डर्मेटोलॉजिस्ट्स के मुताबिक, टूथपेस्ट मुंहासों का इलाज नहीं हैं। वायरल पोस्ट का दावा भ्रामक है। टूथपेस्टों में शामिल अधिकतर तत्वों में त्वचा को सुखाने की प्रवृत्ति होती है और ये इरिटेंट डर्मेटाइटिस या त्वचा एलर्जी का कारण बन सकते हैं।
विश्वास न्यूज (नई दिल्ली)। सोशल मीडिया पर वायरल एक पोस्ट में दावा किया जा रहा है कि मुंहासों का हमेशा से भरोसेमंद इलाज टूथपेस्ट रहा है। विश्वास न्यूज की पड़ताल में ये दावा भ्रामक पाया गया है।
ट्विटर पर शेयर की गई एक पोस्ट में लिखा है, ‘मैं स्किम केअर इंडस्ट्री और इसके सारे ट्रेंड्स को पसंद करती हैं लेकिन मुंहासों का हमेशा से भरोसमंद इलाज टूथपेस्ट रहा है।’
इस पोस्ट के आर्काइव्ड वर्जन को यहां क्लिक कर देखा जा सकता है।
विश्वास न्यूज ने गूगल पर जरूरी कीवर्ड्स की मदद से सर्च कर अपनी पड़ताल शुरू की। हमें ब्रिटिश एसोसिएशन ऑफ डर्मेटोलॉजिस्ट्स के ट्विटर हैंडल पर एक ट्वीट मिला। इसके मुताबिक, ‘टूथपेस्ट में एंटी-बैक्टीरियल और एंटी-इंफ्लेमेटरी तत्व शामिल होते हैं, लेकिन यह त्वचा के लिए परेशानी पैदा कर सकता है और इसे बदरंग कर सकता है। आपको मुंहासों के लिए तय किए गए इलाज ही अपनाने चाहिए, जो त्वचा पर लगाने के लिए सुरक्षित हैं।’
इंटरनेट पर आगे पड़ताल के दौरान हमें अमेरिका स्थित मेडिकल सेंटर Cleveland Clinic की 14 अक्टूबर 2019 की एक रिपोर्ट मिली। इस रिपोर्ट के मुताबिक, टूथपेस्ट चेहरे पर लगाने के नहीं बनाया गया है। इस रिपोर्ट में एक डर्मेटोलॉजिस्ट के बयान को पेश किया गया है। इसके मुताबिक, ‘कई टूथपेस्टों में शराब या बेकिंग सोडा जैसी चीजें मिली होती हैं, जो पिंपल को सुखाने में मदद कर सकती हैं। लेकिन टूथपेस्टों में ऐसे तत्व भी होते हैं, जिन्हें सीधे चेहरे पर नहीं लगाया जा सकता।’ डर्मेटोलॉजिस्ट ने चेताया है कि पिंपल के इलाज में टूथपेस्ट का इस्तेमाल करने से त्वचा को समस्या हो सकती है।
विश्वास न्यूज ने इस वायरल दावे के संबंध में डर्मेटोलॉजिस्ट डॉक्टर पंकज चतुर्वेदी से बात की। उन्होंने बताया, ‘कभी टूथपेस्टों में Triclosan केमिकल का इस्तेमाल होता था, जिसका एंटी बैक्टेरियल गुण मुंहासों की वजह बनने वाले बैक्टीरिया को मार देता था, लेकिन अब टूथपेस्टों में इसका इस्तेमाल नहीं होता। मुंहासों पर टूथपेस्ट लगाने के बाद इसमें मौजूद मेंथॉल की वजह से ठंडक का एहसास होता है और दर्द व सूजन में भी अल्पकालिक आराम दिखता है, जिससे इसके कारगर होने का बोध होता है। हालांकि, टूथपेस्टों में शामिल अधिकतर तत्वों में त्वचा को सुखाने की प्रवृत्ति होती है और ये इरिटेंट डर्मेटाइटिस या त्वचा एलर्जी का कारण बन सकते हैं। इसलिए हम सख्ती से अपने रोगियों को मुंहासों पर टूथपेस्ट न लगाने की सलाह देते हैं, इससे त्वचा में अपूरणीय क्षति हो सकती है।’
हमने इस वायरल दावे को शेयर करने वाली ट्विटर यूजर joan paul jones की प्रोफाइल को स्कैन किया। फैक्ट चेक किए जाने तक इस प्रोफाइल के 523 फॉलोअर्स थे।
निष्कर्ष: डर्मेटोलॉजिस्ट्स के मुताबिक, टूथपेस्ट मुंहासों का इलाज नहीं हैं। वायरल पोस्ट का दावा भ्रामक है। टूथपेस्टों में शामिल अधिकतर तत्वों में त्वचा को सुखाने की प्रवृत्ति होती है और ये इरिटेंट डर्मेटाइटिस या त्वचा एलर्जी का कारण बन सकते हैं।
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