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Fact Check: लद्दाख में जवानों की शहादत को लेकर कन्हैया कुमार के नाम से वायरल हो रहा ट्वीट फर्जी है

लद्दाख में शहीद हुए जवानों को लेकर जेएनयू छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार के नाम से वायरल हो रहा ट्वीट फर्जी है। कन्हैया कुमार ने ऐसा कोई ट्वीट नहीं किया। उनके नाम से फर्जी ट्वीट को वायरल किया जा रहा है।

  • By: Abhishek Parashar
  • Published: Jun 20, 2020 at 04:40 PM
  • Updated: Jun 20, 2020 at 05:20 PM

नई दिल्ली (विश्वास टीम)। भारत और चीन के बीच हुए सैन्य विवाद के संदर्भ में सोशल मीडिया पर जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार के नाम से एक ट्वीट वायरल हो रहा है।

विश्वास न्यूज की पड़ताल में कन्हैया कुमार के नाम से वायरल हो रहा ट्वीट फर्जी निकला। उन्होंने लद्दाख में शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि देते हुए एकजुटता की अपील की थी।

क्या है वायरल पोस्ट में?

फेसबुक यूजर ‘Amit Singham‎’ ने वायरल पोस्ट (आर्काइव लिंक) को शेयर करते हुए लिखा है, ”हा लाला प्रोडक्ट की सोच देख लो भाइयों।”

कन्हैया कुमार के नाम से वायरल हो रहा फर्जी ट्वीट

पड़ताल किए जाने तक इस पोस्ट को करीब सौ से अधिक लोग शेयर कर चुके हैं।

पड़ताल

वायरल पोस्ट में कन्हैया कुमार के ट्विटर हैंडल का स्क्रीन शॉट लगा हुआ है, जिसमें लिखा हुआ है, ‘चौकीदार ने चुनाव को देखते हुए पुलवामा की तरह चीन के साथ मिलकर 20 सैनिकों की बलि ले दी।’

वायरल ट्वीट के स्क्रीनशॉट में 16 जून की तारीख नजर आ रही है। हमने कन्हैया कुमार के वेरिफाइड ट्विटर हैंडल को चेक किया। 16 जून को कन्हैया कुमार ने एक ट्वीट किया है, जिसमें उन्होंने लद्दाख में शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि देते हुए लिखा है, ‘भारत की संप्रभुता और अखंडता पर किसी भी हमले के खिलाफ सरकार को मजबूती से कार्रवाई करनी चाहिए। किसी भी संकट की घड़ी में हमारा देश एक था और एकजुट रहेगा। शहीदों को नमन!!’

उन्होंने 16 जून को रात दस बजकर 49 मिनट पर यह ट्वीट किया और करीब पांच मिनट बाद इस ट्वीट के स्क्रीन शॉट को एडिट कर फर्जी दावे के साथ वायरल कर दिया गया। वायरल हो रहे ट्वीट के स्क्रीनशॉट में फॉन्ट और एडिटिंग को साफ-साफ देखा जा सकता है।

कन्हैया कुमार के नाम से वायरल हो रहा फर्जी ट्वीट, जिसमें गलत मंशा के साथ की गई एडिटिंग को साफ-साफ देखा जा सकता है

विश्वास न्यूज ने कन्हैया कुमार से संपर्क किया। कुमार ने हमें बताया, ‘वायरल हो रहा ट्वीट फर्जी है। भारत की संप्रभुता और अखंडता पर होने वाले किसी भी हमले को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। यही बात मैंने अपने ट्विटर और फेसबुक प्रोफाइल के जरिए कही है।’

ट्विटर के अलावा फेसबुक पर भी कन्हैया कुमार का वेरिफाइड हैंडल है। यहां हमें 16 जून को लिखा गया पोस्ट मिला, जो ट्विटर पोस्ट के समान है। उन्होंने लिखा है, ‘भारत की संप्रभुता और अखंडता पर किसी भी हमले के खिलाफ सरकार को मजबूती से कार्रवाई करनी चाहिए। किसी भी संकट की घड़ी में हमारा देश एक था और एकजुट रहेगा। शहीदों को नमन!!🙏’

इससे पहले भी कन्हैया कुमार के बयान और तस्वीरों को गलत दावे के साथ वायरल किया जाता रहा है, जिसकी पड़ताल को विश्वास न्यूज पर पढ़ा जा सकता है।

कुछ दिनों पहले लद्दाख मामले को लेकर मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (CPI-M) नेताओं के विरोध प्रदर्शन को गलत दावे के साथ वायरल किया गया था। सीपीएम नेताओं के सरकार की नीतियों के विरोध में किए गए प्रदर्शन की तस्वीरों को सेना के खिलाफ किए गए प्रदर्शन से जोड़कर वायरल किया गया था।

वायरल पोस्ट शेयर करने वाले वाले यूजर ने अपनी प्रोफाइल में खुद को उत्तर प्रदेश के आगरा का रहने वाला बताया है। इस प्रोफाइल को करीब 200 लोग फॉलो करते हैं।

निष्कर्ष: लद्दाख में शहीद हुए जवानों को लेकर जेएनयू छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार के नाम से वायरल हो रहा ट्वीट फर्जी है। कन्हैया कुमार ने ऐसा कोई ट्वीट नहीं किया। उनके नाम से फर्जी ट्वीट को वायरल किया जा रहा है।

  • Claim Review : चौकीदार ने चुनाव को देखते हुए पुलवामा की तरह चीन के साथ मिलकर 20 सैनिकों की बलि ले दी
  • Claimed By : FB User-Amit Singham
  • Fact Check : झूठ
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