नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। COVID-19 संकट की वजह से वैश्विक अर्थव्यवस्था में भारी गिरावट का अनुमान है। कई वैश्विक एजेंसियों ने इसे देखते हुए देशों के ग्रोथ रेट के अनुमान में कटौती की है। इसी संदर्भ में सोशल मीडिया पर एक ग्राफिक्स वायरल हो रहा है, जिसमें दावा किया गया है कि भारत ने COVID-19 संकट के समय में GDP (सकल घरेलू उत्पाद) के मामले में अन्य देशों को पछाड़ दिया।
वायरल हो रहे ग्राफिक्स में भारत के लिए 1.9% ग्रोथ रेट का दावा किया गया है, जिसमें अन्य 16 देशों के मुकाबले भारत की जीडीपी ग्रोथ मजबूत बताई गई है। हालांकि, इस ग्राफिक्स का न तो स्रोत बताया गया है न ही इसमें इस्तेमाल किए गए आंकड़ों की अवधि का जिक्र किया गया है।
विश्वास न्यूज की पड़ताल में यह दावा भ्रामक निकला। वायरल हो रहा आंकड़ा अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) की तरफ से जारी किए गए अप्रैल महीने के अनुमान पर आधारित है, जिसमें भारत की वृद्धि दर के 1.9 फीसदी रहने का अनुमान जताया गया था, जो ग्राफिक्स में प्रदर्शित 16 अन्य देशों की तुलना में बेहतर है। हालांकि, जून की रिपोर्ट में यह स्थिति बदल गई। जून में IMF की तरफ से जारी की गई रिपोर्ट के मुताबिक वित्त वर्ष 2020 में भारत की ग्रोथ रेट (-) 4.5 फीसदी रहने की उम्मीद है।
सोशल मीडिया यूजर ‘Vipin Agrawal’ ने वायरल पोस्ट (आर्काइव लिंक) को शेयर करते हुए लिखा है, ”सही समय पर सही फैसले लेने का नतीजा है कि देश की GDP दुनियाँ में सबसे आगे है 👏👌#IndiaFirst #GDP #PMModi.”
ट्विटर पर भी कई अन्य यूजर्स ने इस ग्राफिक्स को समान दावे के साथ शेयर किया है।
ग्राफिक्स में भारत, चीन समेत अन्य देशों के जीडीपी ग्रोथ रेट का आंकड़ा लिखा हुआ है। ग्राफिक्स में भारत, चीन और इंडोनेशिया का ग्रोथ रेट पॉजिटिव है, जबकि अन्य देशों के ग्रोथ रेट नेगेटिव में हैं। वायरल हो रहे ग्राफिक्स में कहीं भी आंकड़ों के स्रोत का उल्लेख नहीं है। इसलिए हमने सबसे पहले इन आंकड़ों का सोर्स खोजने की कोशिश की। चूंकि, मौजूदा वित्त वर्ष की पहली तिमाही के आंकड़ें अभी आने बाकी है, इसलिए इन आंकड़ों के अनुमान होने की संभावना ज्यादा है।
न्यूज रिपोर्ट के मुताबिक, भारत के राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय की तरफ से मौजूदा वित्त वर्ष की पहली तिमाही के ग्रोथ रेट के आंकड़ों को 31 अगस्त को जारी किया जाएगा।
ग्राफिक्स में भारत के लिए 1.9 फीसदी ग्रोथ रेट का जिक्र किया गया है, इसलिए हमने ”1.9 Per Cent Growth Rate” की-वर्ड से न्यूज सर्च किया। सर्च में हमें ऐसे कई न्यूज रिपोर्ट्स के लिंक मिले, जिसमें अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) के हवाले से बताया गया है कि कोरोना वायरस की वजह से हुए लॉकडाउन के कारण 2020 में भारत की ग्रोथ रेट 1.9 फीसदी रहेगी।
आईएमएफ ने अपनी रिपोर्ट में वित्त वर्ष 2020-21 के लिए भारत के ग्रोथ रेट के अनुमान को 5.8 फीसदी (जनवरी) से घटाकर 1.9 फीसदी कर दिया है। वहीं, चीन के लिए वित्त वर्ष में 2020 में 1.2 फीसदी और वित्त वर्ष 2021 में 9.2 फीसदी ग्रोथ रेट का अनुमान लगाया गया है।
