Fact Check: बुर्के में पकड़ा गया व्यक्ति सिरफिरा है, इसका न तो RSS से लेना-देना है, न ही NRC विरोधी प्रदर्शनों से

नई दिल्ली (विश्वास टीम)। सोशल मीडिया पर बुर्का पहने एक पुरुष का वीडियो वायरल हो रहा है, जिसे लेकर दावा किया जा रहा है कि नेशनल रजिस्टर ऑफ सिटिजन (एनआरसी) के खिलाफ जारी प्रदर्शन के बीच मुस्लिम इलाके में बुर्का पहने हुए राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के कार्यकर्ता को पकड़ा गया है।

विश्वास न्यूज की पड़ताल में यह दावा गलत निकला। बुर्का पहने हुए जिस व्यक्ति का वीडियो वायरल हो रहा है, उसका RSS से कोई संबंध नहीं है और न ही इस वीडियो का NRC के खिलाफ जारी विरोध प्रदर्शनों से कोई लेना-देना है।

क्या है वायरल पोस्ट में?

फेसबुक यूजर ‘Noorulla Khan’ ने वीडियो को शेयर करते हुए लिखा है, ”RSS कार्यकर्ता मुस्लिम इलाकों मे # बुरखा पहने हुए पकडा गया! जहाँ कही भी # NRC के खिलाफ परदशन चल रहे है वहा ऐसै लोगो का खास ध्यान रखा जाऐ!”

कई अन्य सोशल मीडिया यूजर्स ने इस वीडियो को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।

(फेसबुक पोस्ट का लिंक और आर्काइव लिंक.)

पड़ताल

विश्वास न्यूज ने अपनी जांच में पाया कि यह घटना वास्तविक है, लेकिन इसका NRC विरोधी प्रदर्शनों से कोई लेना-देना नहीं है। सर्च में हमें यह वीडियो ‘ingoanews’ के यूट्यूब चैनल पर मिला।

16 फरवरी 2019 को अपलोड किए गए वीडियो के मुताबिक, गोवा के पणजी बस स्टैंड पर बुर्का पहने हुए एक व्यक्ति को पकड़ा गया।

इस वीडियो से मिली जानकारी को संबंधित कीवर्ड के साथ सर्च करने पर हमें अंग्रेजी अखबार ‘टाइम्स ऑफ इंडिया’ की वेबसाइट पर एक खबर मिली, जिसमें पणजी में हुई इस घटना का जिक्र है।

टाइम्स ऑफ इंडिया में 18 फरवरी 2019 को प्रकाशित खबर का लिंक

खबर के मुताबिक, ‘गोवा पुलिस ने पणजी के कदंबा बस स्टैंड पर बुर्का पहने हुए एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया। आरोपी व्यक्ति की पहचान वर्जिल फर्नांडीज के तौर पर की गई है, जो मार्सेज का निवासी है। गिरफ्तारी के बाद उस व्यक्ति को जमानत पर भी रिहा कर दिया गया।’

गौरतलब है कि दिसंबर 2019 में नागरिकता संशोधन कानून के प्रभाव में आने के बाद से सीएए और एनआरसी के खिलाफ देशव्यापी प्रदर्शन हो रहे हैं, जबकि गोवा में बुर्का पहने इस व्यक्ति की गिरफ्तारी इन प्रदर्शनों के शुरू होने से करीब 10 महीने पहले की है।

विश्वास न्यूज ने इस घटना को लेकर पणजी थाने के पुलिस इंस्पेक्टर और प्रभारी सुदेश आर नाइक से बात की। नाइक ने बताया कि यह घटना उनके इस थाने का प्रभार लेने से पहले की है, लेकिन उन्हें इसके बारे में जानकारी है।

उन्होंने गिरफ्तार व्यक्ति के राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) से जुड़े होने का खंडन किया। नाइक ने कहा, ‘आरोपी पुरुष मानसिक रुप से स्थिर नहीं है और उनका इलाज चल रहा है। वह फिलहाल जमानत पर ही बाहर हैं।’

न्यूज सर्च में हमें कई और खबरें मिली, जिसमें इस घटना का जिक्र किया गया है। किसी भी रिपोर्ट में गिरफ्तार किए गए व्यक्ति के RSS से जुडे़ होने का कोई जिक्र नहीं किया गया है।

17 फरवरी 2019 को इंडिया टुडे की वेबसाइट पर प्रकाशित खबर

CAA और NRC को लेकर जारी देशव्यापी विरोध प्रदर्शन के बीच सोशल मीडिया पर पुरानी और अलग-अलग घटनाओं की तस्वीरें और वीडियो गलत दावे के साथ वायरल हो रहे हैं, जिनकी पड़ताल को विश्वास न्यूज की वेबसाइट पर पढ़ा जा सकता है।

निष्कर्ष: बुर्का पहने हुए जिस व्यक्ति का वीडियो वायरल हो रहा है, उसका RSS से कोई संबंध नहीं है और न ही इस वीडियो का NRC के खिलाफ जारी विरोध प्रदर्शनों से कोई लेना-देना है।

False
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