चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग के बाद इसरो प्रमुख एस सोमनाथ के राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के कार्यालय जाने का दावा गलत है। इस दावे के साथ वायरल हो रहा वीडियो चंद्रयान-3 की सफलतापूर्वक लैंडिंग से काफी पहले का है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो को लेकर दावा किया जा रहा है कि चंद्रयान-3 की सफलतापूर्वक लैंडिंग के बाद भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संस्थान (इसरो) के प्रमुख एस सोमनाथ राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कार्यालय पहुंचे, जहां उन्हें सम्मानित किया गया।
विश्वास न्यूज ने अपनी जांच में इस दावे को गलत पाया। इसरो चीफ एस सोमनाथ के आरएसएस कार्यालय जाने का दावा गलत है और इस दावे के साथ वायरल हो रहा क्लिप पुराना है, जिसमें वह गरीब छात्रों के लिए चलाए जाने वाले तपस प्रोजेक्ट को संचालित करने वाले लोगों से मिल रहे हैं।
सोशल मीडिया यूजर ‘शंकर विश्वास’ ने वायरल वीडियो (आर्काइव लिंक) को शेयर करते हुए लिखा है, “ISRO चीफ सोमनाथ तो #स्वयंसेवक निकले….RSS के #कार्यालय पहुंचे थे जहां उनका सम्मान किया गया। एक साथ इतने दुख लिबर्लो के लिए।”
कई अन्य यूजर्स ने इस वीडियो को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।
न्यूज सर्च में हमें ऐसी कोई खबर नहीं मिली, जिसमें चंद्रयान-3 की सफलतापूर्वक लैंडिंग के बाद इसरो प्रमुख एस सोमनाथ के आरएसएस कार्यालय जाने का जिक्र हो। चंद्रयान-3 की सफलता के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी विदेश यात्रा से दिल्ली आने की बजाए सीधे बेंगलुरु गए थे, जहां वे इसरो मुख्यालय जाकर चंद्रयान-3 भेजने वाली टीम से मिले थे। इस दौरान उन्होंने वैज्ञानिकों को संबोधित भी किया था।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आधिकारिक एक्स हैंडल से उनके इस संबोधन के वीडियो को साझा किया गया है।
वायरल वीडियो के ऑरिजिनल स्रोत को ढूंढने के लिए हमने रिवर्स इमेज सर्च की मदद ली। सर्च में हमें यह वीडियो वीएसके जयपुर नाम के फेसबुक पेज पर अपलोड किया हुआ मिला, जिसे 20 जुलाई को साझा किया गया है।
दी गई जानकारी के मुताबिक, “राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबले जी ने राष्ट्रोत्थान परिषत, चामराजपेटे, बेंगलुरु में चंद्रयान3 का सफलतापूर्वक नेतृत्व करने पर इसरो अध्यक्ष डॉ. एस सोमनाथ जी को बधाई दी।”
विश्व संवाद केंद्र यानी वीएसके एक मीडिया एजेंसी है, जो प्रिंट और इलेक्ट्रॉनिक समेत अन्य मीडिया क्षेत्र में काम करती है।
वीडियो को साझा किए जाने की तारीख से स्पष्ट है कि यह चंद्रयान-3 की सफलतापूर्वक लैंडिंग से काफी पहले का है। चंद्रयान-3 मिशन 23 अगस्त को चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर लैंड करने में सफल रहा था।
सोशल मीडिया सर्च में हमें यह वीडियो वीएसके कर्नाटक के आधिकारिक एक्स हैंडल से साझा किया हुआ पोस्ट मिला, जिसमें इस वीडियो के बारे में जानकारी दी गई है।
दी गई जानकारी के मुताबिक, “सोशल मीडिया पर इसरो प्रमुख श्री सोमनाथ के आरएसएस कार्यालय जाने के दावे के साथ वीडियो वायरल हो रहा है, जो सच नहीं है। उन्होंने आरएसएस कार्यालय का दौरा नहीं किया था। यह एक पुराना वीडियो है, जब वह तपस प्रोजेक्ट का नेतृत्व करने वाले लोगों से मिले थे। तपस एक पहल है, जिसके तहत ग्रामीण इलाकों के बीपीएल छात्रों को आईआईटी प्रवेश परीक्षा के लिए दो साल की मुफ्त आवासीय कोचिंग दी जाती है।”
स्पष्ट है कि वायरल हो रहा वीडियो न तो चंद्रयान-3 की लैंडिंग के बाद का है और न ही यह इसरो प्रमुख सोमनाथ के आरएसएस कार्यालय जाने से संबंधित है। वायरल वीडियो क्लिप को लेकर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के दिल्ली कार्यकारिणी के सदस्य राजीव तुली से संपर्क किया। उन्होंने पुष्टि करते बताया कि वायरल वीडियो एस सोमनाथ के राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कार्यालय जाने का नहीं है। इसमें नजर आ रही जगह आरएसएस कार्यालय नहीं है।
न्यूज रिपोर्ट के मुताबिक, हाल ही में चंद्रयान-3 की लैंडिंग के बाद एक वीडियो सामने आया था, जिसमें इंडिगो फ्लाइट के क्रू-मेंबर्स इसरो चीफ का जोरदार स्वागत कर रहे हैं।
न्यूज रिपोर्ट के मुताबिक, इसरो प्रमुख जिस विमान से यात्रा कर रहे थे, उसके बारे में विवरण मौजूद नहीं है और न ही इंडिगो की तरफ से ऐसी कोई जानकारी साझा की गई है।
वायरल वीडियो को शेयर करने वाले यूजर की प्रोफाइल से विचारधारा विशेष से प्रेरित सामग्री शेयर की जाती है।
निष्कर्ष: चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग के बाद इसरो प्रमुख एस सोमनाथ के राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के कार्यालय जाने का दावा गलत है। इस दावे के साथ वायरल हो रहा वीडियो चंद्रयान-3 की सफलतापूर्वक लैंडिंग से काफी पहले का है।
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