Fact Check: गुजरात के अडाणी पोर्ट से गायों को निर्यात किए जाने का दावा FAKE, वायरल वीडियो भारत का नहीं

गुजरात स्थित अडाणी पोर्ट से अरब देशों को गोवंश के निर्यात का दावा फेक है और इसके साथ वायरल हो रहा वीडियो भारत का नहीं, बल्कि इराक स्थित पोर्ट या बंदरगाह का है, जिसे भारत के नाम पर फेक दावे के साथ चुनावी संदर्भ में शेयर किया जा रहा है।

नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। लोकसभा चुनाव के लिए जारी मतदान के बीच सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो में बंदरगार पर पशुओं से भरे ट्रकों की कतार को  देखा जा सकता है। दावा किया जा रहा है कि यह गुजरात स्थित अडाणी पोर्ट का दृश्य है, जहां से अरब देशों के गोवंश  को निर्यात किए जाने की तैयारी चल रही है।

विश्वास न्यूज ने अपनी जांच में इसे गलत पाया। वायरल वीडियो का गुजरात के पोर्ट से कोई संबंध नहीं है और न ही यह वीडियो भारत स्थित किसी पोर्ट या बंदरगाह का है।

क्या है वायरल?

सोशल मीडिया यूजर ‘Adnan Hameed’ ने वायरल वीडियो (आर्काइव लिंक) को शेयर करते हुए लिखा है, “गुजरात :- अडानी के पोर्ट पर हजारों गाय ट्रको में खड़ी है। अरब के देशों में जाने के लिए… वहां पर उनकी कौन सी पूजा होगी।”

सोशल मीडिया के अलग-अलग प्लेटफॉर्म पर कई अन्य यूजर्स ने इस वीडियो को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।

https://twitter.com/Nagvanshi88/status/1783917630145106305

पड़ताल

वायरल वीडियो मे किसी बंदरगाह पर गोवंश से भरे ट्रकों की लंबी कतार को देखा जा सकता है और इस वीडियो के साथ दावा किया जा रहा है कि यह गुजरात के अडाणी पोर्ट्स से गायों के निर्यात का वीडियो है, जिन्हें गोकशी  के लिए अरब देशों को भेजा जा रहा है।

वायरल वीडियो के की-फ्रेम्स को रिवर्स इमेज सर्च करने पर हमें यह वीडियो ‘Hamed ELhagary’ नाम के फेसबुक यूजर्स की प्रोफाइल पर मौजूद मिला, जिसे अरबी टेक्स्ट या कैप्शन के साथ साझा किया गया है।

अरबी में लिखे शब्दों को ट्रांसलेट करने पर हमें ऐसी कोई जानकारी नहीं मिली, जिससे इस वीडियो के लोकेशन की पुष्टि हो सके।

सर्च में हमें एक अन्य यूजर की प्रोफाइल पर यह वीडियो लगा मिला। हालांकि, किसी भी वीडियो में इसके गुजरात या भारत से संबंधित होने की जानकारी नहीं थी।  वीडियो को गौर से देखने पर हमें दो ऐसे व्यक्ति नजर आए, जिनका पहनावा आम तौर पर खाड़ी देशों के लोगों से मिलता है।

वायरल वीडियो में अरबी वेशभूषा में नजर आ रहे लोग।

वीडियो के लोकेशन की पुष्टि के लिए हमने इसके कुछ अन्य की-फ्रेम्स को दुबारा से रिवर्स इमेज सर्च किया। सर्च में हमें Al Mayadeen Channel नाम के यू-ट्यूब चैनल पर एक साल पहले अपलोड किया हुआ वीडियो मिला, जो इराक स्थित कासर बंदरगाह का है।

नीचे दिए गए  कोलाज में वायरल क्लिप में नजर आ रहे बंदरगाहों के बीच की समानता को देखा जा सकता है।

वायरल वीडियो को लेकर हमने अडाणी समूह के प्रवक्ता से संपर्क किया। उन्होंने पुष्टि करते हुए बताया, “इस वीडियो का हमारे किसी पोर्ट से कोई संबंध नहीं है।”

हमने मिनिस्ट्री ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के तहत आने वाले apeda.gov.in की वेबसाइट को भी चेक किया, जहां भारत से किए जाने मांस निर्यात का आंकड़ा मौजूद है। आंकड़ों के मुताबिक, भारत के मांस निर्यात में अधिकांश हिस्सेदारी भैंस के मांस की है। भारत सरकार गोमांस का निर्यात नहीं करती है।

Source: https://apeda.gov.in/

सोशल मीडिया सर्च में हमें Aabhas Maldahiyar के आधिकारिक एक्स अकाउंट से ‘ट्वीट (आर्काइव लिंक) किए हुए आरटीआई के जवाब की प्रति मिली, जिसमें APEDA की तरफ से बताया गया है कि भारत सरकार की तरफ से गोमांस के निर्यात की अनुमति नहीं है।

https://twitter.com/Aabhas24/status/1673261588600717312

वायरल वीडियो क्लिप को शेयर करने वाले यूजर को फेसबुक पर करीब 25 हजार से अधिक लोग फॉलो करते हैं। लोकसभा चुनाव 2024 के लिए जारी मतदान के बीच चुनाव से संबंधित अन्य भ्रामक व फेक दावों की जांच करती फैक्ट चेक रिपोर्ट को विश्वास न्यूज के चुनावी सेक्शन में पढ़ा जा सकता है।

निष्कर्ष: गुजरात स्थित अडाणी पोर्ट से अरब देशों को गोवंश के निर्यात का दावा फेक है और इसके साथ वायरल हो रहा वीडियो भारत का नहीं, बल्कि इराक स्थित पोर्ट या बंदरगाह का है, जिसे भारत के नाम पर फेक दावे के साथ चुनावी संदर्भ में शेयर किया जा रहा है।

False
Symbols that define nature of fake news
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