मध्य प्रदेश के भोपाल में नवनियुक्त शिक्षकों के प्रशिक्षण कार्यक्रम में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के भाषण के एक अंश को दुष्प्रचार की मंशा से शेयर किया जा रहा है। अपने गुरु के बारे में निजी अनुभव को याद करते वक्त शिवराज सिंह चौहान की जुबान फिसली और तुरंत ही उन्होंने संबंधित बयान को सुधार लिया था, लेकिन वायरल क्लिप में जानबूझकर दुष्प्रचार की मंशा से सुधार वाले अंश को शामिल नहीं किया गया है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया पर मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के भाषण का एक छोटा वीडियो क्लिप वायरल हो रहा है, जिसमें उन्हें अपने गुरु के बारे में बोलते हुए सुना जा सकता है। वायरल वीडियो क्लिप में उन्हें यह कहते हुए सुना जा सकता है, ”हमारे गुरूजी आज भी श्रद्धेय रतनचंद जैन जी हैं और जब मैं उनसे मिलने जाता था, उनके सिर पर हम सभी पैर रखते थे।”
सोशल मीडिया यूजर इस वीडियो क्लिप को इसी दावे के साथ शेयर कर रहे हैं कि शिवराज सिंह चौहान जब भी अपने गुरु से मिलते थे, वह उनके सिर पर पैर रखा करते थे। विश्वास न्यूज की जांच में यह दावा गलत और दुष्प्रचार निकला। वायरल हो रहा वीडियो एडिटेड है और यह उनके भाषण का एक क्लिप है, जिसमें उनके भाषण के उस हिस्से को शामिल नहीं किया गया है जब उन्होंने तत्काल अपने बयान को सुधारते हुए कहा था कि जब भी वह अपने गुरु से मिलते तो उनका आशीर्वाद लेने के लिए वह अपने सिर को उनके पैरों पर रख दिया करते थे। वास्तव में भाषण के दौरान जुबान फिसलने की वजह से ऐसा हुआ और तुरंत ही शिवराज सिंह चौहान ने अपनी गलती को सुधार लिया, लेकिन दुष्प्रचार की मंशा से वायरल वीडियो क्लिप में इस अंश को जानबूझकर शामिल नहीं किया गया।
सोशल मीडिया यूजर ‘Premshankar Rawat’ ने वायरल वीडियो (आर्काइव लिंक) को शेयर करते हुए लिखा है, ”गुरु के सिर पर पैर रखने वाला….।”
फेसबुक पर कई अन्य यूजर्स ने इस वीडियो को समान दावे के साथ शेयर किया है। वहीं, ट्विटर पर भी कई यूजर्स ने इस वीडियो को समान संदर्भ में शेयर किया है।
मध्य प्रदेश कांग्रेस के आधिकारिक ट्विटर हैंडल से भी इस वायरल क्लिप को शेयर किया गया है।
वायरल हो रहा वीडियो 15 सेकेंड का है, जिसमें मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान किसी कार्यक्रम को संबोधित करते हुए नजर आ रहे हैं। वायरल क्लिप में उन्हें कहते हुए सुना जा सकता है, ‘….हमारे एक गुरु जी…आज भी वो हैं…श्रद्धेय रतनचंद जैन। मैं जाता था…उनके सिर पर हम सभी एक पैर रखते…..।’ वीडियो को सुनकर यह स्पष्ट है कि यह किसी कार्यक्रम में दिए गए उनके भाषण का क्लिप है, जिसे उसके संदर्भ से अलग कर शेयर किया जा रहा है।
शिवराज सिंह चौहान के भाषणों को उनके आधिकारिक सोशल मीडिया हैंडल से लाइव किया जाता है। सर्च में इस भाषण का ओरिजिनल वीडियो मिला, जिसे चार सितंबर 2022 को शिवराज सिंह चौहान के आधिकारिक ट्विटर हैंडल से शेयर किया गया है।
दी गई जानकारी के मुताबिक, भोपाल में मुख्यमंत्री चौहान नवनियुक्त शिक्षकों के प्रशिक्षण कार्यक्रम में शामिल हुए थे और इसी दौरान उन्होंने अपने गुरु को याद करते हुए कहा, ‘…आज मैं मेरी कहानी आपको सुनाता हूं। जैसा मैंने बताया कि मैं सरकारी स्कूल में पढ़ा। भोपाल में भी सरकारी स्कूल में पढ़ा। हमारे गुरुजी आज भी वो हैं..श्रद्धेय रतनचंद जैन। मैं जाता था…उनके सिर पर हम सभी पैर रख….उनका आशीर्वाद लेने के लिए हम अपना सिर को उनके पैरों पर सदैव रखते थे।’
स्पष्ट है कि भाषण के दौरान मुख्यमंत्री ने गुरु के सिर पर पैर रखने वाले बयान को पूरा भी नहीं बोला और फौरन अपनी बात को सुधार लिया। हालांकि, जानबूझकर वायरल क्लिप में इस अंश को शामिल नहीं किया गया है और भाषण के केवल उस छोटे अंश को साझा किया जा रहा है, जिसमें उनकी जुबान फिसली थी।
वायरल वीडियो को लेकर हमने मुख्यमंत्री कार्यालय से संपर्क किया। कार्यालय की तरफ से बताया गया कि मुख्यमंत्री भाषण में अपने गुरु को याद कर रहे थे और इसी दौरान उन्होंने अपने निजी अनुभव को साझा करते हुए अपने गुरु का जिक्र किया। वायरल क्लिप में जो बयान सुनने में आ रहा है, वास्तव में मुख्यमंत्री ने उस बयान को पूरा बोला भी नहीं और उसे सुधार दिया था।
मुख्यमंत्री कार्यालय की तरफ से उनके इस भाषण का टेक्स्ट और संबंधित वीडियो क्लिप भी शेयर किया गया, जिसमें वायरल क्लिप के भाषण के पूरे अंश को संदर्भ में सुना जा सकता है। इसी भाषण का पूरा क्लिप @OfficeofSSC के आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर भी उपलब्ध है, जिसका जिक्र ऊपर किया गया है।
वायरल वीडियो को गलत दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर को फेसबुक पर करीब 14 हजार से अधिक लोग फॉलो करते हैं।
निष्कर्ष: मध्य प्रदेश के भोपाल में नवनियुक्त शिक्षकों के प्रशिक्षण कार्यक्रम में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के भाषण के एक अंश को दुष्प्रचार की मंशा से शेयर किया जा रहा है। अपने गुरु के बारे में निजी अनुभव को याद करते वक्त शिवराज सिंह चौहान की जुबान फिसली और तुरंत ही उन्होंने संबंधित बयान को सुधार लिया था, लेकिन वायरल क्लिप में जानबूझकर दुष्प्रचार की मंशा से सुधार वाले अंश को शामिल नहीं किया गया है।
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