Fact Check: असम के मॉक पोल के वीडियो को मतदान के समय का बताकर किया जा रहा झूठा दावा
असम के करीमगंज में मतदान केंद्र पर हुए मॉक पोल के वीडियो को मतदान के समय का बताकर झूठा दावा किया जा रहा है।
- By: Sharad Prakash Asthana
- Published: Apr 30, 2024 at 03:04 PM
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। लोकसभा चुनाव 2024 के दौरान सोशल मीडिया पर ईवीएम की विश्वसनीयता पर सवाल उठाता एक वीडियो वायरल हो रहा है। इसमें एक शख्स को ईवीएम पर चार-पांच बार कमल का बटन दबाते हुए दिखाया गया है। कुछ यूजर्स इसे मतदान के समय का समझकर शेयर कर रहे हैं।
विश्वास न्यूज ने अपनी जांच में पाया कि वायरल वीडियो असम में हुए मॉक पोल का है, मतदान के समय का नहीं। यूजर्स इसे मतदान के समय का समझकर शेयर कर रहे है। मॉक ड्रिल के दौरान मोबाइल फोन ले जाने के मामले में प्रीजाइडिंग अधिकारी और पोलिंग एजेंट के खिलाफ कार्रवाई भी की गई है।
क्या है वायरल पोस्ट
फेसबुक यूजर Bhuru Sain Bichganwa (आर्काइव लिंक) ने 29 अप्रैल को वीडियो शेयर करते हुए लिखा,
“देखिए भस्मासुर पार्टी को कैसे 400 पार कराया जा रहा है.
लोकतंत्र के महोत्सव में भ्रष्टाचार का नंगा नाच देख लीजिए.
केंद्रीय चुनाव आयोग को श्रद्धांजलि के फूल भेज दीजिये.
@ECISVEEP”
एक्स यूजर @ArvindY07567923 (आर्काइव लिंक) ने भी इस वीडियो को पोस्ट किया है।
पड़ताल
वायरल दावे की जांच के लिए हमने सबसे पहले भारत निर्वाचन आयोग के आधिकारिक एक्स हैंडल को स्कैन किया। 29 अप्रैल को इस हैंडल से पोस्ट (आर्काइव लिंक) कर इस दावे को फेक बताया गया है। इसमें लिखा है कि आम चुनाव 2024 में चुनाव के संचालन को लेकर झूठे दावों के साथ एक्स पर एक वीडियो वायरल किया गया है। इस पोस्ट में लगाए गए आरोप झूठे और भ्रामक हैं। वायरल वीडियो असम में मॉक पोल से संबंधित है, वास्तविक मतदान से नहीं। डीईओ करीमगंज पहले ही इस मामले में बयान दे चुके हैं।
असम के करीमगंज के जिला आयुक्त के एक्स हैंडल से भी इस बारे में पोस्ट (आर्काइव लिंक) की गई है। इसमें जिला निर्वाचन अधिकारी, करीमगंज की तरफ से 28 अप्रैल को जारी एक प्रेस रिलीज को पोस्ट किया गया है। इसमें लिखा है कि यह वीडियो मॉक पोल के दौरान का है, असली मतदान के समय का नहीं। असली मतदान के समय किसी भी नियम का उल्लंघन नहीं किया गया है। मॉक पोल की यह प्रक्रिया 27 अप्रैल 2024 को 11 बजे की गई थी। उस दौरान जनरल ऑब्जर्वर और चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवार मौजूद थे। स्पष्ट किया जाता है कि मॉक पोल की प्रक्रिया के दौरान मतदान केंद्र में मोबाइल ले जाना चुनाव आयोग के नियमों को उल्लंघन है। नियमों की अवहेलना करने पर प्रीजाइडिंग अधिकारी पर अनुशासत्मक और पोलिंग एजेंट के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की गई है।
केंद्रीय निर्वाचन आयोग के प्रवक्ता का कहना है कि वायरल वीडियो मॉक ड्रिल के दौरान का है। चुनाव आयोग की तरफ से इस बारे में जानकारी दे दी गई है।
डेक्कन हेराल्ड की वेबसाइट पर 27 अप्रैल को छपी खबर के अनुसार, लोकसभा चुनाव के दूसरे चरण में 26 अप्रैल को असम की पांच लोकसभा सीटों के लिए मतदान हुआ। दूसरे चरण में असम में 77.35 फसदी मतदान हुआ है।
वीडियो को गलत दावे के साथ शेयर करने वाले फेसबुक यूजर की प्रोफाइल को हमने स्कैन किया। अलवर के रहने वाले यूजर के करीब 4900 फ्रेंड्स हैं।
निष्कर्ष: असम के करीमगंज में मतदान केंद्र पर हुए मॉक पोल के वीडियो को मतदान के समय का बताकर झूठा दावा किया जा रहा है।
- Claim Review : लोकसभा चुनाव में एक शख्स ने चार-पांच बार कमल का बटन दबाया।
- Claimed By : FB User- Bhuru Sain Bichganwa
- Fact Check : झूठ
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