Fact Check : ग्‍वालियर जीआरपी के पुलिसवाले ने की थी महिलाओं की पिटाई, वीडियो अब हरियाणा पुलिस के नाम पर वायरल

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है। इसमें एक पुलिसवाला महिलाओं को सामने बैठाकर लाठी से पीटता हुआ दिख रहा है। दावा किया जा रहा है कि वायरल वीडियो हरियाणा का है। महिलाओं को पीटने वाला पुलिसकर्मी हरियाणा पुलिस का जवान है। विश्‍वास टीम की पड़ताल में पता चला कि वायरल वीडियो हरियाणा नहीं, बल्कि मध्‍य प्रदेश के ग्‍वालियर की है। इस वीडियो में महिलाओं को पीटने वाला पुलिसकर्मी ग्‍वालियर जीआरपी का प्रधान आरक्षक सुभाष मिश्रा था। मई 2019 में वीडियो के वायरल होने के बाद प्रधान आरक्षक को निलंबित कर दिया गया था।

क्‍या है वायरल पोस्‍ट में

फेसबुक यूजर के.जी. ने तीन सितंबर को एक वीडियो को अपलोड करते हुए दावा किया, ”हरियाणा पुलिस की शर्मनाक करतूत ! इनके खिलाफ सख्त से सख्त कार्यवाही होनी चाहिए!”

इस वीडियो को अब तक 800 बार शेयर किया जा चुका है।

पड़ताल

विश्‍वास न्‍यूज से सबसे पहले वायरल वीडियो को ध्‍यान से देखा। हमें जमीन पर कई महिलाएं और बच्‍चे बैठे हुए दिखे। महिलाओं को एक पुलिसवाला बेरहमी से लाठी से मारता हुआ दिखा। इसके बाद विश्‍वास टीम ने वायरल वीडियो को InVID टूल में अपलोड करके कई स्‍क्रीनशॉट निकाले। इन स्‍क्रीनशॉट को हमने गूगल रिवर्स इमेज में सर्च किया। हमें कई वेबसाइट और यूटयूब पर यह वीडियो और इससे जुड़ी खबरें मिलीं।

हमें Jansatta.com पर एक खबर मिली। 8 मई को अपलोड की गई इस खबर में बताया गया कि थाने में दुधमुंहे बच्‍चे लिए महिलाओं पर बेरहमी से लाठी बरसाता रहा पुलिसकर्मी। जनसत्ता की खबर के अनुसार, घटना ग्‍वालियर के जीआरपी थाने की है।

इसके अलावा हमें वायरल वीडियो टीवी9 भारतवर्ष नाम के चैनल के यूट्यूब चैनल पर भी मिला। इसमें बताया गया कि ग्‍वालियर रेलवे स्‍टेशन स्थित जीआरपी थाने में पुलिसवालों ने महिलाओं को डंडों से पीटा।

हमें यही वीडियो IBC 24 नाम के चैनल के यूट्यूब अकाउंट पर भी मिला। 6 मई को अपलोड इस वीडियो में भी हमें वही औरतें और पुलिसवाले दिखे, जो हरियाणा पुलिस के नाम पर वायरल वीडियो में मौजूद हैं। इस वीडियो में भी बताया गया कि घटना ग्‍वालियर की है।

खबर की तह में जाने के लिए विश्‍वास टीम ने गूगल में ”ग्‍वालियर जीआरपी वायरल वीडियो” टाइप करके सर्च किया तो हमें स्‍थानीय वेबसाइट पत्रिका डॉट कॉम की एक खबर मिली। इसमें बताया गया कि ग्‍वालियर जीआरपी का एक वीडियो वायरल हुआ। इसमें जीआरपी जवान थाने के अंदर एक महिला को बुरी तरह से डंडे मारते हुए दिख रहा है।

वायरल पोस्‍ट को लेकर नईदुनिया के ग्‍वालियर संवादाता अजय उपाध्याय कहते हैं कि मई में जब यह वीडियो सामने आया था, तभी यह कहा जा रहा था कि यह पुराना है। उस समय जीआरपी ने भी इसे एक साल पुराना वीडियो बताया था। यह घटना किस दिन हुई थी, यह साफ नहीं हो पाया है।

वायरल वीडियो को लेकर ग्‍वालियर जीआरपी के डीएसपी दिग्विजय सिंह भदौरिया कहते हैं कि यह वीडियो पुराना है। इस मामले में प्रधान आरक्षक सुभाष मिश्रा को निलंबित कर जांच की गई थी। दोष सिद्ध होने पर उनकी एक वेतन वृद्धि भी रोक दी गई थी।

अंत में विश्‍वास टीम ने उस फेसबुक पेज की सोशल स्‍कैनिंग की, जहां मध्‍य प्रदेश के ग्‍वालियर के वीडियो को हरियाणा पुलिस का बताकर अपलोड किया गया। हमें पता चला कि केबी गायकवाड नाम का यह पेज 21 जनवरी 2019 को बनाया गया है। इस पेज को 17 हजार से ज्‍यादा लोग फॉलो करते हैं।

निष्‍कर्ष : विश्‍वास टीम की पड़ताल में पता चला कि जिस वीडियो को हरियाणा पुलिस के अत्‍याचार का बताकर वायरल किया जा रहा है, दरअसल वह मध्‍य प्रदेश के ग्‍वालियर जीआरपी का है। सोशल मीडिया में मई में ग्‍वालियर जीआरपी का एक वीडियो वायरल हुआ था। इसमें एक पुलिसकर्मी महिलाओं को पीटते हुए दिखे। पूरे मामले की जांच करने के बाद दोषी प्रधान आरक्षक सुभाष मिश्रा को निलंबित कर दिया गया था।

False
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