महाराष्ट्र के जलगांव जिले में पुलिस को धमकाने के मामले के पुराने वीडियो को दिल्ली के जहांगीरपुरी का बताकर गलत दावे के साथ वायरल किया जा रहा है।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। दिल्ली के जहांगीरपुरी में हुई हिंसा के बाद से सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे एक वीडियो में कुछ लोगों को एक पुलिसकर्मी को धमकाते हुए देखा और सुना जा सकता है। वीडियो में नजर आ रहा एक मुस्लिम व्यक्ति पुलिस अधिकारी को धमकाते हुए कह रहा है, ‘मुझसे वर्दी उतार के मिल ले एक बार…फिर मैं तुम्हें बताता हूं।’ दावा किया जा रहा है कि यह वीडियो जहांगीरपुरी, दिल्ली का है, जहां मुस्लिमों ने खुलेआम एक पुलिसवाले को धमकाते हुए उसे देख लेने की धमकी दी।
विश्वास न्यूज की जांच में यह दावा भ्रामक निकला। वायरल हो रहा वीडियो महाराष्ट्र में हुई पुरानी घटना से संबंधित है, जिसमें पुलिस ने पांच आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा था। इनमें से दो आरोपी की अब मृत्यु हो चुकी है और तीन के खिलाफ मुकदमा चल रहा है।
फेसबुक यूजर ‘अम्बरीश पान्डेय’ ने वायरल वीडियो (आर्काइव लिंक) को शेयर करते हुए लिखा है, ”नजारा जहांगीरपुरी, दिल्ली का।
मौलाना पुलिस ऑफिसर को को धमकी दे रहा है औकात हो तो वर्दी उतार कर अकेले मिल।
काश ये नज़ारा यूपी का होता
अब तक ये इसका मकान जमीदोश हो चुका होता
यूपी पुलिस जानती है ऐसों से कैसे निपटना है।”
सोशल मीडिया पर कई अन्य यूजर्स ने इस तस्वीर को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।
वायरल वीडियो में पुलिसकर्मी की वर्दी पर नजर आ रहा लोगो महाराष्ट्र पुलिस का है, जिससे इस वीडियो के महाराष्ट्र से संबंधित होने की पुष्टि होती है।
वायरल वीडियो के की-फ्रेम्स को गूगल रिवर्स इमेज सर्च करने पर यह वीडियो कई यूजर्स की प्रोफाइल पर लगा मिला, जिसे उन्होंने 2018 में शेयर किया है। फेसबुक यूजर ‘सोपान जाधव’ ने इस वीडियो को शेयर करते हुए महाराष्ट्र के जलगांव जिले के चोपडा की घटना बताया है।
विश्वास न्यूज ने इस मामले की विस्तृत जानकारी और घटना की वास्तविक तारीख का पता लगाने के लिए चोपडा पुलिस स्टेशन से संपर्क किया। पुलिस स्टेशन के स्टेशन हाउस ऑफिसर अवतार सिंह चौहान ने बताया, ‘यह घटना वर्ष 2018 की है, जब कुछ लोगों ने चोपडा बस स्टैंड के पास एक गाड़ी को खड़ा कर दिया था, जिसकी वजह से आवागमन प्रभावित हो रहा था। इसी को हटाए जाने को लेकर विवाद हुआ और वहां लोगों ने पुलिसकर्मी को धमकाते हुए देख लेने की चेतावनी दी।’
उन्होंने कहा, ‘पुलिस ने इस मामले में मुकदमा पंजीकृत करते हुए कुल पांच लोगों को गिरफ्तार किया था, जिसमें से दो की स्वाभाविक मृत्यु हो चुकी है और तीन के खिलाफ मुकदमा चल रहा है। तीनों जीवित आरोपी अभी जमानत पर बाहर हैं।’ चौहान ने कहा, ‘इस मामले में कोई सांप्रदायिक पहलू शामिल नहीं था।’
स्पष्ट है कि जिस वीडियो को दिल्ली के जहांगीरपुरी में हुई हिंसा के बाद मुस्लिमों के पुलिस को खुलेआम धमकी देने के दावे के साथ वायरल किया जा रहा है, वह वीडियो महाराष्ट्र के जलगांव में वर्ष 2018 में हुई पुरानी घटना से संबंधित है, जिसमें पुलिस ने पांच लोगों को आरोपी बनाते हुए उन्हें गिरफ्तार किया था।
दैनिक जागरण की रिपोर्ट के मुताबिक हनुमान जन्मोत्सव पर निकाली गई शोभायात्रा पर जहांगीरपुरी में शनिवार को किए गए हमले को लेकर दिल्ली पुलिस की कार्रवाई जारी है। अब तक 22 लोग गिरफ्तार किए जा चुके हैं। वीडयो फुटेज के जरिये आरोपितों की पहचान की जा रही है।
इससे पहले भी ऐसी कई तस्वीरें और वीडियो को सोशल मीडिया पर दिल्ली की जहांगीरपुरी में हुई हिंसा का बताकर शेयर किया गया है, जिसकी फैक्ट चेक रिपोर्ट को विश्वास न्यूज पर पढ़ा जा सकता है। वायरल वीडियो को गलत दावे के साथ शेयर करने वाले यूजर ने अपनी प्रोफाइल में स्वयं को झारखंड का रहने वाला बताया है।
निष्कर्ष: महाराष्ट्र के जलगांव जिले में पुलिस को धमकाने के मामले के पुराने वीडियो को दिल्ली के जहांगीरपुरी का बताकर गलत दावे के साथ वायरल किया जा रहा है।
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