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Fact Check: यूपी की सालों पुरानी तस्वीर को बंगाल में लॉकडाउन के दौरान पुलिस पर हमले से जोड़कर किया जा रहा वायरल

पश्चिम बंगाल के हावड़ा जिले के टिकियापाड़ा में पुलिस पर हुए हमले के दावे के साथ जिन तस्वीरों को वायरल किया जा रहा है, वह उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में सालों पहले हुए विरोध प्रदर्शन की है, जिसका लॉकडाउन के उल्लंघन से कोई लेना-देना नहीं है।

  • By: Abhishek Parashar
  • Published: May 1, 2020 at 03:13 PM
  • Updated: May 1, 2020 at 03:38 PM

नई दिल्ली (विश्वास टीम)। सोशल मीडिया पर वायरल हो रही एक तस्वीर में भीड़ और पुलिस के बीच हुई भिड़ंत को देखा जा सकता है। इस तस्वीर को लॉकडाउन के उल्लंघन से जोड़ा जा रहा है। दावा किया गया है कि यह तस्वीर पश्चिम बंगाल के टिकियापाड़ा की है, जहां भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ता लॉकडाउन का उल्लंघन कर रहे हैं और पुलिस के साथ मारपीट कर रहे हैं।

विश्वास न्यूज की पड़ताल में यह दावा गलत निकला। जिस तस्वीर को पश्चिम बंगाल में बीजेपी कार्यकर्ताओं के लॉकडाउन के उल्लंघन से जोड़ कर वायरल किया जा रहा है, वह लखनऊ में कई सालों पहले हुए विरोध प्रदर्शन की तस्वीर है।

क्या है वायरल पोस्ट में?

फेसबुक यूजर ‘Aparna Nag’ ने वायरल पोस्ट को शेयर करते हुए लिखा है, ”भाजपा का कोई काम नही है। भाजपा ṭikiya की घटना पर राजनीति कर रही है।” वायरल हो रही तस्वीर पर लिखा हुआ है, ‘टिकियापारा हावड़ा में देखिए कौन लॉक डाउन का उल्लंघन कर रहा है।’

सोशल मीडिया पर कई अन्य यूजर्स ने इन तस्वीरों को समान और मिलते-जुलते दावे के साथ शेयर किया है।

पड़ताल

रिवर्स इमेज किए जाने पर हमें अंग्रेजी अखबार ‘द टेलीग्राफ’ पर एक जुलाई 2014 को प्रकाशित आर्टिकल का लिंक मिला, जिसमें वायरल तस्वीर का इस्तेमाल किया गया है। खबर के मुताबिक, यह तस्वीर लखनऊ में विधानसभा के बाहर हुए प्रदर्शन की है और इस दौरान पुलिस और पार्टी कार्यकर्ताओं के बीच टकराव भी हुआ था।

टेलिग्राफ में एक जुलाई 2014 को प्रकाशित खबर

रिपोर्ट के मुताबिक, बीजेपी कार्यकर्ताओं ने तत्कालीन समाजवादी पार्टी की सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया था।

दूसरी तस्वीर को रिवर्स इमेज किए जाने पर हमें अंग्रेजी वेबसाइट इंडिया टुडे पर 20 जनवरी 2017 को प्रकाशित खबर का एक लिंक मिला, जिसमें इसका इस्तेमाल प्रतीकात्मक तस्वीर के तौर पर किया गया है।

इंडिया टुडे में 20 जनवरी 2017 को प्रकाशित खबर का लिंक

कई अन्य सोशल मीडिया यूजर्स ने भी अपनी प्रोफाइल पर इस तस्वीर का इस्तेमाल किया है जो कई सालों पहले की हैं।

अन्य न्यूज रिपोर्ट के मुताबिक, पश्चिम बंगाल के हावड़ा के टिकियापाड़ा में स्थानीय भीड़ ने लॉकडाउन लागू करा रहे पुलिसकर्मियों पर 28 अप्रैल (वर्ष 2020) को हमला किया था। यानी वायरल हो रही यह तस्वीर भी बंगाल के हावड़ा जिले के टिकियापाड़ा में हुए हमले से संबंधित नहीं है।

कोरोना वायरस से संक्रमण की रोकथाम के लिए देश में लॉकडाउन को बढ़ाकर तीन मई तक किया जा चुका है। लॉकडाउन की शुरुआती घोषणा 25 मार्च को की गई थी। 25 मार्च को 21 दिनों के लॉकडाउन की घोषणा की गई थी, जिसे 14 अप्रैल को बढ़ाकर 3 मई तक किया जा चुका है।

हमारे सहयोगी दैनिक जागरण के लखनऊ के स्टेट एडिटर सदगुरु शरण अवस्थी ने बताया, ‘दोनों ही तस्वीरें काफी पुरानी हैं। यह विधान भवन के सामने की तस्वीरें हैं। तत्कालीन समाजवादी पार्टी की सरकार के खिलाफ बीजेपी ने प्रदर्शन किया था और दोनों तस्वीरें उसी से जुड़ी हुई हैं।’

लखनऊ में बिजनेस स्टैंडर्ड के प्रधान संवाददाता सिद्धार्थ कलहंस ने भी इसकी पुष्टि की। उन्होंने कहा, ‘दोनों ही तस्वीरें लखनऊ विधानसभा के बाहर हुए प्रदर्शन की है। तत्कालीन समाजवादी पार्टी की सरकार के खिलाफ बीजेपी कार्यकर्ताओं ने यह प्रदर्शन किया था और उस दौरान पुलिस से उनकी झड़प भी हुई थी।’

वायरल पोस्ट शेयर करने वाले यूजर ने अपनी प्रोफाइल में खुद को पश्चिम बंगाल के अगरपाड़ा का रहने वाला बताया है। फेसबुक पर उन्हें 1600 से अधिक लोग फॉलो करते हैं।


निष्कर्ष: पश्चिम बंगाल के हावड़ा जिले के टिकियापाड़ा में पुलिस पर हुए हमले के दावे के साथ जिन तस्वीरों को वायरल किया जा रहा है, वह उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में सालों पहले हुए विरोध प्रदर्शन की है, जिसका लॉकडाउन के उल्लंघन से कोई लेना-देना नहीं है।

  • Claim Review : बंगाल के टिकियापारा में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने किया पुलिस पर किया हमला
  • Claimed By : FB User-Aparna Nag
  • Fact Check : झूठ
झूठ
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