Fact Check : यूपी में पकड़ी गईं महिलाओं का पुराना वीडियो मध्य प्रदेश के नाम पर हुआ वायरल

देश के पांच राज्‍यों में विधानसभा चुनावों के बीच एक वीडियो वायरल करते हुए दावा किया जा रहा है कि मध्‍य प्रदेश में फर्जी वोटरों की पुलिस ने अच्‍छे से खातिरदारी की है। इस वीडियो में महिला पुलिसकर्मियों को दो महिलाओं को पकड़ कर ले जाते हुए देखा जा सकता है। दावा किया गया है कि वीडियो मध्‍य प्रदेश में मतदान के दौरान का है।

Fact Check : यूपी में पकड़ी गईं महिलाओं का पुराना वीडियो मध्य प्रदेश के नाम पर हुआ वायरल

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। देश के पांच राज्‍यों में विधानसभा चुनावों के बीच एक वीडियो वायरल करते हुए दावा किया जा रहा है कि मध्‍य प्रदेश में फर्जी वोटरों की पुलिस ने अच्‍छे से खातिरदारी की है। इस वीडियो में महिला पुलिसकर्मियों को दो महिलाओं को पकड़ कर ले जाते हुए देखा जा सकता है। दावा किया गया है कि वीडियो मध्‍य प्रदेश में मतदान के दौरान का है।

विश्‍वास न्‍यूज ने इसकी जांच की। दावा गलत साबित हुआ। यूपी के पुराने वीडियो को कुछ लोग झूठे दावे के साथ वायरल कर रहे हैं।

क्‍या हो रहा है वायरल

फेसबुक पेज टूगेदर भारत ने 19 नवंबर को 33 सेकंड के एक वीडियो को पोस्‍ट करते हुए दावा किया, “मध्य प्रदेश में फर्जी वोटरों की खातिरदारी करती एमपी पुलिस। मोदीजी ने ऐसे विडियो वायरल करने के लिए ही इंटरनेट को सस्ता कर रखा है।”

https://twitter.com/NarpatSing73620/status/1725930246720135576

वायरल पोस्‍ट के कंटेंट को यहां ज्‍यों का त्‍यों लिखा गया है। इसे सच मानकर दूसरे यूजर्स भी वायरल कर रहे हैं। पोस्‍ट का आर्काइव वर्जन यहां देखें।

पड़ताल

विश्‍वास न्‍यूज ने मध्‍य प्रदेश के नाम से वायरल वीडियो की सत्‍यता पता लगाने के लिए सबसे पहले इनविड टूल की मदद ली। इस टूल के माध्‍यम से कई कीफ्रेम्‍स निकाले गए। फिर इन्‍हें गूगल लेंस टूल की मदद से सर्च किया गया। यही वीडियो हमें 15 फरवरी 2022 को एक एक्‍स हैंडल पर अपलोड मिला। नावेद नाम के एक्‍स हैंडल ने इसे यूपी के रामपुर का बताते हुए पोस्‍ट किया था। इस वीडियो को नीचे देखा जा सकता है।

इससे मिलते-जुलते और वायरल वीडियो हमें पुरानी तारीखों में अपलोड कई जगह मिला। करंट टीवी न्‍यूज ने 14 फरवरी 2022 को एक वीडियो को पोस्‍ट करते हुए लिखा, “रामपुर- फर्जी वोट डालने वाली दो महिलाओं को डीएम ने पकड़ा। रज़ा डिग्री कालेज में पकड़ी गई दो महिलाओं के ख़िलाफ़ एफआईआर दर्ज।”

इस वीडियो में दीवार पर लगे एक विज्ञापन में रामपुर लिखा हुआ नजर आया। इसके आधार पर हमने दैनिक जागरण, रामपुर के वरिष्‍ठ संवाददाता मोहम्‍मद मुस्लेमीन से संपर्क किया। उनके साथ वायरल पोस्‍ट को साझा किया। उन्‍होंने जानकारी देते हुए बताया कि वर्ष 2022 में चुनाव के दौरान दो महिलाओं को फर्जी मतदान करने के आरोप में पकड़ा गया था। वीडियो उसी दौरान का है।

पड़ताल के अंतिम चरण में हमने फेसबुक पेज टूगेदर भारत की जांच की। इस पेज की सोशल स्‍कैनिंग में पता चला कि यूजर दिल्‍ली में रहता है। इसे 3.8 हजार लोग फॉलो करते हैं।

निष्‍कर्ष : विश्‍वास न्‍यूज की पड़ताल में वायरल पोस्‍ट फर्जी साबित हुई। यूपी के रामपुर के पुराने वीडियो को कुछ लोग मध्‍य प्रदेश के नाम से वायरल करके झूठ फैला रहे हैं।

Misleading
Symbols that define nature of fake news
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