Fact Check: 2018 की रानीगंज हिंसा की पुरानी तस्वीर को हालिया बंगाल हिंसा की घटना से जोड़कर किया जा रहा है वायरल

पश्चिम बंगाल के रानीगंज में 2018 में रामनवमी के दिन घटित सांप्रदायिक हिंसा की पुरानी तस्वीर को बंगाल के मोमिनपुर में हुई हालिया हिंसा से जोड़कर भ्रामक दावे के साथ वायरल किया जा रहा है।

Fact Check: 2018 की रानीगंज हिंसा की पुरानी तस्वीर को हालिया बंगाल हिंसा की घटना से जोड़कर किया जा रहा है वायरल

नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया पर वायरल हो रही आगजनी की एक तस्वीर को लेकर दावा किया जा रहा है कि यह पश्चिम बंगाल के मोमिनपुर में हुई हालिया हिंसा की तस्वीर है। हाल ही में मोमिनपुर में दो समुदायों के बीच हुई हिंसक झड़प की वजह से तनाव की स्थिति पैदा हो गई थी।

विश्वास न्यूज की जांच में यह दावा भ्रामक निकला। वायरल हो रही तस्वीर का मोमिनपुर में हुई हालिया हिंसा से कोई संबंध नहीं है। यह पश्चिम बंगाल के रानीगंज में 2018 में हुई सांप्रदायिक हिंसा की तस्वीर है, जिसे हाल का बताकर भ्रामक दावे से वायरल किया जा रहा है।

क्या है वायरल?

सोशल मीडिया यूजर ‘Jhumu Poli’ ने वायरल तस्वीर (आर्काइव लिंक) को शेयर करते हुए लिखा है, ”Kolkata burning!!
Communal violence broke out at Kolkata Port area!!
Shockingly, Kolkata mainstream media trying to hide a specific community!!violence #kolkataviolence #ekbalpurviolence #mominpurviolence #kolkataport #khidirpurviolence #communalviolence #section144.”

कई अन्य यूजर्स ने इस तस्वीर को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।

पड़ताल

न्यूज रिपोर्ट्स के मुताबिक, पश्चिम बंगाल के मोमिनपुर में लक्ष्मी पूजा के दिन दो समुदायों के बीच हुई कहासुनी के बाद भड़की हिंसा की घटना ने बड़ा रूप ले लिया और फिर उपद्रवियों ने समुदाय विशेष की दुकानों और उनके घरों को निशाना बनाते हुए उसे नुकसान पहुंचाया।

मोमिनपुर हिंसा को लेकर दैनिक जागरण की 10 अक्टूबर की रिपोर्ट

इस हिंसा के बाद बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर निशाना साधा। उन्होंने अपने ट्विटर हैंडल से इस हिंसा की तस्वीरों और वीडियो को भी साझा किया।

इस हिंसा को लेकर बंगाल विधानसभा में विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी ने गृह मंत्री को पत्र लिखकर तत्काल कार्रवाई किए जाने की मांग की थी।

न्यूज एजेंसी एएनआई ने इस हिंसा से संबंधित तस्वीरों को अपने आधिकारिक हैंडल से ट्वीट किया है।

किसी भी रिपोर्ट या ट्वीट में हमें वह तस्वीर नहीं मिली, जिसे वायरल पोस्ट में मोमिनपुर में हुई हालिया हिंसा का बताकर वायरल किया जा रहा है। वायरल तस्वीर के ओरिजिनल सोर्स का पता लगाने के लिए गूगल रिवर्स इमेज सर्च की मदद ली। सर्च में यह तस्वीर कई पुरानी रिपोर्ट्स में लगी मिली। इंडियन एक्सप्रेस की वेबसाइट पर 26 मई 2018 की रिपोर्ट में इस तस्वीर का इस्तेमाल किया गया है।

इंडियन एक्सप्रेस की 26 मार्च 2018 की रिपोर्ट में लगी तस्वीर, जिसमें हालिया बंगाल हिंसा का बताकर वायरल किया जा रहा है

रिपोर्ट के साथ दी गई जानकारी के मुताबिक, यह तस्वीर पश्चिम बंगाल के रानीगंज में 2018 में रामनवमी के दिन भड़की सांप्रदायिक हिंसा की है। रिपोर्ट में इस हिंसा की कई अन्य तस्वीरों को भी देखा जा सकता है।

वायरल तस्वीर को लेकर हमने हमारे सहयोगी दैनिक जागरण के कोलकाता ब्यूरो चीफ जे के वाजपेयी से संपर्क किया। उन्होंने पुष्टि करते हुए बताया कि यह तस्वीर मोमिनपुर में हुई हालिया हिंसा की नहीं है।

वायरल पोस्ट को भ्रामक दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर को फेसबुक पर करीब चार हजार से अधिक लोग फॉलो करते हैं।

निष्कर्ष: पश्चिम बंगाल के रानीगंज में 2018 में रामनवमी के दिन घटित सांप्रदायिक हिंसा की पुरानी तस्वीर को बंगाल के मोमिनपुर में हुई हालिया हिंसा से जोड़कर भ्रामक दावे के साथ वायरल किया जा रहा है।

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