विश्वास टीम की पड़ताल में पता चला कि इंदिरा सागर बांध के नाम पर वायरल हो रहा वीडियो फर्जी है। दरअसल वायरल वीडियो कर्नाटक के हसन जिले में स्थित गोरूर बांध का है। इसे हेमावती नदी के ऊपर बनाया गया है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। देश के कुछ खास हिस्सों में बाढ़ के प्रकोप के बीच एक बांध का वीडियो वायरल हो रहा है। यूजर्स का दावा है कि ये वीडियो मध्य प्रदेश के इंदिरा सागर बांध का है। यहां नर्मदा नदी का विकराल स्वरूप देखने को मिल रहा है। विश्वास टीम ने जब इस पोस्ट की असलियत जानने के लिए पड़ताल शुरू की तो हमें पता चला कि वायरल वीडियो मध्य प्रदेश का नहीं, बल्कि कर्नाटक के हसन जिले में स्थित गोरूर बांध का है। यह बांध हेमावती नदी के ऊपर बना हुआ है। इससे पहले भी महाराष्ट्र के खंबाटकी घाट का वीडियो मध्य प्रदेश के नाम पर वायरल हो चुका है।
सोशल मीडिया के कई प्लेटफॉर्म पर एक वीडियो वायरल हो रहा है। इसमें बांध से भारी मात्रा में पानी आता हुआ दिख रहा है। Indore News नाम के एक फेसबुक पेज ने इस वीडियो को अपलोड करते हुए लिखा, ”श्री ओंकारेश्वर ज्योतिर्लिंग के इंदिरा सागर बांध परियोजना से माँ नर्मदा ज़ी का विकराल स्वरुप।
नर्मदे हर..”
इस वीडियो को अब तक आठ हजार से ज्यादा बार देखा जा चुका है। इसे शेयर करने वालों की संख्या 188 है।
विश्वास टीम ने सबसे पहले 1.45 मिनट के वायरल वीडियो को InVID में अपलोड करके कई स्क्रीनशॉट निकाले। इसके बाद इन्हें गूगल रिवर्स इमेज में सर्च किया। हमें यह वीडियो कई सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर दिखा। कई यूजर्स ने इसे गोरूर बांध के नाम से अपने अकाउंट पर अपलोड किया हुआ था।
सर्च के दौरान ओरिजनल वीडियो हमें @VishweshwarBhat नाम के ट्विटर पर मिला। यह 9 अगस्त 2019 को अपलोड किया गया था। इसमें वीडियो को गोरूर डैम का बताया गया।
इसके बाद विश्वास टीम ने यूट्यूब पर Gorur dam टाइप करके सर्च किया। हमें वायरल वीडियो से मिलता-जुलता एक दूसरा वीडियो मिला। इसमें बांध की सरंचना, रेलिंग और लैंप ठीक वैसा ही मिला, जैसा इंदिरा सागर बांध के नाम पर वायरल हो रहे वीडियो में दिख रहा है। यूट्यूब पर अपलोड वीडियो में बताया गया कि यह वीडियो गोरूर डैम का है।
पड़ताल के दौरान गोरूर डैम का एक वीडियो टाइम्स ऑफ इंडिया की वेबसाइट पर भी मिला। 14 जून 2018 को अपलोड इस वीडियो में बताया गया कि भारी बारिश के कारण गोरूर डैम में पानी का स्तर बढ़ा।
गोरूर डैम के बारे में ज्यादा जानने के लिए हमने गूगल में सर्च किया तो हमें हसन जिले की सरकारी वेबसाइट पर इसके बारे में जानकारी मिली। यहां बताया गया कि कर्नाटक के हसन जिले में गोरूर इलाके में 1979 में यह बांध बनाया गया था। इसमें हेमावती नदी के ऊपर बनाया गया। इस बांध की लंबाई 4,692 मीटर और ऊंचाई 58.5 मीटर है।
वायरल पोस्ट तह में जाने के लिए हमने नईदुनिया डॉट कॉम के ऑनलाइन संपादक सुधीर गौरे से संपर्क किया। उन्होंने बताया कि इंदिरा सागर बांध के नाम पर जो वीडियो वायरल हो रहा है, वह मध्य प्रदेश का नहीं है। बारिश में दूसरे राज्यों के वीडियो अक्सर मध्य प्रदेश के नाम पर वायरल हो जाते हैं।
अंत में विश्वास टीम ने इंदौर न्यूज नाम के फेसबुक पेज की सोशल स्कैनिंग की। इसी पेज पर कर्नाटक के वीडियो को इंदिरा सागर बांध के नाम पर वायरल किया गया। इस पेज पर इंदौर से जुड़ी खबरें, तस्वीरें और वीडियो अपलोड किए जाते हैं। इस पेज को 55 हजार लोग फॉलो करते हैं।
निष्कर्ष: विश्वास टीम की पड़ताल में पता चला कि इंदिरा सागर बांध के नाम पर वायरल हो रहा वीडियो फर्जी है। दरअसल वायरल वीडियो कर्नाटक के हसन जिले में स्थित गोरूर बांध का है। इसे हेमावती नदी के ऊपर बनाया गया है।
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