Fact Check : 2022 वाराणसी विधानसभा चुनाव की तस्वीर को लोकसभा चुनाव 2024 की वोटिंग से जोड़कर किया जा रहा वायरल

विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल तस्वीर 2022 के विधानसभा चुनाव के दौरान वाराणसी में ली गई थी। और अब इस पुरानी तस्वीर को दुष्प्रचार की मंशा से शेयर किया जा रहा है।

नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। लोकसभा चुनाव 2024 के पहले चरण का मतदान 19 अप्रैल को पूरा हो चुका है। इसी के बाद से सोशल मीडिया पर एक तस्वीर वायरल हो रही है, जिसमें पोलिंग बूथ पर बुर्का पहने महिलाओं के बीच साड़ी पहने एक महिला को देखा जा सकता है। यूजर दावा कर रहे हैं कि यह फोटो इसी आम चुनाव में हुई वोटिंग के दौरान की है।

विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल तस्वीर 2022 के विधानसभा चुनाव के दौरान वाराणसी में ली गई थी। और अब इस पुरानी तस्वीर को दुष्प्रचार की मंशा से शेयर किया जा रहा है।

वायरल पोस्ट में क्या है?

फेसबुक यूजर ने 21 अप्रैल को वायरल पोस्ट को शेयर करते हुए लिखा, ”बाहर बहुत गर्मी है ….. हिन्दु A/C चला कर कमरे में सो रहा है इसका परिणाम भयानक होगा !”

पोस्ट के आर्काइव वर्जन को यहां देखें।

पड़ताल

अपनी पड़ताल को शुरू करते हुए सबसे पहले हमने वायरल तस्वीर को गूगल लेंस के जरिये सर्च किया। सर्च में हमें लाइव हिंदुस्तान की वेबसाइट पर छपे एक आर्टिकल में एक यह फोटो मिली। 9 मार्च 2022 को पब्लिश हुए इस आर्टिकल में 2022 में हुए विधानसभा चुनाव से जुड़ी जानकारी दी गई है।  

इसके आधार पर हमने अपनी जांच आगे बढ़ाई और गूगल टाइम टूल की मदद से तस्वीर को सर्च किया। सर्च में हमें रॉयटर्स वेबसाइट पर 7 मार्च 2022 को प्रकाशित खबर में यह तस्वीर मिली। यहां तस्वीर के साथ दी गई जानकारी के अनुसार, ”7 मार्च, 2022 उत्तर प्रदेश के वाराणसी विधानसभा चुनाव के अंतिम चरण के दौरान एक मतदान केंद्र पर वोट डालने के लिए मतदाता कतार में खड़े हैं। रॉयटर्स की ये तस्वीर अदनान आबिदी ने ली है।”

 दैनिक जागरण की 19 अप्रैल की खबर के मुताबिक, ‘पहले चरण की 102 सीटों पर औसतन करीब 60 प्रतिशत वोटिंग हुई है। इनमें सबसे अधिक वोटिंग त्रिपुरा में करीब 80 व पश्चिम बंगाल में करीब 77 प्रतिशत हुई है, वहीं सबसे कम वोटिंग बिहार में करीब 47 प्रतिशत हुई है। वहीं उत्तर प्रदेश में 57.61 प्रतिशत,उत्तराखंड में 53.64 प्रतिशत और छत्तीसगढ़ में करीब 63 प्रतिशत मतदान हुआ है।”

वायरल फोटो के बारे में पुष्टि के लिए हमने दैनिक जागरण वाराणसी के चीफ रिपोर्टर प्रमोद यादव से संपर्क किया, जिन्होंने भी पुष्टि की कि यह फोटो वाराणसी की पुरानी तस्वीर है।

भ्रामक पोस्ट शेयर करने वाले फेसबुक यूजर की सोशल स्कैनिंग में हमने पाया कि यूजर की तरफ से विचारधारा विशेष से जुड़े पोस्ट शेयर किये जाते हैं।

निष्कर्ष: विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल तस्वीर 2022 के विधानसभा चुनाव के दौरान वाराणसी में ली गई थी। और अब इस पुरानी तस्वीर को दुष्प्रचार की मंशा से शेयर किया जा रहा है।

Misleading
Symbols that define nature of fake news
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