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Fact Check: गोविंदघाट के नाम से वायरल हो रहा है मोरक्को का वीडियो

  • By: Bhagwant Singh
  • Published: Sep 14, 2019 at 02:52 PM
  • Updated: Sep 19, 2019 at 01:11 PM

नई दिल्ली (विश्वास टीम)। भारत में हर साल पहाड़ी इलाकों में मानसून उफान मचाता ही है। इसी संदर्भ में एक वीडियो वायरल हो रहा है। यह वीडियो एक पहाड़ी इलाके का है जिसमें एक छोटी-सी नदी में अचानक पत्थरों के बहाव की बाढ़ आ जाती है। इस वीडियो के साथ दावा किया जा रहा है कि यह वीडियो गोविंदघाट का है। विश्वास टीम ने अपनी पड़ताल में पाया कि यह वीडियो उत्तराखंड के चमोली जिले के गोविंदघाट का नहीं, बल्कि मोरक्को के इमलील इलाके का है। यह घटना 1 सितंबर 2019 की है।

क्या हो रहा है वायरल?

सोशल मीडिया के फेसबुक प्लेटफॉर्म पर “Pendu Bande” नाम का पेज एक वीडियो शेयर करता है। यह वीडियो एक पहाड़ी इलाके का है जिसमें एक छोटी-सी नदी में अचानक पत्थरों के बहाव की बाढ़ आ जाती है। इस वीडियो के साथ डिस्क्रिप्शन लिखा गया है: 7/9/19 Gobind ghat

पड़ताल

पड़ताल शुरू करने के लिए हमने सबसे पहले इस वीडियो को InVID टूल में अपलोड किया और इसके कीफ्रेम्स निकाले। उन कीफ्रेम्स को जब हमने गूगल रिवर्स इमेज सर्च किया तो हमें यह वीडियो कई अरबी कैप्शन के साथ इंटरनेट पर आपलोडेड मिला।

हमने “hassicity.com” के लिंक पर क्लिक किया और इस वीडियो के साथ लिखे गए कैप्शन “لحظات تحبس الأنفاس انجرافات ارضية بمنطقة امليل السياحية المغربية تفاجئ اهالي المنطقة” को गूगल ट्रांसलेट पर डालकर इसका अंग्रेजी अनुवाद निकाला। इस कंटेंट का अनुवाद “The breathtaking moments of landslides in the Moroccan tourist region of Imlil surprise the people of the region” निकला। इस अनुवाद के स्क्रीनशॉट को आप नीचे देख सकते हैं।

अब हमने इस अनुवाद को गूगल सर्च किया और हमारे हाथ “www.moroccoworldnews.com” की खबर का एक लिंक मिला। इस यह खबर 2 सितंबर को प्रकाशित की गई थी और इसकी हेडलाइन थी: Second Wave of Flooding Hits Southern Morocco. इस खबर में वायरल हो रही वीडियो को भी जोड़ा गया था।

इस खबर में बाढ़ के हादसे को लेकर बताया गया था। खबर के अनुसार, इस वीडियो में बहती नदी, गंदगी और चट्टानों को ले जाते हुए और इमलील के बीच में एक पुल को नष्ट करते हुए दिखाया गया है। तब झरना सड़कों और इमारत के किनारों के किनारे खड़ी कारों को नुकसान पहुँचाता है। तेजी से बह रहे बाढ़ के पानी से लोगों को अपने जीवन के लिए भागते देखा जा सकता है। टिज़र्ट गांव की घटना के कुछ ही दिनों बाद बाढ़ आ गई, जहाँ सात लोगों ने अप्रत्याशित रूप से अपनी जान गंवा दी। मोरक्को के आधिकारिक समाचार आउटलेट और स्थानीय अधिकारियों ने अभी तक सबसे हालिया बाढ़ के संबंध में कोई बयान जारी नहीं किया है।

इस पोस्ट में इस वीडियो को गोविंदघाट का बताया गया है, क्योंकि गोविंदघाट उत्तराखंड के चमोली जिले में पड़ता है इसीलिए हमने दैनिक जागरण के उत्तराखंड के इंचार्ज रिपोर्टर देवेंद्र सती से बात की। उन्होंने इस वीडियो के दावे की पड़ताल करते हुए बताया, “आपदा प्रबंधन महकमे ने इसे गलत बताया है। वीडियो में दिख रहा है कि नाला उफान पर आने के बाद पुल व वाहनों को भी बहा कर ले गया। इसे चमोली के गोविंदघाट बादल फटने के दौरान की बता कर सोशल मीडिया व कतिपय टीवी न्यूज चैनलों ने प्रसारित किया था। चमोली के एसपी यशवंत चौहान ने कहा कि यह वीडियो चमोली या गोविंदघाट आपदा का नहीं है। उन्होंने कहा कि इस पर विश्वास न करें। आपदा प्रबंधन अधिकारी नंद किशोर जोशी ने कहा कि वीडियो में बातचीत से साफ है कि यहां की भाषा नहीं है। यह वीडियो भी यहां का नहीं है।”

अब हमने इस खबर को पोस्ट करने वाले पेज “Pendu Bande” की सोशल स्कैनिंग करने का फैसला किया। हमें पता चला कि पेज को 375,307 लोग फॉलो करते हैं और यह पेज 13 जून 2013 को बनाया गया था।

निष्कर्ष: विश्वास टीम ने अपनी पड़ताल में इस पोस्ट के दावे को फर्जी साबित किया। यह वीडियो उत्तराखंड के चमोली जिले के गोविंदघाट का नहीं, बल्कि मोरक्को के इमलील इलाके का है। यह घटना 1 सितंबर 2019 की है।

  • Claim Review : 7/9/19 Gobind ghat
  • Claimed By : FB Page-Pendu Bande
  • Fact Check : झूठ
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