Fact Check: कर्नाटक चुनाव में रिजर्व EVM को तोड़े जाने का वीडियो गलत दावे से वायरल, पहले भी हो चुकी है ऐसी घटनाएं
कर्नाटक के विजयपुरा जिले में ईवीएम तोड़े जाने की घटना को गलत दावे के साथ वायरल किया जा रहा है। वायरल वीडियो में नजर आ रहा ईवीएम चुनाव अधिकारियों के वाहन में रखा रिजर्व ईवीएम था, जिसे ग्रामीणों ने इस गलतफहमी में आकर तोड़ दिया कि चुनाव खत्म होने से पहले ही अधिकारी मतदान केंद्र से ईवीएम को ले जा रहे हैं।
- By: Abhishek Parashar
- Published: May 12, 2023 at 01:44 PM
- Updated: Jun 6, 2023 at 03:46 PM
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए वोटों की गिनती से पहले सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें आक्रोशित भीड़ को इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) को तोड़ते हुए देखा जा सकता है। दावा किया जा रहा है कि कर्नाटक विधासनभा चुनाव के लिए मतदान होने के बाद भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के नेता के वाहन से ईवीएम बरामद होने के बाद लोगों का गुस्सा भड़क गया और उन्होंने वाहन में रखे ईवीएम को तोड़ डाला। वायरल वीडियो में भीड़ को वाहन में रखे ईवीएम को तोड़ते हुए भी देखा जा सकता है।
विश्वास न्यूज की जांच में यह दावा गलत निकला। इससे पहले भी कई चुनावों में ऐसे वीडियो वायरल होते रहे हैं। जिन ईवीएम को भीड़ ने तोड़ा, वह चुनाव अधिकारियों के वाहन में रखा ईवीएम था। ये ईवीएम अतिरिक्त ईवीएम थे, जिन्हें आपात स्थिति में इस्तेमाल के लिए रखा गया था। हालांकि, भीड़ ने यह समझा कि चुनाव अधिकारी चुनाव खत्म होने से पहले ही ईवीएम को लेकर जा रहे हैं और इस वजह से उन्होंने वाहन से ईवीएम को निकालकर तोड़ डाला।
गौरतलब है कि चुनाव आयोग के सर्कुलर के मुताबिक, मतदान के दौरान चार तरह के ईवीएम का इस्तेमाल किया जाता है। पहली कैटेगरी A में वह ईवीएम शामिल हैं, जिनसे चुनाव कराया जा चुका है। दूसरी कैटेगरी B में वह मशीनें शामिल होती हैं, जिनसे मतदान हो चुका होता है, लेकिन वह खराब पाई गईं। कैटेगरी C में उन मशीनों को रखा जाता है, जो खराब हैं और मतदान में जिनका इस्तेमाल नहीं किया गया है, जबकि कैटेगरी D में वह मशीनें होती हैं, जो ठीक होती हैं और जिन्हें रिजर्व में रखा जाता है।
क्या है वायरल?
सोशल मीडिया यूजर ‘पुतिन पंडित (रशिया वाले)’ ने वायरल वीडियो (आर्काइव लिंक) को #CongressWinning150 हैशटैग के साथ शेयर किया है। वीडियो को शेयर करते हुए उन्होंने लिखा है, “BJP नेता के गाड़ी में EVM मशीन पकड़े जाने पर स्थानिय लोगों ने किया हंगामा!!CongressWinning150”
कई अन्य ट्विटर यूजर्स ने भी इस वीडियो को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।
https://twitter.com/putin_pandit/status/1656285813326647296
फेसबुक पर कई यूजर्स ने इस वीडियो को समान दावे के साथ शेयर किया है।
पड़ताल
सभी वीडियो में आक्रोशित भीड़ को ईवीएम को तोड़ते हुए देखा जा सकता है। की-वर्ड सर्च में ‘कनक न्यूज’ के आधिकारिक यू-ट्यूब चैनल पर हमें यह समान वीडियो मिला, जिसे कर्नाटक विधानसभा चुनाव का बताकर वायरल किया जा रहा है।
