Fact Check : न्‍यूज चैनल के नाम पर वायरल एग्जिट पोल का यह ग्राफिक्स फर्जी है

विश्वास न्‍यूज की जांच में एग्जिट पोल के नाम पर वायरल पोस्‍ट फर्जी साबित हुई। सात मार्च के शाम साढ़े छह बजे तक चुनाव आयोग ने एग्जिट पोल पर बैन लगाया हुआ है। वायरल ग्राफिक्स मॉर्फ्ड है।

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। यूपी विधानसभा चुनाव के लिए मतदान के बीच सोशल मीडिया के विभिन्‍न प्‍लेटफॉर्म पर एग्जिट पोल के नाम पर एक न्‍यूज चैनल का फर्जी ग्राफिक्स वायरल हो रहा है। इसमें दावा किया गया है कि जी न्‍यूज और डिजाइन बॉक्‍स्ड के एग्जिट पोल में समाजवादी पार्टी सरकार बनाती दिख रही है। विश्‍वास न्‍यूज ने वायरल पोस्‍ट की जांच की। यह फर्जी निकली। जी न्‍यूज के ओपिनियल पोल के गाफिक्स के साथ छेड़छाड़ करके फर्जी तरीके से इसे बनाया गया है।

क्‍या हो रहा है वायरल

फेसबुक यूजर आशुतोष यादव ने 27 फरवरी को एक न्‍यूज चैनल के फर्जी ग्राफिक को वायरल करते हुए दावा किया : ‘आज का एग्जिट पोल बता रहा कि उत्तर प्रदेश में अखिलेश जी की सरकार आ रही है..’

ग्राफिक में लिखा गया : एग्जिट पोल यूपी – कितनी सीटें

इसमें सपा के लिए 227-230 और भाजपा को 155-158 सीट दिखाते हुए लिखा गया कि यूपी में अखिलेश यादव बना रहे हैं सरकार।

फेसबुक पोस्‍ट के कंटेंट को यहां ज्‍यों का त्‍यों लिखा गया है। इसके आकाईव्‍ड वर्जन को यहां देखें। सोशल मीडिया पर कई अन्य यूजर्स ने इसे समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।

पड़ताल

विश्‍वास न्‍यूज ने वायरल पोस्‍ट के दावे की सच्‍चाई जानने के लिए सबसे पहले जी न्‍यूज के यूट्यूब चैनल पर मौजूद पोल के बारे में जानकारी जुटाना शुरू किया। वहां हमें एग्जिट पोल के नाम पर कोई वीडियो नहीं मिला। हालांकि, कुछ न्‍यूज में ओपिनियन पोल के बारे में जरूर बताया गया था। 26 जनवरी 2022 को प्रसारित एक खबर में हमें कमोबेश वैसी ही ग्राफिक्स डिजाइन मिली, जैसा कि एग्जिट पोल के नाम पर वायरल किया जा रहा है। वीडियो के 7:50 मिनट पर इसे नीचे देखा जा सकता है।

इसी तरह जी न्‍यूज और डिजाइन बॉक्स्ड की ओर से किए गए ओपिनयन पोल में भाजपा को 241-263 और सपा को 130-151 सीट दी गई है। इसे आप नीचे देख सकते हैं।

वायरल पोस्‍ट को लेकर विश्‍वास न्‍यूज ने जी न्‍यूज के एक सीनियर एडिटर से संपर्क किया। उनके साथ वायरल पोस्‍ट को वॉट्सऐप पर शेयर किया। उन्‍होंने बताया कि वायरल पोस्‍ट फेक है। जी न्‍यूज ने ऐसा कोई एग्टिज पोल अपने चैनल पर नहीं दिखाया था।

विश्‍वास न्‍यूज ने वायरल ग्राफिक्स को लेकर डिजाइन बॉक्स्ड के डायरेक्टर नरेश अरोड़ा से वॉट्सऐप पर संपर्क किया। उन्होंने इसे फेक बताया।

गौरतलब है कि चुनाव आयोग ने 10 फरवरी से लेकर 7 मार्च को शाम साढ़े छह बजे तक एग्जिट पोल पर प्रतिबंध लगाया हुआ है। इसे न तो प्रिंट मीडिया में छापा जा सकता है और ना ही इलेक्‍ट्रॉनिक मीडिया पर दिखाया जा सकता है। पूरी खबर यहां पढ़ें। ऐसे में एग्जिट पोल के नाम पर वायरल ग्राफिक्स पूरी तरह फर्जी साबित हुआ।

विश्‍वास न्‍यूज ने पड़ताल के अंत में फर्जी पोस्‍ट करने वाले यूजर की जांच की। फेसबुक यूजर आशुतोष यादव की सोशल स्‍कैनिंग में पता चला कि यूजर के दो हजार से ज्‍यादा दोस्‍त हैं। यूजर मणिपुर के रहने वाले हैं।

निष्कर्ष: विश्वास न्‍यूज की जांच में एग्जिट पोल के नाम पर वायरल पोस्‍ट फर्जी साबित हुई। सात मार्च के शाम साढ़े छह बजे तक चुनाव आयोग ने एग्जिट पोल पर बैन लगाया हुआ है। वायरल ग्राफिक्स मॉर्फ्ड है।

False
Symbols that define nature of fake news
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