Fact Check : उत्तराखंड का 9 साल पुराना वीडियो गलत दावे के साथ हुआ वायरल

विश्‍वास न्‍यूज की पड़ताल में दुनिया का सबसे बड़ा हाइड्रोइलेक्ट्रिक डैम के टूटने का दावा फर्जी निकला। ऐसी कोई घटना नहीं हुई है। पोस्‍ट के साथ इस्‍तेमाल किया गया वीडियो 9 साल पुराना है। उस वक्‍त उत्तराखंड के श्रीनगर गढ़वाल के एक निर्माणाधीन बांध को बाढ़ के कारण आंशिक नुकसान पहुंचा था।

Fact Check : उत्तराखंड का 9 साल पुराना वीडियो गलत दावे के साथ हुआ वायरल

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। सोशल मीडिया के विभिन्‍न प्‍लेटफार्म पर अलग-अलग भाषा में एक पोस्‍ट वायरल हो रही है। इसमें एक बांध को देखा जा सकता है। सोशल मीडिया यूजर्स इस वीडियो को वायरल करते हुए दावा कर रहे हैं कि दुनिया का सबसे बड़ा हाइड्रोइलेक्ट्रिक बांध टूट गया है। विश्‍वास न्‍यूज ने वायरल पोस्‍ट की जांच की। दावा फर्जी साबित हुआ। वायरल वीडियो 2013 का है। उत्तराखंड के श्रीनगर गढ़वाल में एक बांध को कुछ वक्‍त आशिंक नुकसान हुआ था। जबकि, दुनिया का सबसे बड़ा हाइड्रोइलेक्ट्रिक डैम चीन का थ्री जॉर्जेज डैम है। वहां कोई नुकसान नहीं हुआ।

क्‍या हो रहा है वायरल

फेसबुक यूजर AH RA ने 2 अगस्‍त को एक वीडियो को पोस्‍ट करते हुए दावा किया कि दुनिया का सबसे बड़ा हाइड्रोइलेक्ट्रिक बांध टूट गया। अंग्रेजी में लिखा गया : ‘The world’s largest hydroelectric dam burst.’

फैक्ट चेक के उद्देश्य से पोस्ट के कंटेंट को यहां हूबहू लिखा गया है। इसे दूसरे यूजर्स भी अभी का मानकर वायरल कर रहे हैं। पोस्ट के आर्काइव वर्जन को यहां देखा जा सकता है।

पड़ताल

विश्‍वास न्‍यूज ने वायरल पोस्‍ट की पड़ताल दो चरणों में की। सबसे पहले हमें यह पता लगाना था कि वायरल वीडियो कहां का है। इसके लिए गूगल रिवर्स इमेज सर्च टूल और यान्‍डेक्‍स टूल का सहारा लिया गया। वीडियो के कीफ्रेम्‍स को इन टूल्‍स की मदद से सर्च करने पर हमें सबसे पुराना वीडियो दिसंबर 2013 का मिला। यह वीडियो उत्तराखंड के श्रीनगर गढ़वाल में एक बांध को पहुंचे नुकसान का है। यह घटना वर्ष 2013 में हुई थी।

पड़ताल ने जांच को आगे बढ़ाते हुए उत्तराखंड के पत्रकार से संपर्क किया। पौड़ी के श्रीनगर निवासी शैलेंद्र गोदियाल (वर्तमान में उत्‍तरकाशी दैनिक जागरण प्रभारी) ने बताया कि यह पुराना (जून 2013) वीडियो श्रीनगर गढ़वाल में अलकनंदा नदी पर बन रहे निर्माणाधीन परियोजना का है। उस समय नदी में पानी का जलस्‍तर इतना बढ़ गया था कि निर्माणाधीन पावर हाउस के निकासी वाले स्‍थान से पानी अंदर की ओर आने लगा था। जिससे परियोजना के निर्माणाधीन पावर हाउस को आंशिक नुकसान पहुंचा था।

पड़ताल के दूसरे चरण में वायरल वीडियो के साथ जो दावा किया गया है, उसकी पड़ताल की। गूगल सर्च में संबंधित कीवर्ड से सर्च करने पर हमें एक भी ऐसी खबर नहीं मिली, जो इस बात की पुष्टि करे कि दुनिया का सबसे बड़े हाइड्रोइलेक्ट्रिक डैम टूट गया है।

गूगल सर्च से पता चला है कि दुनिया का सबसे बड़ा हाइड्रोइलेक्ट्रिक डैम चीन का थ्री जॉर्जेज डैम है। जो हुबई प्रांत में है। इसके बारे में ज्‍यादा जानकारी यहां पढ़ा जा सकता है।

निष्कर्ष: विश्‍वास न्‍यूज की पड़ताल में दुनिया का सबसे बड़ा हाइड्रोइलेक्ट्रिक डैम के टूटने का दावा फर्जी निकला। ऐसी कोई घटना नहीं हुई है। पोस्‍ट के साथ इस्‍तेमाल किया गया वीडियो 9 साल पुराना है। उस वक्‍त उत्तराखंड के श्रीनगर गढ़वाल के एक निर्माणाधीन बांध को बाढ़ के कारण आंशिक नुकसान पहुंचा था।

False
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