हमारी पड़ताल में वायरल पोस्ट पूरी तरह फर्जी पाई गई। नीरव मोदी ने ऐसा कोई बयान नहीं दिया है।
नई दिल्ली (Vishvas News)। देश में लोकसभा चुनाव के बीच नीरव मोदी से जुड़ा एक वीडियो वायरल हो रहा है। 1:33 मिनट के इस वीडियो में दावा किया गया है कि पंजाब नेशनल बैंक घोटाला मामले के मुख्य आरोपी नीरव मोदी ने लंदन की एक अदालत में अपने बयान में बताया है कि भारतीय जनता पार्टी के नेताओं ने भारत से भागने में उनकी मदद की और इसके बदले में उसने इन नेताओं को कथित तौर पर 456 करोड़ रुपये की रिश्वत दी।
विश्वास न्यूज एक बार पहले भी इस दावे की जांच कर चुका है। हमारी पड़ताल में वायरल पोस्ट पूरी तरह फर्जी पाई गई। नीरव मोदी ने ऐसा कोई बयान नहीं दिया है।
फेसबुक यूजर ‘सपोर्टर दिलीप मौर्य गोरखपुर’ ने 11 मई को एक वीडियो को अपलोड करते हुए दावा किया, “नीरव मोदी का खुलासा, बीजेपी की धड़कन तेज, कम से कम 10 ग्रुप में भेज कर हक का साथ देवें। बहुत स्पीड से इसको करें फॉरवर्ड। पब्लिक को होना चाहिए हकीकत की जानकारी।”
वायरल पोस्ट के कंटेंट को यहां ज्यों का त्यों ही लिखा गया है। इसके आर्काइव वर्जन को यहां देखा जा सकता है। सोशल मीडिया के अलग-अलग प्लेटफॉर्म पर कई अन्य यूजर्स ने इस वीडियो को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।
विश्वास न्यूज पहले भी वायरल पोस्ट के दावे की जांच कर चुका है। नीरव मोदी से जुड़ा यह फर्जी दावा अक्सर सोशल मीडिया पर वायरल होता रहता है। इस बार इसे लोकसभा चुनाव के बीच में वायरल करके झूठ फैलाने की कोशिश की जा रही है।
विश्वास न्यूज ने सबसे पहले नीरव मोदी केस में ताजा अपडेट जानने के लिए गूगल ओपन सर्च टूल का इस्तेमाल किया। यहां सर्च करने पर हमें नीरव मोदी से जुड़ी खबरें कई न्यूज वेबसाइट पर मिली। एबीपी लाइव डॉट कॉम पर 7 मई 2024 को पब्लिश एक खबर में बताया गया, “भगोड़े नीरव मोदी को यूनाइटेड किंगडम की एक कोर्ट से बड़ा झटका लगा है। दरअसल, ईडी के सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, नीरव मोदी ने लंबी कैद का हवाला देते हुए 16 अप्रैल 2024 को यूके में वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट की कोर्ट में 5वीं बार जमानत याचिका दायर की थी, लेकिन 7 मई 2024 को सुनवाई के दौरान इसे खारिज कर दिया गया।”
पूरी खबर को यहां पढ़ा जा सकता है।
विश्वास न्यूज ने जांच को आगे बढ़ाते हुए दावे के आधार पर कीवर्ड बनाकर सर्च किया। हमें एक भी ऐसी विश्वसनीय खबर नहीं मिली, जो वायरल दावे की पुष्टि कर सके।
जागरण डॉट कॉम पर भी इसे लेकर 7 मई 2024 को एक खबर प्रकाशित की गई। इसमें बताया गया, “पंजाब नेशनल बैंक से करोड़ों रुपये का घोटाला कर फरार हुए भगोड़े कारोबारी नीरव मोदी ब्रिटेन की कोर्ट से झटका लगा। नीरव ने मंगलवार को ब्रिटेन में एक नई जमानत याचिका दायर की, जिसे न्यायाधीश ने खारिज कर दिया। नीरव पांच साल से अधिक समय से लंदन की जेल में है।”
खबर में आगे बताया गया, “भारत ने पीएनबी घोटाले और मनी लॉन्ड्रिंग मामले में नीरव मोदी के प्रत्यर्पण की मांग की है। इस मामले में नीरव प्रत्यर्पण का मुकदमा हार चुका है। लंदन में वेस्टमिंस्टर कोर्ट के जज जान जानी ने अपने फैसले में कहा कि जमानत के खिलाफ पर्याप्त आधार हैं। इस बात की आशंका बनी हुई है कि नीरव गवाहों को प्रभावित कर सकता है या संभव है कि वह मुकदमे की सुनवाई के लिए अदालत में पेश न हो।”
पिछली पड़ताल के दौरान विश्वास न्यूज ने वायरल दावे को लेकर बिजनेस स्टैंडर्ड के डिप्टी न्यूज एडिटर नीलकमल सुंदरम से संपर्क किया था। उन्होंने बताया था कि लंदन की अदालत में नीरव मोदी ने ऐसा कोई बयान नहीं दिया है, जैसा कि वायरल पोस्ट में दावा किया गया है।
विश्वास न्यूज ने वायरल दावे को लेकर भाजपा के उत्तर प्रदेश के राज्य प्रवक्ता अवनीश त्यागी से भी बात की थी। उनका कहना है कि यह पहली बार नहीं है, जब भाजपा के बदनाम करने के लिए यह दावा वायरल हुआ हो। पहले भी कई बार ये दावा सोशल मीडिया पर बीजेपी की छवि खराब करने के लिए शेयर किया गया है।
पड़ताल के अंत में फर्जी वीडियो को पोस्ट करने वाले यूजर की जांच की गई। पता चला कि फेसबुक यूजर ‘सपोर्टर दिलीप मौर्य गोरखपुर’ को पांच हजार से ज्यादा लोग फॉलो करते हैं। इससे ज्यादा जानकारी इस अकाउंट पर नहीं मिली।
निष्कर्ष : विश्वास न्यूज की पड़ताल में वायरल पोस्ट बेबुनियाद साबित हुई। नीरव मोदी ने लंदन की अदालत में ऐसा कोई बयान नहीं दिया है, जैसा कि वायरल वीडियो में दावा किया जा रहा है।
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