रिपोर्ट में बताया गया है कि कर्नाटक के विजयपुर जिले के गांव में ग्रामीणों ने ईवीएम और वीवीपैट मशीन को तोड़ डाला। ‘द हिंदू’ की 10 मई की रिपोर्ट में भी इस घटना का जिक्र है। रिपोर्ट के मुताबिक, “10 मई को मतदान के बाद विजयपुरा जिले के मसाबिनाल गांव में भीड़ ने ईवीएम को तोड़ डाला और अधिकारी के वाहन को क्षतिग्रस्त कर दिया। भीड़ ने यह समझकर हमला किया कि अधिकारी चुनाव खत्म होने से पहले ही ईवीएम को लेकर जा रहे हैं।” रिपोर्ट के मुताबिक, जिन ईवीएम को तोड़ा गया, वह चुनाव अधिकारी के वाहन में रखा हुआ अतिरिक्त ईवीएम था।
‘आउटलुक इंडिया’ की रिपोर्ट के मुताबिक, इस घटना में पुलिस ने 23 ग्रामीणों को गिरफ्तार किया है।
ट्विटर यूजर ‘योगी भक्त’ ने भी वायरल वीडियो को शेयर किया था, जिस पर डीईओ विजयपुरा की तरफ से जवाब देते हुए वायरल दावे का खंडन किया गया है। डीईओ विजयपुर ने वायरल वीडियो के साथ किए गए दावे को गलत बताया है। उन्होंने कहा कि सेक्टर ऑफिसर रिजर्व ईवीएम को लेकर जा रहे थे और उनकी गाड़ी को ग्रामीणों ने रोका और ईवीएम को तोड़ डाला। इस मामले में मुकदमा दर्ज कर 24 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
चुनाव आयोग के सर्कुलर के मुताबिक, मतदान के दौरान चार तरह के ईवीएम का इस्तेमाल किया जाता है।
गौरतलब है कि निर्वाचन आयोग के दिशानिर्देशों के मुताबिक, ‘चुनाव के बाद सभी उपलब्ध ईवीएम और वीवीपैट्स को चार श्रेणियों में बांटा जाता है।’
कैटेगरी A: पोल्ड EVMs और VVPATs
पहली श्रेणी में वह ईवीएम और वीवीपैट शामिल होते हैं, जिससे मतदान हुआ होता है और जिन्हें मतदान खत्म होने के बाद बंद कर दिया जाता है।
कैटेगरी B: डिफेक्टिव पोल्ड EVMs और VVPATs
इसमें वैसे ईवीएम शामिल होती हैं, जो कुछ मतों के डाले जाने के बाद खराब हो जाती है।
कैटेगरी C: डिफेक्टिव अनपोल्ड EVMs और VVPATs
इस श्रेणी में उन मशीनों को रखा जाता है, जो चुनाव के पहले ही खराब हो जाती हैं और जिन्हें बदल दिया जाता है।
कैटेगरी D: अनयूज्ड EVMs और VVPATs
यानी श्रेणी D में आने वाली ईवीएम और वीवीपैट्स मशीनें सेक्टर या जोनल या एरिया मजिस्ट्रेट के पास होती हैं, जो सुरक्षित होती हैं और जिसका इस्तेमाल मतदान में नहीं हुआ होता है।
इससे पहले भी कई चुनावों के दौरान अधिकारियों के वाहन में रखे ऐसे ईवीएम को लेकर चुनावी दुष्प्रचार किया जाता रहा है, जिसकी फैक्ट चेक रिपोर्ट्स को यहां पढ़ा जा सकता है।
वायरल वीडियो को लेकर विश्वास न्यूज ने विजयपुरा के पुलिस अधीक्षक एच डी आनंद कुमार से संपर्क किया। उन्होंने बताया, “वायरल वीडियो में जिन ईवीएम को नुकसान पहुंचाते हुए देखा जा रहा है ,वे अतिरिक्त ईवीएम थीं। लोगों ने गलतफहमी की वजह से चुनाव अधिकारी के वाहन को रोककर ईवीएम को तोड़ डाला। इस मामले में मुकदमा दर्ज कर अब तक 24 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
वायरल वीडियो को गलत दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर को ट्विटर पर करीब एक हजार लोग फॉलो करते हैं। कर्नाटक में 10 मई को मतदान हो चुका है, जिसके नतीजे 13 मई को आएंगे।
निष्कर्ष: कर्नाटक के विजयपुरा जिले में ईवीएम तोड़े जाने की घटना को गलत दावे के साथ वायरल किया जा रहा है। वायरल वीडियो में नजर आ रहा ईवीएम चुनाव अधिकारियों के वाहन में रखा रिजर्व ईवीएम था, जिसे ग्रामीणों ने इस गलतफहमी में आकर तोड़ दिया कि चुनाव खत्म होने से पहले ही अधिकारी मतदान केंद्र से ईवीएम को ले जा रहे हैं।
- Claim Review : कर्नाकट में बीजेपी नेता के वाहन से पकड़ा गया ईवीएम।
- Claimed By : Twitter User-पुतिन पंडित (रशिया वाले)
- Fact Check : झूठ
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