विश्वास न्यूज की पड़ताल में सपा प्रमुख अखिलेश यादव का वायरल वीडियो एडिटेड निकला। जांच में पता चला कि यूपी औरैया की एक सभा के वीडियो से छेड़छाड़ करके फर्जी दावे के साथ इसे वायरल किया गया।
नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया के विभिन्न प्लेटफार्म पर सपा प्रमुख अखिलेश यादव का एक वीडियो वायरल हो रहा है। 30 सेकंड के इस वीडियो में अखिलेश यादव को कथित रूप से बोलते हुए देखा जा सकता है : ‘जिन्हें कानून व्यवस्था हाथ में लेनी है। कानून को नहीं मानना है। वह समाजवादी पार्टी को वोट दें। जिन्हें गरीब पर अन्याय करना है। वह समाजवादी पार्टी को वोट दें।’
विश्वास न्यूज ने वायरल वीडियो की विस्तार से जांच के लिए ऑनलाइन टूल्स का इस्तेमाल किया। पता चला कि अखिलेश यादव का वायरल वीडियो एडिटेड है। ओरिजनल वीडियो से छेड़छाड़ करके वायरल वीडियो तैयार किया गया है।
फेसबुक यूजर दुष्यंत सिंह गहरवार ने 19 फरवरी को एक वीडियो को पोस्ट करते हुए लिखा : ‘दंगाइयों का हाथ, अपराधियों का साथ
वही हवा है वही सपा उत्तर प्रदेश से सपा सफा है।’
फेसबुक पोस्ट के कंटेंट को यहां ज्यों का त्यों लिखा गया है। इसके आर्काइव्ड वर्जन को यहां देखें। फेसबुक पर कुछ अन्य यूजर्स ने भी इस वीडियो को पोस्ट करते हुए समान दावा किया।
ओरिजनल वीडियो समाजवादी पार्टी के यूट्यूब चैनल पर मिला। इसे 15 फरवरी 2022 को लाइव किया गया था। अखिलेश यादव यूपी के औरेया में कार्यकर्ता सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। ओरिजनल वीडियो के 23:54 से 23:16 मिनट के बीच में अखिलेश यादव को यह साफ बोलते हुए सुना जा सकता है : ‘जिन्हें कानून व्यवस्था हाथ में लेनी है। कानून को नहीं मानना है। वह समाजवादी पार्टी को वोट न दें। जिन्हें गरीब पर अन्याय करना है। वह समाजवादी पार्टी को न वोट दें।’
ओरिजनल वीडियो के न वाले हिस्से को एडिट करके न शब्द को हटा दिया गया, जिससे अखिलेश यादव के भाषण का पूरा मतलब ही बदल गया।
पड़ताल को आगे बढ़ाते हुए विश्वास न्यूज ने दैनिक जागरण औरैया के रिपोर्टर जितेंद्र से बात की। उन्होंने सपा के जिलाध्यक्ष राजबीर यादव से संपर्क करके विश्वास न्यूज को बताया कि वायरल वीडियो एडिटेड है। अखिलेश यादव ने ऐसा कुछ नहीं कहा था, जैसा कि वायरल किया जा रहा है।
विश्वास न्यूज ने पड़ताल के अंतिम दौर में फेसबुक यूजर दुष्यंत सिंह गहरवाल की सोशल स्कैनिंग की। इसी यूजर ने अखिलेश यादव के एडिटेड वीडियो को अपने अकाउंट पर अपलोड किया। पता चला कि यूजर यूपी के कासगंज के रहने वाले हैं। इनके 4.9 हजार फ्रेंड हैं।
निष्कर्ष: विश्वास न्यूज की पड़ताल में सपा प्रमुख अखिलेश यादव का वायरल वीडियो एडिटेड निकला। जांच में पता चला कि यूपी औरैया की एक सभा के वीडियो से छेड़छाड़ करके फर्जी दावे के साथ इसे वायरल किया गया।
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