Fact Check : आयोध्या राम मंदिर से जोड़कर वायरल की जा रही कुलदीप यादव की पुरानी तस्वीर

विश्वास न्यूज ने जांच में वायरल दावे को भ्रामक पाया। कुलदीप यादव की वायरल तस्वीर साल 2020 में लॉकडाउन के दौरान की है। तस्वीर का हाल-फिलहाल से कोई संबंध नहीं है।

Fact Check : आयोध्या राम मंदिर से जोड़कर वायरल की जा रही कुलदीप यादव की पुरानी तस्वीर

नई दिल्ली (विश्‍वास न्‍यूज)। 22 जनवरी को अयोध्या राम मंदिर की प्राण-प्रतिष्ठा पूरी हो चुकी है। सोशल मीडिया पर राम मंदिर से जोड़कर कई फर्जी और भ्रामक पोस्ट वायरल किए जा रहे हैं। इसी बीच टीम इंडिया के गेंदबाज कुलदीप यादव की एक तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है। जिसमें उन्हें भगवान राम और हनुमान की पेंटिंग बनाते हुए देखा जा सकता है। अब कुछ यूजर्स इस तस्वीर को अयोध्या राम मंदिर से जोड़ते हुए हालिया बताकर शेयर कर रहे हैं।

विश्‍वास न्‍यूज ने पड़ताल में दावे को भ्रामक पाया। वायरल तस्वीर साल 2020 की है,जब कुलदीप यादव ने कोरोना के दौरान लगे लॉकडाउन में यह तस्वीर बनाई थी। तस्वीर को अब हालिया राम मंदिर से जोड़कर शेयर किया जा रहा है। 

क्‍या हो रहा है वायरल?

फेसबुक पेज David Jampa ने 18 जनवरी को तस्वीर शेयर करते हुए लिखा है, “आयोध्या में बन रहे राम मन्दिर कुलदीप यादव ने बनाई शान दार पेंटिंग ‘जय श्री राम’#kuldeepyadav #painting #ramlala #ayodhya”

वायरल पोस्ट के आर्काइव  लिंक को यहां देखें। कई अन्य यूजर्स ने इस तस्वीर को हालिया बताते हुए शेयर किया है।

पड़ताल

वायरल दावे की जांच के लिए हमने तस्वीर को गूगल रिवर्स इमेज से सर्च किया। वायरल तस्वीर हमें कुलदीप यादव के (आर्काइव लिंक) के वेरिफाइड इंस्टाग्राम अकाउंट पर मिली। इन तस्वीरों को एक और दो अप्रैल 2020 को शेयर किया गया था।

सर्च के दौरान हमें वायरल तस्वीर से जुड़ी खबर अमर उजाला पर प्रकाशित खबर में भी मिली। 5 अप्रैल 2020 को प्रकाशित खबर के अनुसार, “लाॅकडाउन के दौरान भारतीय टीम के चाइनामैन गेंदबाज कुलदीप यादव इन दिनों अपने घर में पेंटिंग कर समय व्यतीत कर रहे हैं। रामायण से प्रभावित होकर उन्होंने वन का चित्र, रामजी और हनुमान जी का भी चित्र बनाकर उसमें रंग भरे हैं।” खबर में वायरल तस्वीरों को देखा जा सकता है।

वायरल तस्वीर से जुड़ी खबर को कई अन्य न्यूज रिपोर्ट्स में पढ़ा जा सकता है।

https://twitter.com/JitRo45/status/1251719583184105474

पड़ताल के अगले चरण में हमने दैनिक जागरण के खेल संपादक अभिषेक त्रिपाठी से संपर्क किया। उनके साथ वायरल पोस्ट को शेयर किया। उन्होंने पुष्टि करते हुए बताया कि ये तस्वीरें पुरानी हैं।

जांच के अंत में गलत पोस्ट करने वाले यूजर की जांच की गई। मौजूद जानकारी के अनुसार, यूजर को करीब 5 हजार लोग फॉलो करते हैं।  यूजर दिल्ली के रहने वाले हैं।

निष्कर्ष: विश्वास न्यूज ने जांच में वायरल दावे को भ्रामक पाया। कुलदीप यादव की वायरल तस्वीर साल 2020 में लॉकडाउन के दौरान की है। तस्वीर का हाल-फिलहाल से कोई संबंध नहीं है।

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