वायरल दावा भ्रामक निकला। वायरल तस्वीर किसान आंदोलन की नहीं, बल्कि सर्वजाति किसान गरीब मंच द्वारा आयोजित खिलाड़ियों के सम्मान समारोह की पुरानी तस्वीर है। जिसे अब गलत दावे के साथ वायरल किया जा रहा है।
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