विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि रेलवे ट्रैक पर पत्थर पाये जाने के वायरल वीडियो को लेकर किया जा रहा दावा भ्रामक है। असल में वायरल वीडियो एक साल से ज्यादा पुराना है और उदयपुर-जयपुर वंदे भारत ट्रेन का है। जब वंदे भारत ट्रेन चित्तौड़गढ़ से आगे पहुंची, तो कर्मचारियों ने पाया कि ट्रैक पर पत्थर और लोहे के सरिया रखे हुए हैं।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। बीते कुछ दिनों में कई ट्रेन हादसों का शिकार हो गई है। इसी बीच सोशल मीडिया पर एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो में रेल ट्रैक पर पत्थर और लोहे की क्लिप रखे हुए देखा जा सकता है। इस वीडियो को शेयर कर दावा किया जा रहा है कि यह उत्तर प्रदेश के बिजनौर का है, जहां पर कुछ असामाजिक तत्वों ने ट्रेन हादसे की साजिश करने की कोशिश की है।
विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल दावा भ्रामक है। असल में वायरल वीडियो एक साल से ज्यादा पुराना है और उदयपुर-जयपुर वंदे भारत ट्रेन का है। जब वंदे भारत ट्रेन स्टेशन से कुछ दूरी पर थी, तो कर्मचारियों ने पाया कि ट्रैक पर पत्थर और लोहे के सरिया रखे हुए हैं।
फेसबुक यूजर ‘एक भड़का हुआ काफिर’ ने वायरल वीडियो को शेयर करते हुए कैप्शन में लिखा है, “यूपी के बिजनौर में एक बड़ा हादसा होते होते बचा, फिरोजाबाद से जलवा जा रही किसान एक्सप्रेस ट्रेन दो हिस्से में बट गई! बड़े पैमाने पर रेलवे एक्सीडेंट करवाने की बहुत बड़ी साजिश हो रही हैं।”
वायरल दावे की सच्चाई जानने के लिए हमने वीडियो के कई कीफ्रेम निकाले और उन्हें गूगल रिवर्स इमेज के जरिए सर्च किया। हमें वायरल वीडियो एनडीटीवी के आधिकारिक यूट्यूब चैनल पर मिला। वीडियो को 2 अक्टूबर 2023 को अपलोड किया गया था। मौजूद जानकारी के मुताबिक, वायरल वीडियो उदयपुर-जयपुर वंदे भारत ट्रेन का है।
प्राप्त जानकारी के आधार पर हमने गूगल पर संबंधित कीवर्ड्स की मदद से सर्च किया। हमें वायरल दावे से जुड़ी रिपोर्ट दैनिक जागरण की वेबसाइट पर मिली। रिपोर्ट को 2 अक्टूबर 2023 को प्रकाशित किया गया था। रिपोर्ट के अनुसार, उदयपुर से जयपुर चलने वाली वंदे भारत ट्रेन लोको पायलट की सूझबूझ के कारण हादसे का शिकार होने से बच गई। दरअसल, कुछ असामाजिक तत्वों ने ट्रेन को पटरी से उतारने की साजिश रची थी। उन्होंने रेलवे ट्रैक पर पत्थर और लोहे की कड़ियां रख दिए थे। यह घटना भीलवाड़ा से करीब 40 किलोमीटर पहले सोनियाणा एवं गंगरार रेलवे स्टेशन के बीच हुई थी।
जांच के दौरान हमें वायरल वीडियो न्यूज एजेंसी एएनआई मध्य प्रदेश छत्तीसगढ़ राजस्थान के आधिकारिक एक्स अकाउंट पर भी मिला। वीडियो को 2 अक्टूबर 2023 को शेयर करते हुए उदयपुर-जयपुर वंदे भारत ट्रेन का बताया गया है।
अधिक जानकारी के लिए हमने जयपुर में दैनिक जागरण के संवाददाता नरेंद्र शर्मा से संपर्क किया। उन्होंने हमें बताया कि वायरल दावा भ्रामक है। यह वीडियो उदयपुर-जयपुर वंदे भारत ट्रेन का है।
अंत में हमने वीडियो को गलत दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर के अकाउंट को स्कैन किया। हमने पाया कि यूजर एक विचारधारा से जुड़ी पोस्ट को शेयर करता है। यूजर को 1.3 हजार लोग फॉलो करते हैं।
निष्कर्ष: विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि रेलवे ट्रैक पर पत्थर पाये जाने के वायरल वीडियो को लेकर किया जा रहा दावा भ्रामक है। असल में वायरल वीडियो एक साल से ज्यादा पुराना है और उदयपुर-जयपुर वंदे भारत ट्रेन का है। जब वंदे भारत ट्रेन चित्तौड़गढ़ से आगे पहुंची, तो कर्मचारियों ने पाया कि ट्रैक पर पत्थर और लोहे के सरिया रखे हुए हैं।
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