Fact Check: इस वैक्सीन से शिशुओं में जरूरत से कई गुना ज्यादा एल्युमीनियम की डोज दी जाती है, ऐसा दावा करने वाली पोस्ट है भ्रामक

पीडियारिक्स नामक वैक्सीन में जरूरत से ज्यादा एल्युमीनियम की मात्रा होती है, यह शिशु की सेहत के लिए हानिकारक है, ऐसा दावा करने वाली पोस्ट भ्रामक है। पीडियारिक्स की एक डोज में 0.85 मिलीग्राम एल्युमीनियम होता है, एफडीए ने भी यही डोज रिकमेंड की है।

नई दिल्ली (विश्वास टीम)। सोशल मीडिया पर एक पोस्ट वायरल हो रही है, जिसमें दावा किया जा रहा है कि ​पीडियारिक्स नाम की वैक्सीन के जरिए शिशुओं को जरूरत से कहीं ज्यादा मात्रा में एल्युमीनियम दिया जाता है। विश्वास न्यूज ने जब इस दावे की पड़ताल की तो इसे भ्रामक पाया। पीडियारिक्स वैक्सीन सुरक्षा मानकों पर खरी उतरती है। साल 2002 में इस वैक्सीन को अप्रूव किया गया था।

क्या है वायरल पोस्ट में?

फेसबुक पर यह पोस्ट Hervey Alvin नामक यूजर ने साझा की है, जिसमें अंग्रेजी में लिखे गए टेक्स्ट का हिंदी अनुवाद है: एक पीडियारिक्स वैक्सीन में 850 mcg एल्युमीनियम होता है, जबकि FDA के अनुसार दो माह के बच्चे को 25 mcg तक ही एल्युमीनियम दिया जाना सुरक्षित होता है।

वायरल पोस्ट का आर्काइव्ड वर्जन यहां देखा जा सकता है।

पड़ताल

विश्वास न्यूज को पड़ताल में बायोलॉजिकल प्रोडक्ट्स के लिए यूएस कोड आॅफ फेडरल रेग्युलेशंस की एक रिपोर्ट मिली, जिसमें यह लिखा गया है कि बायोलॉजिकल प्रोडक्ट के एक डोज में एल्युमीनियम की मात्रा 0.85 मिलीग्राम से ज्यादा नहीं होनी चाहिए।

हमें फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन (FDA) की वेबसाइट पर पीडियारिक्स का पैकेज इंसर्ट मिला। इस रिपोर्ट में यह लिखा हुआ है कि पीडियारिक्स की हर डोज में 0.85 मिलीग्राम या 850 mcg से ज्यादा एल्युमीनियम नहीं होता।

अमेरिका के एफडीए की एक स्टडी के अनुसार, बच्चे को पहले साल में लगने वाले तमाम वैक्सीन से जितना एल्युमीनियम मिलता है, उससे रिस्क बहुत कम होता है।

कुछ वैक्सीन में एल्युमीनियम क्यों होता है?

एफडीए के अनुसार, कुछ वैक्सीन में एल्युमीनियम साल्ट सहायक के तौर पर इस्तेमाल किया जाता है। सहायक वह पदार्थ होता है, जिसे वैक्सीन में मिलाया जाता है, ताकि जिसे भी वह वैक्सीन दी जाए उसका इम्यून रिस्पॉन्स बढ़ा सके।

ग्लैक्सोस्मिथक्लाइन (GSK) की वेबसाइट पर दी गई जानकारी के अनुसार, पीडियारिक्स विश्वभर में 14 सेफ्टी ट्रायल्स पास कर चुकी है। इसे छह सप्ताह की आयु से छह साल की आयु के बीच दिया जा सकता है।

विश्वास न्यूज ने जयपुर के मेट्रो मास हॉस्पिटल के पीडियाट्रीशियन ​डॉ. वीरेंद्र मित्तल से बात की। उन्होंने बताया कि पीडियारिक्स में जरूरत से ज्यादा एल्युमीनियम की मात्रा नहीं है, यह टेस्टेड व लाइसेंस्ड वैक्सीन है।

फेसबुक पर यह पोस्ट Hervey Elvin नामक यूजर ने साझा की थी। यूजर की प्रोफाइल को स्कैन करने पर हमने पाया कि यूजर यूएस के टेक्सास का रहने वाला है।

निष्कर्ष: पीडियारिक्स नामक वैक्सीन में जरूरत से ज्यादा एल्युमीनियम की मात्रा होती है, यह शिशु की सेहत के लिए हानिकारक है, ऐसा दावा करने वाली पोस्ट भ्रामक है। पीडियारिक्स की एक डोज में 0.85 मिलीग्राम एल्युमीनियम होता है, एफडीए ने भी यही डोज रिकमेंड की है।

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