Fact Check: बेलूर मठ को कोविड-19 केयर सेंटर में बदलने का दावा झूठा

विश्वास न्यूज की पड़ताल में बेलूर मठ को कोविड केयर सेंटर में बदलने का दावा गलत निकला है। बेलूर मठ को कोविड केयर सेंटर में नहीं बदला गया है। स्वामीनारायण मंदिर की तरफ से खोले गए कोविड केयर सेंटर, अस्पताल की हालिया तस्वीरों और दिल्ली के सरदार पटेल कोविड केयर सेंटर की पुरानी तस्वीर को बेलूर मठ की बताकर वायरल किया जा रहा है।

विश्वास न्यूज (नई दिल्ली)। सोशल मीडिया पर कुछ तस्वीरें शेयर की जा रही हैं। दावा किया जा रहा है कि बेलूर मठ को कोविड केयर सेंटर में बदल दिया गया है और वायरल तस्वीरों को उसी सेंटर का बताया जा रहा है। विश्वास न्यूज की पड़ताल में ये दावा गलत निकला है। बेलूर मठ को कोविड केयर सेंटर में नहीं बदला गया है। स्वामीनारायण मंदिर की तरफ से खोले गए कोविड केयर सेंटर, अस्पताल की हालिया तस्वीरों और दिल्ली के सरदार पटेल कोविड केयर सेंटर की पुरानी तस्वीर को बेलूर मठ की बता कर वायरल किया जा रहा है।

हालांकि, रामकृष्ण मिशन की तरफ से देश के अलग-अलग शहरों में संचालित अस्पतालों में कोविड मरीजों के लिए सेवाएं जरूर चलाई जा रही हैं।

क्या हो रहा है वायरल

फेसबुक यूजर Akshaya Mohanty ने 29 अप्रैल को पांच अलग-अलग तस्वीरें पोस्ट करते हुए लिखा है कि बेलूर मठ को कोविड सेंटर बना दिया गया है। इस पोस्ट के आर्काइव्ड वर्जन को यहां क्लिक कर देखा जा सकता है।

इसी तरह फेसबुक यूजर Ganesh Natarajan ने भी 28 अप्रैल 2021 को एक अलग तस्वीर पोस्ट कर लिखा है कि कोलकाता का मशहूर बेलूर मठ कोविड अस्पताल के रूप में काम आ रहा है। इस पोस्ट के आर्काइव्ड वर्जन को यहां क्लिक कर देखा जा सकता है।

पड़ताल

विश्वास न्यूज ने सबसे पहले वायरल की जा रही तस्वीरों पर गूगल रिवर्स इमेज सर्च टूल का इस्तेमाल किया। हमने फेसबुक यूजर Akshaya Mohanty द्वारा पोस्ट की पांचों तस्वीरों पर इस टूल का इस्तेमाल किया। पोस्ट की पहली तस्वीर में एक संन्यासी को खाना पकाते देखा जा सकता है। उनके पीछे लोग मास्क में खड़े होकर मदद कर रहे हैं। यह तस्वीर हमें टाइम्स ऑफ इंडिया की वेबसाइट पर 15 अप्रैल 2021 को प्रकाशित एक रिपोर्ट में मिली। रिपोर्ट में इसे गुजरात के वडोदरा स्थित स्वामीनारायण मंदिर की तस्वीर बताया गया है, जहां कोविड मरीजों के लिए खाना बनाया जा रहा है। रिपोर्ट के मुताबिक, स्वामीनारायण मंदिर ने वडोदरा में 300 बेड की कोविड केयर सुविधा शुरू की है। इस रिपोर्ट को यहां क्लिक कर देखा जा सकता है।

