Fact Check : राहुल गांधी का ‘पंप से पैसा निकालने वाला’ बयान फिर से गलत दावे से वायरल, एडिटेड है वीडियो

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। कांग्रेस नेता राहुल गांधी एक बार फिर से निशाने पर हैं। उनके एक वीडियो को वायरल करते हुए उनका मजाक उड़ाने की कोशिश की जा रही है। इसमें राहुल गांधी को पंप से पैसा निकालने की बात कहते हुए दिखाया गया है।

विश्‍वास न्‍यूज ने एक बार पहले भी इस वीडियो की जांच की थी। पड़ताल में पता चला कि राहुल गांधी के पूरे बयान में से एक हिस्‍से के साथ छेड़छाड़ करके वायरल किया गया है। असली वीडियो में उन्‍होंने नोटबंदी और जीएसटी का की बात करते हुए पंप का उदाहरण देते हुए जनता से बात की थी।

क्‍या हो रहा है वायरल

एक्‍स हैंडल मनोज श्रीवास्‍तव ने एक दिसंबर को राहुल गांधी के वीडियो को अपलोड करते हुए दावा किया, ‘आलू से सोना के बाद पेश है पंप से पैसा।’

इस वीडियो में राहुल गांधी को यह बोलते हुए देखा जा सकता है, ”भाइयों और बहनों पैसे की कोई कमी नहीं है इस देश में। यहां पर हमारे किसान भाई बैठे हैं। आपने वो पंप देखा है न, जो ट्यूबवेल वाला पंप होता है। उसको ऑन करते हो तो पानी निकलता है न, वैसा ही पंप लगा रखा है। हंसो मत। आपकी जेबों में से पैसा निकाल रहा है वो पंप। उधर बटन दबता है। दिल्ली में, मुंबई में बटन दबता है पंप चालू होता है। किसानों की जेब में से पैसा निकलता है। मजदूरों की जेब में से पैसा निकलता है।”

पोस्‍ट के कंटेंट को यहां ज्‍यों का त्‍यों लिखा गया है। इसे फेसबुक, ट्विटर और वॉट्सऐप पर भी वायरल किया जा रहा है। आकाईव वर्जन यहां देखें।

पड़ताल

विश्‍वास न्‍यूज ने राहुल गांधी के वायरल वीडियो की एक बार पहले भी पड़ताल की थी। उस वक्‍त सच्‍चाई का पता लगाने के लिए सबसे पहले हमने गूगल ओपन सर्च टूल का सहारा लिया था। असली वीडियो टीवी9 भारतवर्ष के आधिकारिक यूट्यूब चैनल पर मिला। 14 नवंबर 2022 को अपलोड इस वीडियो से पता चला कि राहुल गांधी ने ‘भारत जोड़ो यात्रा’ (Bharat Jodo Yatra) के दौरान महाराष्ट्र के नांदेड़ में एक जनसभा को संबोधित किया था। वीडियो को शुरू से देखने से पता चला कि राहुल गांधी केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए नोटबंदी और जीएसटी के अलावा अन्‍य इश्‍यू को उठाते हुए जनसभा को संबोधित कर रहे थे।

असली वीडियो में 5:50 के बाद राहुल गांधी यह बोलते हैं, “किसान को एमएसपी नहीं मिलती। क्‍यों नहीं मिलती। कर्जा माफ नहीं होता। क्‍यों नहीं होता। मजदूर भी यही कहता है। मनरेगा का पैसा नहीं मिलता। काम नहीं मिलता। क्‍यों नहीं मिलता। भाइयों और बहनों पैसे की कोई कमी नहीं है इस देश में। यहां पर हमारे किसान भाई बैठे हैं। आपने वो पंप देखा है न, जो ट्यूबवेल वाला पंप होता है। उसको ऑन करते हो तो पानी निकलता है न, वैसा ही पंप लगा रखा है। हंसो मत। आपकी जेबों में से पैसा निकाल रहा है वो पंप। उधर बटन दबता है। दिल्ली में, मुंबई में बटन दबता है पंप चालू होता है। किसानों की जेब में से पैसा निकलता है। मजदूरों की जेब में से पैसा निकलता है। नोटबंदी की। जीएसटी लगू की। आप किसी भी छोटे व्‍यापारी से पूछ लो। स्‍मॉल मीडियम बिजनेस वाले से पूछ लो।”

इस वीडियो को देखने से यह स्‍पष्‍ट हो गया कि राहुल गांधी नोटबंदी और जीएसटी के नकारात्‍मक प्रभाव के बारे में जनता से रूबरू हो रहे थे। लेकिन सोशल मीडिया पर उनके आधे-अधूरे वीडियो वायरल करके झूठ फैलाने की कोशिश की गई।

राहुल गांधी का यह वीडियो कांग्रेस के यूट्यूब चैनल पर भी मौजूद है। इसे 10 नवंबर को अपलोड करते हुए नांदेड का बताया गया।

वायरल वीडियो को लेकर विश्‍वास न्‍यूज ने कांग्रेस के प्रवक्‍ता अखिलेश प्रताप सिंह से भी संपर्क किया था। उन्‍होंने इसकी सच्‍चाई बताते हुए इसे एडिटेड बताया।

जांच के अंत में फर्जी पोस्‍ट करने वाले यूजर की जांच की गई। एक्‍स हैंडल मनोज श्रीवास्‍तव को करीब 14 हजार लोग फॉलो करते हैं। यूजर यूपी के प्रयागराज का रहने वाला है। यह हैंडल अगस्‍त 2022 को बनाया गया।

पिछली पड़ताल को यहां पढ़ा जा सकता है।

निष्‍कर्ष : विश्‍वास न्‍यूज की पड़ताल में वायरल वीडियो एडिटेड साबित हुआ। राहुल गांधी का मजाक उड़ाने के लिए उनके भाषण के एक हिस्‍से को काटकर गलत संदर्भ के साथ वायरल किया गया।

Misleading
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