Fact Check : सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर दीपिका वेदपाठक की तस्वीर को कलेक्टर का बताकर किया जा रहा वायरल
‘जय भीम’ का स्कार्फ पहने वायरल तस्वीर में नजर आ रही महिला कलेक्टर नहीं, बल्कि सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर हैं। महिला का नाम दीपिका वेदपाठक हैं और वो यूट्यूब पर खाने से जुड़ा एक चैनल चलाती हैं। उन्होंने भीमराव अंबेडकर जयंती पर वायरल तस्वीर को शेयर किया था।
- By: Pragya Shukla
- Published: Apr 27, 2023 at 03:04 PM
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। भीमराव अंबेडकर की 132वीं जयंती के मौके पर आयोजित एक कार्यक्रम में आईएएस टीना डाबी ने कहा था कि अगर बाबा साहब नहीं होते तो मुझ जैसी महिला कभी भी कलेक्टर नहीं बन पाती। इसी संदर्भ में सोशल मीडिया पर ‘जय भीम’ का स्कार्फ पहने एक महिला की तस्वीर वायरल हो रही है। जिसे लेकर यह दावा किया जा रहा है कि यह दलित महिला हैं और कलेक्टर के पद पर तैनात है।
वायरल तस्वीर में नजर आ रही महिला कलेक्टर नहीं, बल्कि सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर हैं। महिला का नाम दीपिका वेदपाठक हैं और वो यूट्यूब पर खाने से जुड़ा एक चैनल चलाती हैं। उन्होंने भीमराव अंबेडकर जयंती पर वायरल तस्वीर को शेयर किया था। दीपिका विभिन्न मौकों पर ऐसी प्रेरक तस्वीरें साझा करती रहती हैं।
क्या हो रहा है वायरल ?
फेसबुक यूजर ‘कमल मौर्य अंबेडकर’ ने वायरल तस्वीर को 20 अप्रैल 2023 को शेयर किया है। यूजर ने कैप्शन में लिखा है, “बाबा साहेब नहीं होते तो आज मैं कलेक्टर नहीं बन पाती। वो थे, इसलिए आज हम हैं। भारतीय महिलाओं को हिंदू कोड बिल जरूर पढ़ना चाहिए ताकि उन्हें पता चल सके क्योंकि उनके मुक्तिदाता कृष्ण और राम नहीं डॉक्टर भीमराव अंबेडकर और उनका बनाया संविधान है।”
पोस्ट के आर्काइव लिंक को यहां पर देखा जा सकता है।
पड़ताल
फोटो से जुड़ी जानकारी हासिल करने के लिए हमने सबसे पहले तस्वीर को गूगल रिवर्स इमेज के जरिए सर्च किया। हमें तस्वीर से जुड़ा एक वीडियो प्रसिका नामक एक फेसबुक पेज पर मिला। वीडियो को 14 अप्रैल 2023 को शेयर किया गया है। मौजूद जानकारी के मुताबिक, महिला ने यह वीडियो भीमराव अंबेडकर की जयंती पर बनाकर डाला था। पेज को खंगालने पर हमने पाया कि यह पेज प्रसाद और दीपिका के नाम से बनाया गया है और दोनों ही सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर हैं। पेज पर दीपिका के कई अन्य वीडियोज मौजूद है, जिसमें वो खाने के बारे में बताते हुए दिख रही हैं।
पेज पर दीपिका के कई ऐसे वीडियोज मौजूद हैं, जिसमें वो अलग-अलग त्योहारों पर उसी तरह के कपड़े पहनकर और खाने को अलग अंदाज में सजाकर प्रजेंट करती हैं।
प्राप्त जानकारी के आधार पर हमने गूगल पर संबंधित कीवर्ड्स से सर्च करना शुरू किया। इस दौरान हमें वायरल प्रसिका के नाम से बना एक आधिकारिक यूट्यूब चैनल मिला। इस यूट्यूब पर हमें प्रसिका के नाम से बने अन्य सोशल मीडिया अकाउंट्स भी मिले।
प्रसिका के आधिकारिक इंस्टाग्राम को खंगालने पर हमें वायरल तस्वीर 14 अप्रैल को इसी जानकारी के साथ अपलोड हुआ मिला। प्रोफाइल पर मौजूद जानकारी के मुताबिक, वायरल तस्वीर में नजर आ रही महिला का नाम दीपिका वेदपाठक है और वो सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर हैं।
अधिक जानकारी के लिए हमने दीपिका वेदपाठक से संपर्क किया। उन्होंने हमें बताया, वायरल दावा गलत है। मेरा नाम दीपिका वेदपाठक है और मैं कलेक्टर नहीं हूं। मैं प्रसिका के नाम से एक यूट्यूब चलाती हूं। इसी नाम से मेरे फेसबुक पेज हैं। उन पर मुझसे जुड़ी जानकारी मौजूद हैं। यह तस्वीर मैंने भीमराव अंबेडकर की जयंती पर शेयर की थी।
पड़ताल के अंत में हमने तस्वीर को भ्रामक दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर के पेज की सोशल स्कैनिंग की। हमने पाया कि यूजर एक विचारधारा से प्रभावित है। यूजर को 5 हजार 7 सौ से ज्यादा लोग फॉलो करते हैं। प्रोफाइल पर यूजर ने खुद को दिल्ली का रहने वाला बताया है। यूजर का पेज अक्टूबर 2018 से फेसबुक पर सक्रिय है।
निष्कर्ष: ‘जय भीम’ का स्कार्फ पहने वायरल तस्वीर में नजर आ रही महिला कलेक्टर नहीं, बल्कि सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर हैं। महिला का नाम दीपिका वेदपाठक हैं और वो यूट्यूब पर खाने से जुड़ा एक चैनल चलाती हैं। उन्होंने भीमराव अंबेडकर जयंती पर वायरल तस्वीर को शेयर किया था।
- Claim Review : बाबा साहेब नहीं होते तो आज मैं कलेक्टर नहीं बन पाती।
- Claimed By : फेसबुक यूजर कमल मौर्य अंबेडकर
- Fact Check : झूठ
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