Fact Check: राजस्थान की 3 बहनों ने स्टेट एग्जाम में रैंक हासिल की थी न कि IAS रैंक

नई दिल्ली विश्वास टीम ।  सोशल मीडिया पर एक तस्वीर वायरल हो रही है, जिसमें 3 लड़कियों को हाथ में मिठाई का डब्बा लिए देखा जा सकता है। तस्वीर के साथ डिस्क्रिप्शन लिखा है कि राजस्थान की यह तीनों बहनें एक साथ आईएएस अधिकारी बनीं हैं। हमारी पड़ताल में हमने पाया कि यह दावा सही नहीं है। इन तीनों बहनों ने 2017 में राजस्थान पब्लिक सर्विस कमीशन द्वारा आयोजित RAS की परीक्षा देकर रैंक हासिल की थी, न कि आईएएस की।

CLAIM

पोस्ट में एक तस्वीर वायरल हो रही है जिसमें 3 लड़कियों को हाथ में मिठाई का डब्बा लिए देखा जा सकता है। तस्वीर के साथ डिस्क्रिप्शन लिखा है- “तीनो बहने एक साथ बनी IAS👌👌👌दिनरात खेतों में काम करने वाले विधवा मां की तीनों बेटियां एक साथ बनी IAS, कमला 32 वीं, गीता 62 वीं, ममता ने 132 वीं रैंक प्राप्त की इन तीनों को बहुत-बहुत हार्दिक बधाई।”

FACT CHECK

पड़ताल के लिए हमने सबसे पहले इस तस्वीर का स्क्रीनशॉट लिया और फिर उसे गूगल रिवर्स इमेज पर सर्च किया। इस सर्च में हमारे हाथ डेलीहंट वेबसाइट की एक खबर लगी जिसमें इस तस्वीर का इस्तेमाल किया गया था। इस खबर के अनुसार, इन तीनों बहनों ने राजस्थान प्रशासनिक सेवा (RAS) की परीक्षा पास की थी।

हमने और खोजा तो हमें दैनिक जागरण के सहयोगी अख़बार नईदुनिया पर भी यह खबर मिली जिसके अनुसार, इन तीनों बहनों ने राजस्थान प्रशासनिक सेवा (RAS) की परीक्षा में रैंक हासिल की थी।

ज़्यादा पुष्टि के लिए हमने UPSC सिविल सर्विसेस 2016 -2017 की लिस्ट भी जाँची पर हमें इन तीनों बहनों में से किसी का भी नाम वहां नहीं मिला।

हमने इस विषय में एक RAS अधिकारी से भी बात की जिन्होंने हमें बताया कि इन तीनों बहनों ने 2016 बैच में RAS की परीक्षा दी थी मगर इनमें से किसी की भी अभी तक पोस्टिंग नहीं हुई है। असल में इन तीनों बहनों की RAS रैंकिंग थी: कमला चौधरी: 442, गीता चौधरी: 870 और ममता चौधरी: 1110। तीनो बहनों की obc रैंकिंग 32, 64, 128 है। RAS में पोस्टिंग वरियता के आधार पर होती है, जबकि इन तीनों ही बहनों की रैंकिंग काफी पीछे है। यही कारण है कि इन तीनों की पोस्टिंग को लेकर अभी असमंजस की स्थिति बनी हुई है।

इस पोस्ट को तू मुझे आवाज़ दे नाम के एक फेसबुक पेज ने शेयर किया था। इस पेज के कुल 1,246,777 फॉलोअर्स हैं।

निष्कर्ष: हमारी पड़ताल में हमने पाया कि यह दावा सही नहीं है। इन तीनों बहनों ने 2017 में RAS की परीक्षा दी और रैंक हासिल की थी न कि आईएएस की।

पूरा सच जानें…

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False
Symbols that define nature of fake news
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