नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया पर वायरल हो रही एक तस्वीर में एक घायल युवक को देखा जा सकता है। दावा किया जा रहा है कि यह तस्वीरें लखनऊ की है, जहां विरोध प्रदर्शन कर रहे बेरोजगार छात्रों को पुलिस ने निर्ममतापूर्वक पीटा।
विश्वास न्यूज की जांच में यह दावा भ्रामक निकला। जिस तस्वीर को उत्तर प्रदेश में ग्रुप बी और ग्रुप सी की नौकरियों के लिए संविदा पर भर्ती किए जाने के प्रस्ताव के खिलाफ आंदोलन कर रहे छात्रों का बताकर वायरल किया जा रहा है, वह विरोध प्रदर्शन की पुरानी तस्वीर है, जिसे हाल का बताकर भ्रामक दावे के साथ वायरल किया जा रहा है।
सोशल मीडिया यूजर (आर्काइव लिंक) ने ‘Berojgaar Siddharth’ ने तस्वीर को शेयर करते हुए लिखा है, ”#योगीजीनहीचाहिये_संविदा बेरोजगार छात्रों को आज लखनऊ में नौकरी देते हुवे …योगी जी जियो महाराज आप शेर हो शेर।”
सोशल मीडिया के अलग-अलग प्लेटफॉर्म पर भी कई अन्य यूजर्स ने इस तस्वीर को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।
वायरल पोस्ट में तस्वीर का इस्तेमाल किया गया है, इसलिए उसके ओरिजिनल सोर्स का पता लगाने के लिए हमने गूगल रिवर्स इमेज सर्च की मदद ली। सर्च में हमें यह तस्वीर राहुल गांधी के वेरिफाइड ट्विटर हैंडल पर मिली। तीन नवंबर 2018 को अपलोड की गई तस्वीरों के साथ दी गई जानकारी के मुताबिक, उत्तर प्रदेश के शिक्षक अभ्यर्थियों के प्रदर्शन पर पुलिस ने लाठी चलाई, जिसमें कई छात्र घायल हुए।
सर्च में हमें यह तस्वीर फेसबुक यूजर ‘रेनू पान्डेय’ की प्रोफाइल पर मिली, जिसे तीन नवंबर 2018 को ही अपलोड किया गया है। इस पोस्ट में कई अन्य तस्वीरें भी हैं। पोस्ट में दी गई जानकारी के मुताबिक, यह सभी तस्वीरें लखनऊ में हुए विरोध प्रदर्शन की है। पोस्ट में दी गई जानकारी की सत्यता के लिए हमने न्यूज सर्च का सहारा लिया।
सर्च में हमें ‘अमर उजाला’ की वेबसाइट पर दो नवंबर 2018 को प्रकाशित फोटो गैलरी मिली, जिसमें इस विरोध प्रदर्शन की अन्य तस्वीरों का इस्तेमाल किया गया है। फोटो गैलरी के साथ दी गई जानकारी के मुताबिक, उत्तर प्रदेश के लखनऊ में 68500 सहायक अध्यापक की भर्ती को लेकर विधानसभा पर प्रदर्शन हुआ था। इसी प्रदर्शन में शामिल प्रदर्शनकारियों पर पुलिस ने लाठीचार्ज किया था, जिसमें कई लोग घायल हुए थे।
विश्वास न्यूज ने इन तस्वीरों को लेकर लखनऊ पुलिस के पीआरओ से संपर्क किया। उन्होंने हमें बताया, ‘यह तस्वीरें पुरानी है। लखनऊ में हुए कल के विरोध प्रदर्शन में कोई घायल नहीं हुआ।’ गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश में संविदा भर्ती के खिलाफ विरोध प्रदर्शन हो रहा है। उत्तर प्रदेश कांग्रेस की तरफ से छात्र संगठन एनएसयूआई के कार्यकर्ता इस प्रक्रिया का विरोध कर रहे हैं।
न्यूज रिपोर्ट के मुताबिक, योगी सरकार के पांच साल संविदा के विरोध में हुआ प्रदर्शन हिंसक हो उठा, जिसके बाद पुलिस को लाठियां भांजनी पड़ी।
वायरल तस्वीर को गलत दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर की प्रोफाइल विचारधारा विशेष से प्रेरित है। यह प्रोफाइल मई 2020 से ट्विटर पर सक्रिय है।
निष्कर्ष: उत्तर प्रदेश में संविदा व्यवस्था के खिलाफ हुए प्रदर्शन के नाम पर वायरल हो रही तस्वीर करीब दो साल पुरानी तस्वीर है, जिसे हाल का बताकर भ्रामक दावे के साथ वायरल किया जा रहा है।
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