Fact Check: मस्जिद से हिंदू को बाहर निकालने का दावा FAKE, स्क्रिप्टेड वीडियो को सांप्रदायिक दावे से किया जा रहा शेयर

विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि हिंदू शख्स को मस्जिद से बाहर निकाल देने वाले वायरल वीडियो को लेकर किया जा रहा दावा गलत है। वायरल वीडियो एडिटेड है। असली वीडियो स्क्रिप्टेड है, जिसमें हिंदू-मुस्लिम की एकता को दिखाया गया है। वीडियो को जागरूक करने के उद्देश्य से बनाया गया है, जिसे अब लोग सच समझ कर शेयर कर रहे हैं।

नई दिल्ली (विश्वास न्यूज)। सोशल मीडिया पर मस्जिद में बैठे एक हिंदू शख्स को पीटकर बाहर निकाले जाने का वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो को यूजर्स सांप्रदायिक दावे के साथ सच्ची घटना का समझकर शेयर कर रहे हैं।  

विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि यह वीडियो स्क्रिप्टेड है। दरअसल, इस वीडियो को बंगाल के कुछ कंटेंट क्रिएटर्स ने जागरूकता फैलाने के मकसद से बनाया है। एक एक्टर हिंदू तो दूसरा एक्टर हिंदू बनकर मस्जिद में गए और नाटक किया, ताकि वो लोगों की प्रतिक्रिया को देख सकें। लोगों ने प्रतिक्रिया देते हुए हिंदू शख्स का साथ दिया। क्रिएटर्स ने इस वीडियो के जरिए हिंदू-मुस्लिम एकता को दिखाने की कोशिश की है।

क्या हो रहा है वायरल ?

फेसबुक यूजर संजीव शर्मा ने वायरल वीडियो को शेयर करते हुए कैप्शन में लिखा है, “लालची और दोगले हिन्दुओं को देखना चाहीए भाई के चारा ऐसे निभाया जाता है।”

वीडियो पर लिखा हुआ है, “मस्जिद से हिंदू को निकाल दिया।”

पोस्ट के आर्काइव लिंक को यहां पर देखें।

पड़ताल 

वायरल वीडियो की सच्चाई जानने के लिए हमने गूगल पर संबंधित कीवर्ड्स की मदद से सर्च करना शुरू किया। हमें असली वीडियो (आर्काइल लिंक) प्रैंक बज नामक एक यूट्यूब चैनल पर 6 अप्रैल 2024 को अपलोड हुआ मिला। वीडियो की  शुरुआत में दो एक्टर्स को बताते हुए देखा जा सकता है कि एक हिंदू बनकर और एक मुस्लिम बनकर मस्जिद में जाएंगे। मुस्लिम बना शख्स हिंदू बने शख्स को मस्जिद में आने के लिए पीटेगा। फिर देखेंगे कि लोग क्या करते हैं। दोनों मस्जिद में जाकर ऐसा ही करते हैं और फिर लोग मुस्लिम बने शख्स को वहां से निकाल देते हैं। वीडियो के आखिर में उन्हें कहते हुए देखा जा सकता है कि हमने इस वीडियो को हिंदू-मुस्लिम की एकता को दिखाने के लिए बनाया है। 

https://www.youtube.com/watch?v=co56JgfzRYY

पड़ताल को आगे बढ़ाते हुए हमने प्रैंक बज के यूट्यूब चैनल को खंगालना शुरू किया। हमने पाया कि यूजर इसी तरह के स्क्रिप्टेड वीडियो बनाता है। उसके चैनल पर इस तरह के कई स्क्रिप्ट वीडियो मौजूद हैं। 

हमने प्रैंक बज के सोशल मीडिया अकाउंट्स को भी खंगाला। फेसबुक पर मौजूद जानकारी के मुताबिक, दोनों कंटेंट क्रिएटर हैं और इसी तरह के स्क्रिप्टेड वीडियो बनाते हैं। प्रोफाइल पर क्रिएटर्स ने खुद को कोलकाता का रहने वाला बताया हुआ है। 

अधिक जानकारी के लिए हमने प्रैंक बज से संपर्क करने की कोशिश की है। रिप्लाई आने पर रिपोर्ट को अपडेट कर दिया जाएगा।

अंत में हमने वीडियो को गलत जानकारी के साथ शेयर करने वाले यूजर के अकाउंट को स्कैन किया। हमने पाया कि यूजर एक विचारधारा से जुड़ी पोस्ट को शेयर करता है। यूजर ने प्रोफाइल पर खुद को मुजफ्फरपुर का रहने वाला बताया हुआ है।

निष्कर्ष : विश्वास न्यूज ने अपनी पड़ताल में पाया कि हिंदू शख्स को मस्जिद से बाहर निकाल देने वाले वायरल वीडियो को लेकर किया जा रहा दावा गलत है। वायरल वीडियो एडिटेड है। असली वीडियो स्क्रिप्टेड है, जिसमें हिंदू-मुस्लिम की एकता को दिखाया गया है। वीडियो को जागरूक करने के उद्देश्य से बनाया गया है, जिसे अब लोग सच समझ कर शेयर कर रहे हैं।

False
Symbols that define nature of fake news
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