गूगल रिवर्स इमेज सर्च के दौरान हमें स्वामीनारायण मंदिर के स्वामी ज्ञानजीवन दास जी का एक ट्वीट मिला। यह ट्वीट 18 अप्रैल 2021 को किया गया है। इस ट्वीट में वायरल पोस्ट में मौजूद 3 तस्वीरों को देखा जा सकता है। ट्वीट के मुताबिक, यह तस्वीरें वडोदरा के कारेलीबाग स्थित श्री स्वामीनारायण मंदिर में कोविड-केयर सेंटर की हैं। इस ट्वीट को यहां नीचे देखा जा सकता है।

https://twitter.com/Gyanjivanswami/status/1383721498473484293

फेसबुक यूजर Akshaya Mohanty की पोस्ट की एक तस्वीर में कुछ संन्यासियों को अस्पताल के बेड के बीच में देखा जा सकता है। इस तस्वीर पर गूगल रिवर्स इमेज सर्च टूल का इस्तेमाल करने पर हम आउटलुक की वेबसाइट पर मौजूद एक फोटो गैलरी पर पहुंचे। हमें यह तस्वीर वहां मिली। इस तस्वीर के लिए पीटीआई को क्रेडिट देते हुए कैप्शन में लिखा गया है कि मुंबई के महालक्ष्मी रेस कोर्स में बने कोविड-19 अस्पताल में आशीर्वाद देते संन्यासी। इस फोटो गैलरी में यह तस्वीर 854वें नंबर पर मौजूद है, जिसे यहां नीचे देखा सकता है।

विश्वास न्यूज की अबतक की पड़ताल से ये स्पष्ट हो चुका था कि फेसबुक यूजर Akshaya Mohanty के पोस्ट में इस्तेमाल हुई पांचों तस्वीरों में से किसी का संबंध कोलकाता के बेलूर मठ से नहीं है। इसके बाद हमने फेसबुक यूजर Ganesh Natarajan द्वारा शेयर की गई तस्वीर पर गूगल रिवर्स इमेज सर्च टूल का इस्तेमाल किया। इंटरनेट पर इस तस्वीर से जुड़े ढेरों परिणाम मिले। हमें यह तस्वीर इंडिया टुडे की वेबसाइट पर 27 जून 2021 को प्रकाशित एक रिपोर्ट में मिली। इस रिपोर्ट के मुताबिक, यह तस्वीर तब दिल्ली के छतरपुर में खोले गए 10,000 बेड के सरदार पटेल कोविड सेंटर की है। इस रिपोर्ट को यहां क्लिक कर देखा जा सकता है।

यानी यह तस्वीर भी पुरानी है और इसका बेलूर मठ से कोई लेना-देना नहीं है। विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल को आगे बढ़ाते हुए इंटरनेट पर ओपन सर्च के माध्यम से यह जानना चाहा कि क्या बेलूर मठ में कोविड केयर सेंटर खोला गया है या नहीं। हमें बेलूर मठ की वेबसाइट पर प्रकाशित एक स्पष्टीकरण मिला। इसमें बेलूर मठ में कोविड केयर सेंटर खोलने के दावे को झूठा बताया गया है। हालांकि, यह जरूर बताया गया है कि रामकृष्ण मिशन की तरफ से कोलकाता, वाराणसी, मुंबई, देहरादून जैसे शहरों में संचालित अस्पतालों में कोविड मरीजों के लिए सेवाओं जरूर चल रही हैं। इस स्पष्टीकरण को यहां क्लिक कर देखा जा सकता है।

विश्वास न्यूज ने बेलूर मठ को कोविड केयर सेंटर में बदलने के वायरल दावे के संबंध में सीधे बेलूर मठ ऑफिस से संपर्क किया। हमें बताया गया कि बेलूर मठ में ऐसी कोई सेवा नहीं शुरू की गई है और वायरल क्लेम फर्जी है।

विश्वास न्यूज ने इस वायरल दावे को शेयर करने वाले फेसबुक यूजर Akshaya Mohanty की प्रोफाइल को स्कैन किया। यूजर भुवनेश्वर के रहने वाले हैं।

निष्कर्ष: विश्वास न्यूज की पड़ताल में बेलूर मठ को कोविड केयर सेंटर में बदलने का दावा गलत निकला है। बेलूर मठ को कोविड केयर सेंटर में नहीं बदला गया है। स्वामीनारायण मंदिर की तरफ से खोले गए कोविड केयर सेंटर, अस्पताल की हालिया तस्वीरों और दिल्ली के सरदार पटेल कोविड केयर सेंटर की पुरानी तस्वीर को बेलूर मठ की बताकर वायरल किया जा रहा है।

False
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