न्यूयॉर्क टाइम्स में दिल्ली सरकार के शिक्षा क्षेत्र में किए गए काम की तारीफ में प्रकाशित रिपोर्ट में इस्तेमाल की गई तस्वीर मयूर विहार स्थित मदर मैरी स्कूल की नहीं है, बल्कि सर्वोदय विद्यालय, ककरोला की है, जो दिल्ली का सरकारी स्कूल है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। न्यूयॉर्क टाइम्स में दिल्ली सरकार के शिक्षा क्षेत्र में किए गए काम की प्रशंसा में छपे लेख के बाद सोशल मीडिया पर वायरल एक पोस्ट में दावा किया जा रहा है कि जिस तस्वीर को न्यूयॉर्क टाइम्स और खलीज टाइम्स की रिपोर्ट में दिल्ली के सरकारी स्कूल का बताकर प्रकाशित किया गया, वह किसी सरकारी स्कूल की नहीं, बल्कि मयूर विहार स्थित मदर मैरी स्कूल की है।
विश्वास न्यूज ने अपनी जांच में इस दावे को गलत पाया। न्यूयॉर्क टाइम्स में दिल्ली सरकार के शिक्षा क्षेत्र में किए गए काम की तारीफ में छपे लेख में इस्तेमाल की गई तस्वीर सरकारी स्कूल सर्वोदय विद्यालय ककरोला की है, न कि मयूर विहार स्थित मदर मैरी स्कूल की। वायरल तस्वीर में स्कूल की कक्षा में छात्र और छात्राएं एक साथ बैठे हुए नजर आ रहे हैं, जिससे यह पता चलता है कि संबंधित स्कूल में को-एजुकेशन की व्यवस्था है, जबकि मयूर विहार स्थित मदर मैरी स्कूल में केवल लड़कियां ही पढ़ती हैं।
सोशल मीडिया यूजर ‘Binod Kumar BJP’ ने वायरल पोस्ट (आर्काइव लिंक) को शेयर करते हुए लिखा है, ”न्यू यॉर्क टाइम्स और ख़लीज़ टाइम्स में पैसे देकर ख़बर तो छपवा ली , पर झूठ और चोरी की आदत नहीं गयी
ये फ़ोटो दिल्ली के सरकारी स्कूल की नहीं बल्कि मयूर विहार के मदर मैरी स्कूल के बच्चों की हैं
केजरीवाल और सिसोदिया देश में भी झूठ बेच रहे हैं और विदेश में भी..!!!”
कई अन्य यूजर्स ने इस तस्वीर को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है। दिल्ली बीजेपी नेता कपिल मिश्रा समेत अन्य वेरिफाइड ट्विटर हैंडल से न्यूयॉर्क टाइम्स में छपी खबर के स्क्रीनशॉट को शेयर किया है, जिसके बाद यह सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हुआ।
कपिल मिश्रा के ट्विटर हैंडल पर यह पोस्ट (आर्काइव लिंक) अभी भी मौजूद है।
वायरल पोस्ट में न्यूयॉर्क टाइम्स अखबार में प्रकाशित खबर का स्क्रीनशॉट नजर आ रहा है, जो दिल्ली सरकार के शिक्षा क्षेत्र में किए गए काम की तारीफ में लिखा गया है। दिल्ली के उप-मुख्यमंत्री और शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से इस खबर को शेयर किया है।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भी न्यूयॉर्क टाइम्स में प्रकाशित खबर को अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से 19 अगस्त को शेयर किया है।
न्यूयॉर्क टाइम्स की प्रकाशित खबर में जो तस्वीर नजर आ रही है उसमें कक्षा में छात्र और छात्राएं दोनों ही साथ बैठे हुए नजर आ रहे हैं। यानी यह तस्वीर जिस किसी भी स्कूल की है, वहां को-एजुकेशन यानी छात्र और छात्राओं के साथ-साथ पढ़ने की सुविधा है, जबकि मयूर विहार फेज-1 स्थित मदर मैरी स्कूल की वेबसाइट पर मौजूद जानकारी के मुताबिक, यह सिर्फ लड़कियों का स्कूल है, जिसकी स्थापना वर्ष 2006 में हुई थी।
स्पष्ट है कि न्यूयॉर्क टाइम्स में दिल्ली सरकार के शिक्षा क्षेत्र में किए गए काम की तारीफ में प्रकाशित रिपोर्ट में इस्तेमाल की गई तस्वीर मयूर विहार मदर मैरी स्कूली की नहीं है, जैसा कि वायरल पोस्ट में दावा किया गया है।
सोशल मीडिया सर्च में आम आदमी पार्टी की विधायक आतिशी मार्लेना का ट्वीट मिला। उन्होंने कपिल मिश्रा के ट्वीट को रिट्वीट करते हुए रिपोर्ट में प्रकाशित तस्वीर को सर्वोदय विद्यालय ककरोला का बताया है।
साथ ही मदर मैरी स्कूल का यूनिफॉर्म वायरल तस्वीर में नजर आ रही लड़कियों के यूनिफॉर्म से अलग है।
न्यूयॉर्क टाइम्स की वेबसाइट पर 16 अगस्त 2022 को ओरिजिनल रिपोर्ट प्रकाशित हुई थी, जिसमें दिल्ली सरकार के सरकारी स्कूलों की तारीफ की गई थी।
इस रिपोर्ट में इस्तेमाल की गई तस्वीर को जूम इन कर देखने पर छात्रा के यूनिफॉर्म पर सर्वोदय लिखा हुआ नजर आ रहा है, जबकि वायरल पोस्ट में इन छात्रों के मदर मैरी का बताया गया है।
वायरल तस्वीर को लेकर हमारे सहयोगी दैनिक जागरण के संवाददाता भगवान झा ने केंद्रीय शिक्षा समिति की हब मैनेजर माधुरी वार्ष्णेय से संपर्क किया, जिनकी निगरानी क्षेत्र में सर्वोदय विद्यालय ककरोला स्कूल भी आता है। उन्होंने पुष्टि करते हुए बताया, ‘न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट में जिस स्कूल की तस्वीर नजर आ रही है, वह सर्वोदय विद्यालय ककरोला की है।’
सर्वोदय विद्यालय सरकारी स्कूलों की श्रृंखला है, जिसका संचालन दिल्ली सरकार करती है। न्यूज रिपोर्ट के मुताबिक, दिल्ली सरकार के शिक्षा विभाग की तरफ से 2020 में जारी विजन 2030 के तहत छह साल से कम के बच्चों को गुणवत्तापूर्ण प्राथमिक शिक्षा मुहैया कराना और सभी सर्वोदय स्कूलों में नर्सरी के लिए दाखिले की शुरुआत करना है।
21 मार्च 2022 को प्रकाशित रिपोर्ट के साथ दी गई जानकारी के मुताबिक, दिल्ली में सरकार 1,067 स्कूलों का संचालन करती है, जिसमें से 442 स्कूल को सर्वोदय स्कूल के तौर पर वर्गीकृत किया गया है।
वायरल पोस्ट को गलत दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर की प्रोफाइल को करीब साढ़े पांच हजार से अधिक लोग फॉलो करते हैं।
निष्कर्ष: न्यूयॉर्क टाइम्स में दिल्ली सरकार के शिक्षा क्षेत्र में किए गए काम की तारीफ में प्रकाशित रिपोर्ट में इस्तेमाल की गई तस्वीर मयूर विहार स्थित मदर मैरी स्कूल की नहीं है, बल्कि सर्वोदय विद्यालय, ककरोला की है, जो दिल्ली का सरकारी स्कूल है।
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