Fact Check: रामपुर में मारपीट की घटना को सांप्रदायिक रंग देकर किया जा रहा वायरल

रामपुर में मारपीट की घटना के वीडियो को सांप्रदायिक रंग देकर वायरल किया जा रहा है। पुलिस के मुताबिक, युवती और आरोपी दोनों एक ही समुदाय के हैं। इसमें कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं है। मारपीट करने पर दरोगा को भी सस्पेंड कर दिया गया है।

Fact Check: रामपुर में मारपीट की घटना को सांप्रदायिक रंग देकर किया जा रहा वायरल

नई दिल्ली (विश्वास टीम)। सोशल मीडिया पर 31 सेकंड का एक वीडियो वायरल हो रहा है। इसमें पुलिसकर्मी सहित कुछ लोग एक युवक को पीट रहे हैं। इसे शेयर करके यूजर्स दावा कर रहे हैं कि पक्षी विहार घूमने गए एसडीएम सदर रामपुर में कार्यरत पुष्पेंद्र कुमार की बहन को कुछ मुस्लिम युवकों ने छेड़ दिया। इसका विरोध करने पर उन लड़कों ने पुष्पेंद्र को मारना शुरू कर दिया। वहां पहुंचे सब इंस्पेक्टर लईक खान ने भी पुष्पेंद्र को पीटा।

विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि वीडियो को सांप्रदायिक रंग देकर वायरल किया जा रहा है। दरअसल, पुष्पेंद्र के मुस्लिम दोस्त की बहन के साथ छेड़छाड़ का आरोप लगा था। साथ ही पुलिसकर्मियों द्वारा मारने पर सब इंस्पेक्टर लईक अहमद को भी सस्पेंड कर दिया गया है।

क्या है वायरल पोस्ट में

फेसबुक यूजर Sanjeev Kumar (आर्काइव) ने 156 मई को वीडियो पोस्ट करते हुए लिखा,
कल दिनांक 13 मई 2022 को पुष्पेंद्र कुमार जो की SDM सदर रामपुर में कार्यरत है। पक्षी विहार (झील) में अपनी माँ बहनो के साथ घूमने गया था।
2-3 मुस्लिम लड़के इसकी बहन को छेड़ने लगे, पुष्पेंद्र के विरोध करने पर उन लड़कों ने पुष्पेंद्र को मारना शुरू कर दिया, मौक़े पर SI लईक़ खान भी अपनी टीम के साथ पहुँचे।
और मुस्लिमों का साथ देते हुए उस बेचारे अकेले पुष्पेंद्र को मारना शुरू कर दिया।
ये खुंदस भाजपा सरकार से मुस्लिमों और पुलिस में तैनात लयीक़ खान जैसे अफ़सरों की सोच को दर्शाती थी।

पड़ताल

वायरल दावे की पड़ताल के लिए हमने सबसे पहले कीवर्ड के जरिए इसे सर्च किया। इसमें हमें 15 मई 2022 को दैनिक जागरण में प्रकाशित एक खबर मिली। खबर के मुताबिक, तहसील कर्मी का दोस्त अपने परिवार के साथ रामपुर के कस्तूरबा गांधी पक्षी विहार में गया था। वहां कुछ युवकों पर उसकी बहन से छेड़छाड़ का आरोप लगा। दोस्त के बुलाने पर तहसीलकर्मी भी वहां पहुंच गया। उसने आरोपी युवकों का विरोध किया। उनके साथ दो महिलाएं भी थीं। उन्होंने तहसीलकर्मी पर ही छेड़छाड़ करने का आरोप लगा दिया। इसके बाद भीड़ ने तहसीलकर्मी को पीटना शुरू कर दिया। वहां पहुंचे पुलिसकर्मियों ने आरोप लगाया कि तहसीलकर्मी ने एक सिपाही की वर्दी फाड़ दी। इसके बाद पुलिसवालों ने भी उसे पीटा। तहसीलकर्मी से मारपीट का वीडियो वायरल हो गया है।

14 मई 2022 को दैनिक भास्कर में छपी खबर के मुताबिक, तहसील कर्मचारी पुष्पेंद्र कुमार पर महिलाओं ने छेड़छाड़ का आरोप लगाया, जिसके बाद लोगों ने उसे पीटा। तहसील कर्मचारी पर पुलिस की वर्दी फाड़ने का भी आरोप लगा है। पुष्पेंद्र ने छेड़छाड़ के आरोपों से इनकार किया है। इसमें वायरल वीडियो भी अपलोड किया गया है।

15 मई 2022 को livehindustan में खबर छपी है कि तहसीलकर्मी को पीटने के आरोप में एसपी ने गंज थाने के दारोगा लईक अहमद को सस्पेंड कर दिया है।

रामपुर पुलिस के आधिकारिक ट्विटर अकाउंट पर 16 मई को वायरल घटना के संबंध में एसपी का बयान मिली। एसपी के मुताबिक, पुष्पेंद्र का मुस्लिम दोस्त अपनी बहन के साथ पक्षी विहार घूमने गया था। आरोप है कि वहां एक लड़के ने मस्लिम युवती से छेड़छाड़ कर दी। आरोपी लड़के के साथ दो महिलाएं भी थीं। दोनों पक्षों में मारपीट होने लगी। इसके बाद युवती के भाई ने पुष्पेंद्र को बुला लिया। पुष्पेंद्र नशे में वहां पहुंचा और मारपीट करने लगा। जब वहां पुलिस पहुंची तो उसने पुलिस से भी हाथापाई की। वीडियो में पुलिस द्वारा अवश्यकता से अधिक बल प्रयोग करने पर सब इंस्पेक्टर को सस्पेंड कर दिया है। दोनों पक्षों की शिकायतों के लिए जांच शुरू कर दी गई है।

(छेड़छाड़ की पीड़िता की पहचान डिस्क्लोज न करने की वजह से हम ट्वीट का लिंक नहीं दे रहे हैं।)

अधिक जानकारी के लिए हमने रामपुर के एसपी अशोक कुमार से बात की। उनका कहना है, ‘ वायरल दावा झूठा है। पुष्पेंद्र की बहन के साथ छेड़छाड़ नहीं की गई है। इस घटना में कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं है। पुष्पेंद्र अपने मुस्लिम दोस्त के बुलाने पर वहां गया था। वह नशे में था। उसने पुलिस वाले के साथ अभद्रता की, जिसके कारण पुलिसवालों ने उसे पीटा। इस घटना में सब इंस्पेक्टर को सस्पेंड भी किया गया है। घटना में जिस युवती से छेड़छाड़ का आरोप लगा था, वह भी मुस्लिम थी। युवती और आरोपी दोनों एक ही समुदाय के हैं।’

रामपुर के वीडियो को सांप्रदायिक रंग देकर शेयर करने वाले फेसबुक यूजर Sanjeev Kumar की प्रोफाइल को हमने स्कैन किया। इसके मुताबिक, वह रामपुर में रहते हैं।

निष्कर्ष: रामपुर में मारपीट की घटना के वीडियो को सांप्रदायिक रंग देकर वायरल किया जा रहा है। पुलिस के मुताबिक, युवती और आरोपी दोनों एक ही समुदाय के हैं। इसमें कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं है। मारपीट करने पर दरोगा को भी सस्पेंड कर दिया गया है।

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