आंध्र प्रदेश के नेल्लोर में हिंदू धार्मिक यात्रा में बाधा पहुंचाने की पुरानी घटना के वीडियो को हाल का बताकर शेयर किया जा रहा है। कई सोशल मीडिया यूजर्स इस वीडियो को महाराष्ट्र का बताकर भ्रामक दावे के साथ शेयर कर रहे हैं।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे एक वीडियो को लेकर दावा किया जा रहा है कि महाराष्ट्र में हिंदुओं की धार्मिक रैली में मुस्लिमों में बाधा डालने की कोशिश की और पुलिस की मुस्तैदी की वजह से संबंधित इलाके में हिंदू-मुस्लिम दंगा होने से बच गया।
विश्वास न्यूज ने अपनी जांच में इस दावे को भ्रामक पाया। वायरल हो रहा वीडियो पुराना है और आंध्र प्रदेश के नेल्लोर जिले का है, जब अप्रैल 2022 में आंध्र प्रदेश के नेल्लोर में हनुमान शोभा यात्रा के दौरान बाधा उत्पन्न करने का मामला सामने आया था और इस मुद्दे को लेकर भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने राज्य सरकार की आलोचना की थी।
ट्विटर यूजर ‘Tarun Bhati’ ने वायरल वीडियो (आर्काइव लिंक) को शेयर करते हुए लिखा है, ”#महाराष्ट्र में शांतिदूत ( #जिहादी ) हिंदुत्व की रैली में विघ्न डालने का प्रयास करने की कोशिश की। प्रशासन की मुस्तैदी से हिन्दू मुस्लिम दंगा होने से बच गया।लेकिन सेक्युलरों को यह शांति दूत ही दिखेंगे। @LSBjodhpur@KamalR_BJPसनातनराष्ट्रीयधर्म..सनातनधर्मही_सर्वश्रेष्ठ है।”
कई अन्य यूजर्स ने इस वीडियो को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।
एक अन्य यूजर ने इसे आंध्र प्रदेश का बताते हुए शेयर किया है। तीन दिन पहले शेयर किए गए इस वीडियो को देखकर यह प्रतीत हो रहा है कि यह आंध्र प्रदेश में हुई हालिया घटना का वीडियो है।
न्यूज सर्च में हमें कई पुरानी न्यूज रिपोर्ट्स का लिंक मिला, जिसमें इस्तेमाल किया गया फुटेज वायरल वीडियो से मेल खाता है। सीएनएन-न्यूज18 के आधिकारिक यू-ट्यूब चैनल पर 26 अप्रैल 2022 को शेयर किए गए न्यूज बुलेटिन के मुताबिक, यह वीडियो आंध्र प्रदेश के नेल्लोर में शोभा यात्रा पर हुए हमले का वीडियो है, जिसे लेकर बीजेपी ने राज्य सरकार की आलोचना की थी।
वीडियो बुलेटिन में बीजेपी नेता सुनील देवधर के हवाले से बताया गया है कि एक धार्मिक यात्रा के दौरान भगवान हनुमान की मूर्ति पर पत्थर और खाली बोतल फेंके गए और इस दौरान पुलिस ने कुछ नहीं किया। सर्च में हमें सुनील देवधर के आधिकारिक ट्विटर प्रोफाइल से 25 अप्रैल 2022 को किया गया ट्वीट भी मिला, जिसमें वायरल वीडियो को देखा जा सकता है।
कई अन्य न्यूज रिपोर्ट्स में भी इस घटना का विवरण दिया गया है, जो उपरोक्त वर्णित विवरणों से मेल खाता है। वायरल वीडियो को लेकर हमने आंध्र प्रदेश के दो अलग-अलग रिपोर्टर से संपर्क किया। टीवी9 हैदराबाद के रिपोर्टर नूर मोहम्मद ने बताया कि वायरल हो रहा वीडियो अभी का नहीं बल्कि पुरानी 2022 की पुरानी घटना का है। वहीं इंडिया टुडे के नेल्लोर के रिपोर्टर (जिन्होंने इस घटना की रिपोर्टिंग की थी) आशीष पांडेय ने भी पुष्टि करते हुए बताया कि वायरल वीडियो नेल्लोर में हुई घटना का है।
हमारी जांच से स्पष्ट है कि आंध्र प्रदेश के नेल्लोर में हिंदू धार्मिक यात्रा में बाधा पहुंचाने की पुरानी घटना के वीडियो को हाल का बताकर शेयर किया जा रहा है। वहीं कुछ यूजर्स इस वीडियो को महाराष्ट्र का बताकर शेयर कर रहे हैं।
वायरल वीडियो को शेयर करने वाले यूजर को ट्विटर पर करीब डेढ़ हजार लोग फॉलो करते हैं।
गौरतलब है कि राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय घटनाक्रम के लिहाज से 2022 उतार-चढ़ाव से भरा रहा और इस दौरान विश्वास न्यूज ने करीब 1500 से अधिक फैक्ट चेक रिपोर्ट्स को प्रकाशित किया, जिनका विश्लेषण 2022 के Misinformation Trends की जानकारी देता है। विश्वास न्यूज की फैक्ट चेक रिपोर्ट्स को यहां पढ़ा जा सकता है।
निष्कर्ष: आंध्र प्रदेश के नेल्लोर में हिंदू धार्मिक यात्रा में बाधा पहुंचाने की पुरानी घटना के वीडियो को हाल का बताकर शेयर किया जा रहा है। कई सोशल मीडिया यूजर्स इस वीडियो को महाराष्ट्र का बताकर भ्रामक दावे के साथ शेयर कर रहे हैं।
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