Fact Check: आंध्र प्रदेश के बांध की तस्वीर उत्तर प्रदेश के भावनी बांध के नाम से हुई वायरल

विश्‍वास न्‍यूज ने वायरल पोस्‍ट की विस्‍तार से जांच की। हमें पता चला कि वायरल तस्वीर असल में आंध्र प्रदेश में बने श्रीशैलम बांध की है। जिसे अब गलत दावों के साथ शेयर किया जा रहा है। 

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। सोशल मीडिया पर एक बांध की तस्वीर इन दिनों तेजी से वायरल हो रही है। दावा किया जा रहा है कि वायरल तस्वीर उत्तर प्रदेश के बुंदेलखंड शहर में बने नए भावनी बांध की है। विश्‍वास न्‍यूज ने वायरल पोस्‍ट की विस्‍तार से जांच की। जांच के दौरान हमने पाया कि वायरल दावा गलत है। वायरल तस्वीर असल में आंध्र प्रदेश में बने श्रीशैलम बांध की है। जिसे अब गलत दावों के साथ शेयर किया जा रहा है।

क्या है वायरल पोस्ट में?

फेसबुक और ट्विटर पर यूजर्स #बुलन्दबुन्देलखण्ड के साथ इस तस्वीर को शेयर करते हुए इसे उत्तर प्रदेश के झांसी शहर का भावनी बांध बता रहे हैं। फेसबुक पेज Narendra Modi for PM ने वायरल तस्वीर को #बुलन्दबुन्देलखण्ड कैप्शन के साथ इस तस्वीर को शेयर किया। वायरल पोस्‍ट के कंटेंट को यहां ज्‍यों का त्‍यों लिखा गया है। पोस्‍ट के आर्काइव्‍ड वर्जन को यहां देखें।

https://twitter.com/Mihirsonar6/status/1462032670502711296

पड़ताल

वायरल दावे की सच्चाई जानने के लिए हमने बांध के फोटो को क्रॉप कर उसे गूगल रिवर्स इमेज के जरिए सर्च किया। इस दौरान हमें वायरल तस्वीर से जुड़ी एक खबर Deccan Chronicle की वेबसाइट पर 3 मई 2015 को प्रकाशित मिली। रिपोर्ट में दी गई जानकारी के मुताबिक, वायरल फोटो आंध्र प्रदेश में कृष्णा नदी पर बने श्रीशैलम बांध की है। कृष्णा नदी महाराष्ट्र से बहती हुई आंध्र प्रदेश से गुजर कर बंगाल की खाड़ी में गिरती है।

पड़ताल के दौरान हमें वायरल तस्वीर तेलंगाना राज्य सड़क परिवहन निगम की वेबसाइट पर भी मिली। टूर पैकेज के सेक्शन में वायरल तस्वीर को शेयर करते हुए इसे आंध्र प्रदेश में बने श्रीशैलम बांध का बताया गया है। हमें सर्च के दौरान वायरल तस्वीर श्रीशैलम बांध की वेबसाइट पर भी मौजूद मिली।

अधिक जानकारी के लिए हमने हमारी सहयोगी वेबसाइट दैनिक जागरण के ललितपुर के रिपोर्टर संजीव बजाज से संपर्क किया। उन्होंने हमें बताया कि वायरल दावा गलत है। वायरल हो रही तस्वीर भावनी बांध की नहीं है। उन्होंने हमारे साथ भावनी बांध की कुछ तस्वीरों को भी शेयर किया। जिसके बाद ये साफ होता है कि वायरल दावा गलत है।

पड़ताल के अंत में विश्‍वास न्‍यूज ने फर्जी पोस्‍ट करने वाले यूजर की सोशल स्‍कैनिंग की। हमें पता चला कि फेसबुक पेज Narendra Modi for PM एक विचारधारा से प्रभावित है। इस फेसबुक पेज को तीन लाख 26 हजार से ज्‍यादा लोग फॉलो करते हैं।

निष्कर्ष: विश्‍वास न्‍यूज ने वायरल पोस्‍ट की विस्‍तार से जांच की। हमें पता चला कि वायरल तस्वीर असल में आंध्र प्रदेश में बने श्रीशैलम बांध की है। जिसे अब गलत दावों के साथ शेयर किया जा रहा है। 

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