Fact Check: इंडिया पोस्ट के नाम से फर्जी लिंक वायरल, क्लिक करने से चोरी हो सकता है डाटा
भारतीय डाक के नाम से वायरल हो रहा यह लिंक फर्जी है। इस पर क्लिक करने से आपका डाटा चोरी हो सकता है। इतना ही नहीं, इससे आपका सिस्टम तक हैक हो सकता है।
- By: Sharad Prakash Asthana
- Published: Apr 22, 2022 at 02:53 PM
- Updated: Aug 14, 2023 at 03:10 PM
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया पर इंडिया पोस्ट के नाम से एक मैसेज काफी सर्कुलेट हो रहा है। इसमें लिखा है, India Post Government Subsidies, Every citizen can enjoy government subsidies। मैसेज में नीचे एक लिंक दिया गया है। विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल हो रहा लिंक फर्जी है। इंडिया पोस्ट ने भी ट्वीट कर इस तरह के लिंक को फ्रॉड बताते हुए इससे बचने को कहा है, जबकि साइबर एक्सपर्ट ने इसे फिशिंग लिंक बताया है।
क्या है वायरल पोस्ट में
वॉट्सऐप यूजर ने इस मैसेज को पोस्ट किया है। हमें विश्वास न्यूज के टिपलाइन नंबर +91 95992 99372 पर भी यह पोस्ट चेक करने के लिए भेजी गई।
पड़ताल
वायरल पोस्ट की पड़ताल के लिए हमने सबसे पहले इसमें दिए गए लिंक को ध्यान से देखा। यह इंडिया पोस्ट की आधिकारिक वेबसाइट का लिंक नहीं दिखा। इस पर क्लिक करने पर जो पेज खुला, उसका यूआरएल संदेहास्पद लगा। इस पेज पर एक फोटो लगी हुई है और साथ में लिखा है, India Post Government subsidies! Through the questionnaire, you will have a chance to get 6000 Rupee. पेज में नीचे एक क्वेश्चनेयर और कमेंट्स दिए हुए हैं। इसमें एक फोटो एक्ट्रेस शगुन मेहता की भी मिली, जिसे फर्जी नाम से इस्तेमाल किया गया है।
इसकी और जानकारी के लिए हमने भारतीय डाक की आधिकारिक वेबसाइट पर इसके बारे में सर्च किया। उस पर हमें इस तरह के ऑफर की कोई जानकारी नहीं मिली। हां, पेज पर अलर्ट जरूर दिखा। इस पर लिखा है, भारतीय डाक सब्सिडी, बोनस या सर्वेक्षण के आधार पर पुरस्कार की घोषणा करने जैसी गतिविधियों में शामिल नहीं है। ईमेल, एसएमएस, वॉट्सऐप, ट्विटर, इंस्टाग्राम आदि के माध्यम से ऐसे संदेश प्राप्त करने वाले लोगों से अनुरोध किया जाता है कि ऐसे नकली व झूठे संदेशों पर विश्वास न करें या उनके जवाब न दें या कोई व्यक्तिगत विवरण साझा न करें। किसी भी स्थिति में भारतीय डाक इस तरह के संचार के संबंध में किसी भी प्रकार के प्रत्यक्ष, अप्रत्यक्ष, आकस्मिक, दंडात्मक या परिणामी नुकसान के लिए उत्तरदायी नहीं होगा।
इंडिया पोस्ट के वेरिफाइड ट्विटर हैंडल पर 21 अप्रैल को ट्वीट करके इस तरह के मैसेज को फ्रॉड बताया गया है।
इस बारे में साइबर एक्सपर्ट शिवेंद्र प्रताप सिंह का कहना है, यह एक फिशिंग लिंक है। इस पर क्लिक करने से आपका डाटा चोरी होने के साथ ही सिस्टम तक हैक हो सकता है। इस तरह का मैसेज आने पर उसका यूआरएल चेक करें। यूआरएल sttp से शुरू नहीं हो चाहिए। यह http or HTTPS शुरू होना चाहिए। लिंक ब्रोकेन नहीं होना चाहिए। जैसे https://mywsebtie082/1.com। फिशिंग यूआरएल का इस्तेमाल लोगों को लुभावनी स्कीमों के जरिए किया जाता है। अगर आपको कोई फिशिंग लिंक मिलता है तो होस्टिंग और डोमेन प्रोवाइडर को मेल करके उसकी शिकायत कर सकते हैं।
इंडिया पोस्ट की तरह इंडियन ऑयल के नाम से भी फर्जी लिंक वायरल हुआ था, जिसकी पड़ताल विश्वास न्यूज ने की थी। पूरी रिपोर्ट को यहां पढ़ा जा सकता है।
निष्कर्ष: भारतीय डाक के नाम से वायरल हो रहा यह लिंक फर्जी है। इस पर क्लिक करने से आपका डाटा चोरी हो सकता है। इतना ही नहीं, इससे आपका सिस्टम तक हैक हो सकता है।
- Claim Review : India Post Government Subsidies, Every citizen can enjoy government subsidies
- Claimed By : Whatsapp User
- Fact Check : झूठ
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