विश्व बैंक, अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष समेत अन्य एजेंसियों के अलावा देशों का केंद्रीय बैंक ग्रोथ रेट का अनुमान जारी करता है। चूंकि, वायरल ग्राफिक्स में एक नहीं, बल्कि 17 देशों की जीडीपी का जिक्र है, इसलिए यह अनुमान लगाना आसान था कि किसी वैश्विक एजेंसी के ही आंकड़ों का इस्तेमाल वायरल ग्राफिक्स में किया गया है।
अन्य देशों के ग्रोथ रेट के आंकड़ों को चेक करने के लिए हमने IMF के डेटा बेस को सर्च किया। IMF की वेबसाइट पर हमें अप्रैल महीने की ‘World Economic Outlook, April 2020: The Great Lockdown’ शीर्षक से प्रकाशित रिपोर्ट मिली, जिसमें भारत के साथ अन्य देशों के ग्रोथ रेट के अनुमान को शामिल किया गया है। इन्हीं आंकड़ों का इस्तेमाल वायरल ग्राफिक्स में भी किया गया है।
अप्रैल की रिपोर्ट में भारत का ग्रोथ रेट 1.9 फीसदी और चीन का 1.2 फीसदी रहने का अनुमान लगाया गया था। अर्थव्यवस्था पर COVID-19 के संभावित असर और होने वाली रिकवरी के अनुमान में बार-बार बदलाव आ रहा है। इसलिए हमने एक बार फिर से IMF के डेटा बेस को सर्च किया।
सर्च में हमें जून महीने की आर्थिक परिदृश्य की रिपोर्ट ‘A Crisis Like No Other, An Uncertain Recovery’ मिली, जिसमें वित्त वर्ष 2020 के लिए भारतीय अर्थव्यवस्था की वृद्धि दर का अनुमान नेगेटिव है।
IMF की जून की रिपोर्ट के मुताबिक, वित्त वर्ष 2020 में भारत के लिए (-) 4.5 फीसदी ग्रोथ रेट, जबकि वित्त वर्ष 2021 में सकारात्मक 6.0 फीसदी ग्रोथ रेट का अनुमान लगाया गया है।रिपोर्ट के मुताबिक, 2020 में चीन की अर्थव्यवस्था के एक फीसदी की दर से आगे बढ़ने का अनुमान है।
भारतीय रिजर्व बैंक ने भी अपनी सालाना रिपोर्ट 2019-20 में आईएमएफ के इस ताजा अनुमान को शामिल किया है, जिसके मुताबिक वित्त वर्ष 2020-21 में भारत का ग्रोथ रेट (-) 4.5 रहने का अनुमान है।
जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय के रिटायर्ड प्रोफेसर और अर्थशास्त्री अरुण कुमार ने बताया, ‘अब तो पॉजिटिव ग्रोथ रेट का सवाल ही नहीं है, बल्कि आने वाले दिनों में मौजूदा अनुमान फिर से संशोधित होगा। जहां तक चालू वित्त वर्ष के लिए भारत के जीडीपी ग्रोथ रेट का अनुमान है, तो (-) 4.5 फीसदी का रेट भी वास्तविक तस्वीर पेश नहीं कर रहा है। यह और भी ज्यादा नेगेटिव जोन में है।’
अब बारी थी इस पोस्ट को शेयर करने वाले अकाउंट की सोशल स्कैनिंग करने की। हमने पाया कि यूजर के 1,867 फेसबुक मित्र हैं। यूजर के प्रोफाइल इंट्रो में अधिक जानकारी नहीं है, लेकिन उनके अकाउंट द्वारा शेयर किए गए अधिकतर पोस्ट से ज्ञात होता है कि वह बीजेपी समर्थक हैं।
निष्कर्ष: COVID-19 संकट के समय में GDP के मामले में अन्य देशों से भारत के आगे निकलने के दावे के साथ वायरल हो रहा ग्राफिक्स भ्रामक है। IMF ने वित्त वर्ष 2020 में भारत के लिए (-) 4.5 फीसदी ग्रोथ रेट का अनुमान जाहिर किया है, जबकि वायरल ग्राफिक्स में इसे 1.9 फीसदी बताया गया है, जो अप्रैल महीने का अनुमान है।
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