असम में पुलिसकर्मियों से मारपीट के पुराने वीडियो को मथुरा का बताकर भ्रामक दावा किया जा रहा है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। उत्तर प्रदेश के मथुरा से जोड़कर एक वीडियो वायरल हो रहा है। इसमें कुछ लोगों को पुलिसकर्मियों से मारपीट करते हुए दिखाया गया है। इस वीडियो को शेयर कर कुछ यूजर्स दावा कर रहे हैं कि यूपी के मथुरा में जब पुलिस रोहिंग्याओं की आईडी चेक करने पहुंची तो पुलिस टीम से मारपीट की गई।
विश्वास न्यूज ने अपनी जांच में पाया कि वायरल दावा भ्रामक है। वीडियो असम में हुई घटना से संबंधित है। इसका मथुरा से कोई संबंध नहीं है।
फेसबुक यूजर ‘Jai Bhagwan Goyal – जय भगवान गोयल‘ (आर्काइव लिंक) ने 15 जुलाई को वीडियो शेयर करते हुए लिखा,
“यूपी के मथुरा में कुछ दिनों से आकर अवैध रूप से रह रहे रोहिंग्या, बांग्लादेशी मुसलमानों की ID चेक करने पहुंची पुलिस टीम के साथ की गई मारपीट। हमारे देश में अवैध रूप से आकर हमारे ऊपर ही दादागिरी दिखा रहे हैं ये टोपी वाले।“
एक्स यूजर @Arunkr750 (आर्काइव लिंक) ने भी वीडियो को शेयर करते हुए समान दावा किया है।
वायरल वीडियो की जांच के लिए हमने सबसे पहले अरुण सिंह की पोस्ट को स्कैन किया। इस पर मथुरा पुलिस की तरफ से जवाब दिया गया है कि वायरल वीडियो मथुरा का नहीं है। इसमें पुलिस ने भ्रामक पोस्ट नहीं करने की भी नसीहत दी।
हमने इस बारे में कीवर्ड से गूगल पर सर्च किया, लेकिन इस वीडियो से संबंधित ऐसी कोई न्यूज नहीं मिली, जिससे मथुरा में ऐसी किसी घटना की पुष्टि हो सके।
इस बारे में मथुरा में दैनिक जागरण के संपादकीय प्रभारी विनीत मिश्रा का कहना है कि वायरल वीडियो मथुरा का नहीं है। हाल-फिलहाल में यहां ऐसी कोई घटना नहीं हुई है।
वीडियो के कीफ्रेम को गूगल लेंस से सर्च करने पर वीडियो असम के मंत्री पीजूष हजारिका के एक्स हैंडल पर मिला। उन्होंने 28 जून को वीडियो को शेयर करते हुए लिखा,
“देश के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है.
देखिए कैसे एक खास समुदाय के असहिष्णु लोग हमलावर बनकर ड्यूटी पर तैनात पुलिस पर हमला कर रहे हैं!”
इंडिया टुडे एनई की वेबसाइट पर 28 जून को छपी खबर में लिखा है कि असम के मंत्री पीजूष हजारिका ने एक्स पर पोस्ट करके असम के ढिंग में पुलिसकर्मियों पर हुए हमले की निंदा की। 28 जून को हजारिका ने एक्स पर पोस्ट करके घटना पर चिंता व्यक्त की और एक खास समुदाय द्वारा कानून लागू करने वालों के प्रति असहिष्णुता का आरोप लगाया।
वायरल वीडियो पर एक्स यूजर AshwiniSahaya का नाम लिखा हुआ है। Ashwini Shrivastava @AshwiniSahaya के अकाउंट से 28 जून को इस वीडियो को पोस्ट किया गया है। इसमें इसे असम के ढिंग क्षेत्र का बताया गया है।
पोस्ट के कमेंट सेक्शन में असम पुलिस के डीजीपी जीपी सिंह के एक्स हैंडल से जानकारी दी गई है कि वायरल वीडियो पुराना है। इसमें पुराना वीडियो शेयर करने पर कानूनी कार्रवाई की चेतावनी भी दी गई। इसी पोस्ट पर एक अन्य यूजर ने जब उनसे कार्रवाई को लेकर सवाल किया तो उन्होंने कहा कि इस मामले में पांच लोगोंं के खिलाफ चार्जशीट दायर की गई है। इसमें उन्होंने यह भी कहा कि 31 मई 2023 को चार्जशीट दायर की गई थी। हालांकि, इसमें उन्होंने घटना के क्षेत्र और समय के बारे में कोई जानकारी नहीं दी।
डीजीपी की पोस्ट से यह तो साफ होता है कि वीडियो असम से संबंधित है और पुराना है और इस मामले में पांच लोगों के खिलाफ चार्जशीट दायर की गई थी, लेकिन घटना के क्षेत्र और समय के बारे में हमें सटीक जानकारी नहीं मिली।
वीडियो को भ्रामक दावे के साथ शेयर करने वाले फेसबुक यूजर की प्रोफाइल को हमने स्कैन किया। इसके मुताबिक, वह एक राजनीतिक दल से जुड़े हुए हैं।
निष्कर्ष: असम में पुलिसकर्मियों से मारपीट के पुराने वीडियो को मथुरा का बताकर भ्रामक दावा किया जा रहा है।
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