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Fact Check : जवाहर लाल नेहरू ने कभी नहीं दिया वायरल बयान, फर्जी पोस्ट वायरल

वायरल बयान हिंदू महासभा के नेता एनबी खरे ने नेहरू के लिए दिया था, ना कि नेहरू ने खुद के लिए कभी ऐसा कहा था।

  • By: Ashish Maharishi
  • Published: Aug 23, 2023 at 04:10 PM
  • Updated: Aug 23, 2023 at 04:13 PM

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू अक्‍सर सोशल मीडिया पर निशाने पर रहते हैं। उन्‍हें लेकर कई प्रकार की फर्जी तस्‍वीरें, वीडियो वायरल होते रहते हैं। अब एक पोस्‍ट को वायरल करते हुए दावा किया जा रहा है कि जवाहरलाल नेहरू ने एक बयान में कहा था कि वे शिक्षा से ईसाई, संस्कृति से मुस्लिम, दुर्भाग्य से हिन्दू हैं। विश्‍वास न्‍यूज ने पहले भी इस पोस्‍ट की पड़ताल की थी। दावा फर्जी साबित हुआ। दरअसल, वायरल बयान हिंदू महासभा के नेता एनबी खरे ने नेहरू के लिए दिया था, ना कि नेहरू ने खुद के लिए कभी ऐसा कहा था।

क्‍या हो रहा है वायरल

इंस्‍टाग्राम हैंडल सनातनी शिवम ने 17 अगस्‍त को एक पोस्‍ट करते हुए लिखा कि धिक्‍कार है ऐसे लोगों पर।

इसमें नेहरू की तस्‍वीर का इस्‍तेमाल करते हुए दावा किया गया कि इसमें लिखा गया बयान देश के पहले प्रधानमंत्री का है।
इसमें लिखा गया…

मैं शिक्षा से ईसाई
संस्‍कति से मुस्लिम
दुर्भाग्‍या से हिंदू हूं। – जवाहर लाल नेहरू

वायरल पोस्‍ट को सच मानकर दूसरे यूजर्स भी इसे वायरल कर रहे हैं। पोस्‍ट का आर्काइव वर्जन यहां देखें।

पड़ताल

विश्‍वास न्‍यूज ने एक बार पहले भी इस दावे की पड़ताल की थी। इसके लिए गूगल ओपन सर्च टूल की मदद ली गई थी। इसमें नेहरू से जुड़े दावे के आधार पर कुछ कीवर्ड बनाए गए। फिर इन्‍हें सर्च किया गया। सर्च के दौरान हमें कांग्रेस से जुड़े गौरव पांधी की एक पोस्‍ट मिली। 24 नवंबर 2018 की इस पोस्‍ट में लिखा गया कि डेक्‍कन कॉनिकल ने 19 नवंबर 2018 को अखबार में नेहरू के नाम पर फर्जी बयान छापा, जबकि यह बयान हिन्‍दू महासभा के अध्‍यक्ष एनबी खरे ने दिया था। इसी पोस्‍ट के रिप्‍लाई में 25 नवंबर 2018 को बताया गया कि अखबार ने अपनी गलती मानते हुए सुधार कर लिया था।

विश्‍वास न्‍यूज ने अपनी जांच को आगे बढ़ाते हुए एनबी खरे के बारे में सर्च करना शुरू किया। हमें गूगल के जरिए ही कांग्रेस नेता शशि थरूर की किताब Nehru : The Invention of India मिली। इस बुक में बताया गया कि नेहरू को लेकर वायरल बयान दरअसल हिंन्‍दू महासभा के नेता एनबी खरे ने दिया था। इसे नीचे पढ़ा जा सकता है।

पड़ताल के अगले चरण में विश्‍वास न्‍यूज ने कांग्रेस के सोशल मीडिया के नेशनल कोऑर्डिनेटर नितिन अग्रवाल से संपर्क किया। उनके साथ वायरल पोस्‍ट को शेयर किया। उन्‍होंने जानकारी देते हुए कहा कि जवाहर लाल नेहरू हमेशा से ट्रोल आर्मी के निशाने पर रहे हैं। यह पोस्‍ट भी इसी का उदाहरण है। इसमें कोई सच्‍चाई नहीं है।

पड़ताल के अंत में फर्जी पोस्‍ट करने वाले यूजर की जांच की गई। इंस्‍टाग्राम हैंडल सनातनी शिवम पर हमें कोई खास जानकारी नहीं मिली।

निष्‍कर्ष : देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू के नाम पर वायरल बयान फर्जी साबित हुआ। विश्‍वास न्‍यूज की पड़ताल में पता चला कि वायरल बयान हिंदू महासभा के नेता एनबी खरे ने नेहरू के लिए दिया था, ना कि नेहरू ने कभी ऐसा कहा था।

  • Claim Review : इंस्‍टाग्राम हैंडल सनातनी शिवम
  • Claimed By : जवाहर लाल नेहरू का बयान
  • Fact Check : झूठ
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