नई दिल्ली (विश्वास टीम)। सोशल मीडिया में आतंकी सैयद सलाउद्दीन से जुड़ी एक पोस्ट वायरल हो रही है। इसमें दावा किया गया है कि सलाउद्दीन ने 1987 में कांग्रेस की टिकट पर कश्मीर में विधानसभा का चुनाव लड़ा था। विश्वास टीम की जांच में पता चला कि वायरल पोस्ट गलत है।
सोशल मीडिया में आतंकी सैयद सलाउद्दीन और कांग्रेस के संबंध की फर्जी पोस्ट अक्सर वायरल होती रहती हैं। फेसबुक और ट्विटर पर फैलाई जा रही इस पोस्ट में कांग्रेस और देशद्रोही बताते हुए कहा जा रहा है कि वैश्विक आतंकी सैयद सलाउद्दीन ने 1987 में कांग्रेस की तरफ से कश्मीर में विधानसभा का चुनाव लड़ा था।
वायरल पोस्ट में सैयद सलाउद्दीन, कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और सोनिया गांधी की तस्वीरों का प्रयोग किया गया है।
विश्वास टीम ने वायरल हो रही पोस्ट की सच्चाई जानने के लिए सबसे पहले यूसुफ शाह सैयद उर्फ सैयद सलाउद्दीन के विकीपीडिया पेज पर गए। वहां से हमें पता चला कि सैयद सलाउद्दीन ने 1987 में मुस्लिम यूनाइटेड फ्रंट के टिकट पर श्रीनगर की अमीराकदल विधानसभा सीट से चुनाव लड़ा था,लेकिन वह हार गया। जीतने वाले नेता का नाम गुलाम मोहिदीन शाह था। उन्होंने नेशनल कॉन्फ्रेंस की तरफ से जीत दर्ज कराई थी। सैयद सलाउद्दीन दूसरे नंबर पर रह गया था।
इसके बाद हमने गूगल में Sayeed Salahudeen Election 1987 टाइप करके सर्च किया। यहां हमें कई खबरें मिली। हिन्दुस्तान टाइम्स की एक रिपोर्ट के अनुसार, सैयद सलाउद्दीन ने मुस्लिम यूनाइटेड फ्रंट के टिकट पर 1987 में चुनाव लड़ा था। HT की वेबसाइट पर यह रिपोर्ट 27 जून 2017 को प्रकाशित की गई थी। इसमें विस्तार से सलाउद्दीन के बारे में जानकारी दी गई थी।
अब बारी थी यह जानने की कि 1987 के विधानसभा चुनाव में यूसुफ शाह उर्फ सैयद सलाउद्दीन को कितने वोट मिले थे? elections.in नाम की वेबसाइट पर हमें पिछले चुनावों के आंकड़ें मिले। इसके मुताबिक, इसे कुल 15,278 वोट मिले थे,जबकि जीतने वाले उम्मीदवार गुलाम मोहिदीन शाह को 19,567 वोट मिले थे।
सलाउद्दीन इस समय हिज़बुल मुजाहिद्दीन का प्रमुख होने के साथ-साथ जिहाद काउंसिल का चेयरमैन भी है। सलाउद्दीन मूल रूप से जम्मू-कश्मीर के बडगाम का रहने वाला है। 71 साल का सलाउद्दीन पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में रहता है। अमेरिका ने सलाउद्दीन को वैश्विक आतंकवादी (एसडीजीटी) घोषित किया हुआ है। इसके बारे में आप ‘कौन है यूसुफ शाह सैयद उर्फ सैयद सलाहुद्दीन’ पर क्लिक करके भी जान सकते हैं।
इसके बाद हमने फर्जी पोस्ट करने वाले फेसबुक यूजर Er Kandya Abhas Ashok (abhas.a.kandya) के अकाउंट की सोशल स्कैनिंग की। इसके लिए हमने http://stalkscan.com की मदद ली। अहमदाबाद के रहने वाले इंजीनियर कांद्या आभास अशोक एक खास विचारधारा से जुड़े हुए हैं।
निष्कर्ष : हमारी पड़ताल में पता चला कि कांग्रेस की टिकट पर आतंकी सैयद सलाउद्दीन के चुनाव लड़ने की पोस्ट फर्जी है। सलाउद्दीन ने मुस्लिम यूनाइटेड फ्रंट की तरफ से चुनाव लड़ा था। बात 1987 के चुनाव की है।
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