Fact Check: मनोज तिवारी के नाम से वायरल हो रहा ट्वीट फर्जी है

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। सोशल मीडिया पर आज कल एक पोस्ट वायरल हो रहा है जिसमें एक स्क्रीनशॉट दिया गया है। वायरल ट्वीट दिखने में मनोज तिवारी के ट्विटर हैंडल से किया हुआ नजर आता है। ट्वीट में लिखा है, ‘दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल चाहते क्या हैं? जिस तरह से उनकी सरकार सरकारी अस्पतालों और सरकारी स्कूलों में व्यवस्था को ठीक कर रही है, आने वाले दिनों में प्राइवेट अस्पतालों और स्कूलों में तो ताले लग जाएंगे। इससे बड़ा पूंजीपतियों का बड़ा नुकसान होगा।’ हमारी पड़ताल में हमने पाया कि यह ट्वीट फर्जी है। मनोज तिवारी ने कभी भी ऐसा ट्वीट नहीं किया। ऑनलाइन टूल्स का इस्तेमाल करके यह फर्जी ट्वीट जेनरेट किया गया है।

CLAIM

इस पोस्ट में 1 ट्वीट का स्क्रीन शॉट है जिसको मनोज तिवारी के हैंडल से ट्वीट किया हुआ दिखाया गया है। ट्वीट दिखने में मनोज तिवारी के ट्विटर हैंडल से किया हुआ नजर आता है। वायरल ट्वीट का यूजर नाम और ट्विटर हैंडल भी मनोज तिवारी के ओरिजिनल ट्विटर हैंडल जैसा ही दिख रहा है और यह अकाउंट वेरिफाइड भी नज़र आता है। पोस्ट में लिखा है, “दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल चाहते क्या हैं? जिस तरह से उनकी सरकार सरकारी अस्पतालों और सरकारी स्कूलों में व्यवस्था को ठीक कर रही है, आने वाले दिनों में प्राइवेट अस्पतालों और स्कूलों में तो ताले लग जाएंगे। इससे बड़ा पूंजीपतियों का बड़ा नुकसान होगा।” इस पोस्ट के साथ लिखे डिस्क्रिप्शन में लिखा है “””इनकी घटिया सोच देखो।”” इनको गरीबो की नहीं पूजीपतियों की पडी है ,,,,, ,sp”.

FACT CHECK

हमने इस सिलसिले में सबसे पहले इस ट्वीट का ठीक से विश्लेषण किया। इस ट्वीट को ठीक से देखने पर साफ़ नज़र आता है कि यह फर्जी है। वायरल ट्वीट में दिख रहा फॉण्ट ओरिजिनल ट्विटर फॉण्ट से बिल्कुल अलग है। यदि आप कोई ट्वीट खोलते हैं तो स्क्रीन की दायीं तरफ फॉलो या फॉलोइंग लिखा हुआ आता है जो कि वायरल ट्वीट में मिसिंग है। साथ ही, वायरल ट्वीट में टाइम और डेट भी नहीं है। उदाहरण के लिए हमने एक असली ट्वीट नीचे लगाया है जिसमें आप ये सब देख सकते हैं।

FAKE TWEET
EXAMPLE OF REAL TWEET

पड़ताल के लिए हमने मनोज तिवारी के असली ट्विटर हैंडल को भी पूरा जांचा पर वहां हमें कहीं भी यह ट्वीट नहीं मिला।

हमने ज़्यादा पुष्टि के लिए मनोज तिवारी से फ़ोन पर बात भी बात की जिन्होंने इस वायरल ट्वीट को फर्जी बताया और कहा कि उन्होंने ऐसा ट्वीट कभी भी नहीं किया और उनके सारे ट्वीट उनके ओरिजिनल ट्विटर हैंडल पर देखे जा सकते है। यह पोस्ट फ़र्ज़ी है।

अब हमारे दिमाग में सवाल आया कि आखिर इस फेक ट्वीट को बनाया कैसे गया। हमने यह समझने के लिए गूगल पर सर्च किया तो पाया कि बहुत से ऐसे ऑनलाइन टूल्स हैं जिनसे ऐसे ट्वीट्स को बनाया जा सकता है। ऐसी ही एक वेबसाइट है tweetgen.com। इस वेबसाइट पर आप किसी का भी यूजरनाम, ट्विटर हैंडल डाल कर किसी के भी नाम से कोई भी ट्वीट बना सकते हैं। ऐसे ही किसी ऑनलाइन टूल का इस्तेमाल करके मनोज तिवारी के नाम से भी यह फर्जी ट्वीट बनाया गया था।

इस पोस्ट को Yadav Mukesh Kumar‎ नाम के व्यक्ति ने ‘Akhilesh Yadav Fans Club- सभी सदस्य 1000 सदस्यों को जोड़ें’ नाम के फेसबुक पेज पर शेयर किया था। इस पेज के 207,534 मेंबर्स हैं।

निष्कर्ष: हमारी पड़ताल में हमने पाया कि यह ट्वीट फर्जी है। मनोज तिवारी ने कभी भी ऐसा ट्वीट नहीं किया। ऑनलाइन टूल्स का इस्तेमाल करके यह फर्जी ट्वीट जेनरेट किया गया है।

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False
Symbols that define nature of fake news
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